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आज से 10 दिन के एकांतवास पर अमित जोगी, बोले- 'मोबाइल से दूर रहने में दिक्कत नहीं, किताबों के बिना होगी परेशानी'

जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी आज से 10 दिनों के लिए एकांतवास पर है. इसको लेकर सोशल मीडिया में जानकारी साझा करते हुए अमित जोगी ने बताया कि 19 से 30 सितंबर तक 10 दिनों के लिए वे विपासना सीखने जा रहे हैं.

Amit Jogi
अमित जोगी
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Published : Sep 18, 2021, 10:41 AM IST

Updated : Sep 19, 2021, 12:47 PM IST

रायपुर : जनता कांग्रेस (Janata Congress) छत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी (amit jogi) आज से 10 दिनों के लिए एकांतवास (solitude) पर है. इसको लेकर सोशल मीडिया में जानकारी साझा करते हुए अमित जोगी ने बताया कि 19 से 30 सितंबर तक 10 दिनों के लिए वे विपश्यना सीखने जा रहे हैं. इस दौरान वे राजनीति, रिश्ते और मोबाइल से भी दूर रहेंगे. एकांतवास में जाने से पहले अमित जोगी ने ETV भारत से खास बातचीत की.

अमित जोगी

सवाल - 10 दिनों के लिए एकांतवास में जा रहे हैं, क्या कारण है?

जवाब - लंबे समय से मन था कि विपश्यना के माध्यम से आत्मनिरीक्षण कर आत्मशुद्धि करूं. स्वयं को समझने का जो हमारे भारतवर्ष में प्राचीन समय से विज्ञान रहा है, उसे मैं भी करूं. भगवान बुद्ध ने विपश्यना की थी और आज भी मैं इसे देखता हूं. विशेषकर आज के परिप्रेक्ष्य में जो नेता हैं, जिनको तरह-तरह के मुद्दे पर विचार आते हैं. बातें आती हैं तो एक मानसिक संतुलन के साथ-साथ किस तरह से लोगों की सेवा की जा सकती है. ये सारा ज्ञान लेने और मैं अपने आप को रिचार्ज करने के लिए जा रहा हूं.

सवाल -जिस तरह से जोगी कांग्रेस की स्थिति है, हाल ही में राष्ट्रीय अध्यक्ष ने भी एक बयान दिया. क्या इन सभी चीजों का टेंशन है?

जवाब- पार्टी बहुत अच्छा काम कर रही है. सरगुजा और बस्तर संभाग का दौर था. सभी जिलों में कार्यकर्ता सम्मेलन किया जा रहा. वहां के अधिकांश जिलों में नहीं पहुंच पाया हूं, लेकिन वह कार्यक्रम जारी रहेगा.

सवाल- प्रदेश की राजनीति में उठापटक चली. हाल ही में एक कार्यक्रम में टीएस सिंहदेव और भूपेश बघेल साथ नजर आए. हाल ही में गुजरात में मुख्यमंत्री बदल गए, छत्तीसगढ़ में इस तरह की संभावनाएं नजर आती हैं?

जवाब- यह कांग्रेस पार्टी का आंतरिक मामला है कि वह अपना सीएम बदलते हैं या नहीं बदलते. मैं बस इतना कहूंगा कि सरकार को जिस घोषणा पत्र के आधार पर छत्तीसगढ़ ने ऐतिहासिक जनादेश दिया था, उन्हें उस पर अमल करना चाहिए. ढाई साल हो गए हैं, लेकिन संविदा कर्मचारियों का नियमितीकरण नहीं हुआ है. न शराबबंदी के लिए कोई कदम उठाए जा रहे हैं. बिजली की भारी समस्या है. इन सारी चीजों पर सरकार को फोकस करना चाहिए. वहीं विपक्ष से भी इन मुद्दों पर बात करें. बाकी जो मुद्दे हैं, मुझे नहीं लगता वे छत्तीसगढ़ से सम्बद्ध रखते हैं.

सवाल-प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन पर भाजपा शासित राज्यों में टीकाकरण बड़े पैमाने में हुए हैं. मैंने देखा कि वैक्सीनेशन की कमी थी, लेकिन अचानक जन्मदिन पर इस तरह का अभियान चलाया गया, इसे किस तरह से दिखते हैं?

