रायपुर: कांग्रेस में नियुक्ति को लेकर उपजे विवाद की जानकारी लेने खुद मुख्यमंत्री सीधे कार्यकर्ताओं तक पहुंच रहे हैं. वे प्रदेश के विभिन्न जिलों में अपने प्रवास के दौरान पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं से मुलाकात कर फीडबैक ले रहे हैं. सूत्रों की माने तो इस फीडबैक के आधार पर आने वाले समय में पार्टी में बड़े स्तर पर बदलाव देखने को मिले मिल सकता है. इतना ही नहीं निगम मंडल आयोग की नियुक्ति पर भी इसका प्रभाव पड़ सकता है.
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पहले सरगुजा, उसके बाद बिलासपुर संभाग के दौरे पर थे और अब बस्तर संभाग का दौरा करने जा रहे हैं. मिली जानकारी के अनुसार भूपेश बघेल कार्यक्रमों में शामिल होने के साथ-साथ जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं से भी रूबरू हो रहे हैं. उनसे चर्चा कर पार्टी पदाधिकारियों के बारे में फीडबैक ले रहे हैं.
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सीएम बघेल ने खुद संभाला मोर्चा
यह बात मुख्यमंत्री भूपेश बघेल खुद कहते नजर आए कि वे अपने विभिन्न संभागों के प्रवास के दौरान जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं से भी चर्चा कर रहे हैं. हालांकि उन्होंने इस चर्चा के विषय में या संबंधित कोई विस्तृत जानकारी नहीं दी. सीएम बघेल ने कहा इन दौरों के दौराने वे जानकारी ले रहे हैं कि योजनाओं का लाभ आम जनता तक पहुंच रहा है या नहीं.
नियुक्ति के बाद कार्यकर्ता नाराज
कुछ दिनों पहले एल्डरमेन और ब्लॉक अध्यक्षों की नियुक्ति सहित अन्य नियुक्तियां की गई है. जिसके बाद पार्टी के अंदर कुछ जगहों से विरोध के स्वर भी उठने लगे हैं. यहां तक कि ब्लॉक अध्यक्ष की नियुक्ति के बाद कार्यकर्ताओं ने खुलकर विरोध शुरू कर दिया है. आरोप है कि नियुक्ति के दौरान ना तो सामाजिक समीकरण का ख्याल रखा गया और ना ही कार्यकर्ताओं की सक्रियता का, यही वजह है कि वे नियुक्ति को लेकर पार्टी स्तर पर अपना विरोध दर्ज करा रहे हैं.
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विधानसभा चुनाव की तैयारी
सीएम खुद इसका फीडबैक ले रहे हैं, इसका असर आगामी दिनों में होने वाले निगम मंडल आयोग की नियुक्ति पर भी पड़ सकता है. इतना ही नहीं, साल 2023 में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारी की रूपरेखा भी इस फीडबैक के आधार पर तय की जा सकती है. बहरहाल, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का प्रदेश के विभिन्न संभागों का दौरा लगातार जारी है. अब देखने वाली बात है कि कार्यकर्ताओं से मिले फीडबैक के बाद क्या बड़े बदलाव देखने को मिलते हैं.