जवाब-प्रधानमंत्री कोई एक पार्टी के नहीं हैं, वे देश के हैं. उस नाते प्रधानमंत्री को जन्मदिन की शुभकामनाएं देते हैं. उम्मीद करते हैं कि उनको ईश्वर लंबा जीवन देंगे. देश उनके नेतृत्व में प्रगति करेगा और आगे बढ़ेगा. गवर्नमेंट ऑफ इंडिया ने सुप्रीम कोर्ट में एक एफिडेविट दिया था, जिसमें कहा गया था कि दिसंबर के अंत तक देश की पूरी आबादी वैक्सीन लगा चुकी होगी. लेकिन जिस गति से टीकाकरण अभियान चल रहा है, सप्लाई की शॉर्टेज है या जन जागरूकता की कमी, इसी गति से वैक्सीनेशन चलता रहा तो 2022 भी खत्म हो जाएगा और वैक्सीन नहीं लग पाएगी. महामारी से जीतना है तो टीकाकरण पर ध्यान देना पड़ेगा. एक टारगेट के रूप में वैक्सीनेशन करना होगा.

सवाल -हाल ही में आपने मुंबई में अलग-अलग पार्टी के लोगों से मुलाकात की, किस तरह की मुलाकात थी?

जवाब- मैं दूसरे प्रदेशों की क्षेत्रीय पार्टी के नेताओं से संपर्क में हूं. उनसे बहुत कुछ सीखने को मिलता है. किस प्रकार से वे अपने प्रदेश का विकास कर रहे हैं, मुंबई में शरद पवार से मुलाकात हुई. आगामी दिनों में ममता बनर्जी और जगनमोहन रेड्डी और तेजस्वी यादव से भी मुलाकात होगी. मैंने गैर कांग्रेसी और गैर भाजपाई क्षेत्रीय दल के लोगों से संपर्क साधा है. एक साझा रणनीति के तहत आगे काम किया जाएगा.

सवाल-10 दिनों के लिए आप विपश्यना में जा रहे हैं. मोबाइल और अन्य चीजों से कैसे दूर रहेंगे, कैसा रूटीन होने वाला है?

जवाब- मोबाइल के बिना रह लूंगा, लेकिन मेरी बचपन से आदत है किताबें पढ़ने की. ये जो 10 दिनों के कोर्स में बताया गया है कि किताबें भी नहीं लाना है. 10 दिन पूरा मौन धारण करके रखना है. मोबाइल से दूर रहने में मुझे दिक्कत नहीं है, लेकिन एक चिंता हो रही है कि किताबों से मैं कैसे दूर रहूंगा. अभी मैंने खुद विपश्यना के बारे में पढ़ा और सुना है, अभी इसे जिया नहीं है.

रायपुर : जनता कांग्रेस (Janata Congress) छत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी (amit jogi) आज से 10 दिनों के लिए एकांतवास (solitude) पर है. इसको लेकर सोशल मीडिया में जानकारी साझा करते हुए अमित जोगी ने बताया कि 19 से 30 सितंबर तक 10 दिनों के लिए वे विपश्यना सीखने जा रहे हैं. इस दौरान वे राजनीति, रिश्ते और मोबाइल से भी दूर रहेंगे. एकांतवास में जाने से पहले अमित जोगी ने ETV भारत से खास बातचीत की.

अमित जोगी

सवाल - 10 दिनों के लिए एकांतवास में जा रहे हैं, क्या कारण है?

जवाब - लंबे समय से मन था कि विपश्यना के माध्यम से आत्मनिरीक्षण कर आत्मशुद्धि करूं. स्वयं को समझने का जो हमारे भारतवर्ष में प्राचीन समय से विज्ञान रहा है, उसे मैं भी करूं. भगवान बुद्ध ने विपश्यना की थी और आज भी मैं इसे देखता हूं. विशेषकर आज के परिप्रेक्ष्य में जो नेता हैं, जिनको तरह-तरह के मुद्दे पर विचार आते हैं. बातें आती हैं तो एक मानसिक संतुलन के साथ-साथ किस तरह से लोगों की सेवा की जा सकती है. ये सारा ज्ञान लेने और मैं अपने आप को रिचार्ज करने के लिए जा रहा हूं.

सवाल -जिस तरह से जोगी कांग्रेस की स्थिति है, हाल ही में राष्ट्रीय अध्यक्ष ने भी एक बयान दिया. क्या इन सभी चीजों का टेंशन है?

जवाब- पार्टी बहुत अच्छा काम कर रही है. सरगुजा और बस्तर संभाग का दौर था. सभी जिलों में कार्यकर्ता सम्मेलन किया जा रहा. वहां के अधिकांश जिलों में नहीं पहुंच पाया हूं, लेकिन वह कार्यक्रम जारी रहेगा.

सवाल- प्रदेश की राजनीति में उठापटक चली. हाल ही में एक कार्यक्रम में टीएस सिंहदेव और भूपेश बघेल साथ नजर आए. हाल ही में गुजरात में मुख्यमंत्री बदल गए, छत्तीसगढ़ में इस तरह की संभावनाएं नजर आती हैं?

जवाब- यह कांग्रेस पार्टी का आंतरिक मामला है कि वह अपना सीएम बदलते हैं या नहीं बदलते. मैं बस इतना कहूंगा कि सरकार को जिस घोषणा पत्र के आधार पर छत्तीसगढ़ ने ऐतिहासिक जनादेश दिया था, उन्हें उस पर अमल करना चाहिए. ढाई साल हो गए हैं, लेकिन संविदा कर्मचारियों का नियमितीकरण नहीं हुआ है. न शराबबंदी के लिए कोई कदम उठाए जा रहे हैं. बिजली की भारी समस्या है. इन सारी चीजों पर सरकार को फोकस करना चाहिए. वहीं विपक्ष से भी इन मुद्दों पर बात करें. बाकी जो मुद्दे हैं, मुझे नहीं लगता वे छत्तीसगढ़ से सम्बद्ध रखते हैं.

सवाल-प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन पर भाजपा शासित राज्यों में टीकाकरण बड़े पैमाने में हुए हैं. मैंने देखा कि वैक्सीनेशन की कमी थी, लेकिन अचानक जन्मदिन पर इस तरह का अभियान चलाया गया, इसे किस तरह से दिखते हैं?

जवाब-प्रधानमंत्री कोई एक पार्टी के नहीं हैं, वे देश के हैं. उस नाते प्रधानमंत्री को जन्मदिन की शुभकामनाएं देते हैं. उम्मीद करते हैं कि उनको ईश्वर लंबा जीवन देंगे. देश उनके नेतृत्व में प्रगति करेगा और आगे बढ़ेगा. गवर्नमेंट ऑफ इंडिया ने सुप्रीम कोर्ट में एक एफिडेविट दिया था, जिसमें कहा गया था कि दिसंबर के अंत तक देश की पूरी आबादी वैक्सीन लगा चुकी होगी. लेकिन जिस गति से टीकाकरण अभियान चल रहा है, सप्लाई की शॉर्टेज है या जन जागरूकता की कमी, इसी गति से वैक्सीनेशन चलता रहा तो 2022 भी खत्म हो जाएगा और वैक्सीन नहीं लग पाएगी. महामारी से जीतना है तो टीकाकरण पर ध्यान देना पड़ेगा. एक टारगेट के रूप में वैक्सीनेशन करना होगा.

सवाल -हाल ही में आपने मुंबई में अलग-अलग पार्टी के लोगों से मुलाकात की, किस तरह की मुलाकात थी?

जवाब- मैं दूसरे प्रदेशों की क्षेत्रीय पार्टी के नेताओं से संपर्क में हूं. उनसे बहुत कुछ सीखने को मिलता है. किस प्रकार से वे अपने प्रदेश का विकास कर रहे हैं, मुंबई में शरद पवार से मुलाकात हुई. आगामी दिनों में ममता बनर्जी और जगनमोहन रेड्डी और तेजस्वी यादव से भी मुलाकात होगी. मैंने गैर कांग्रेसी और गैर भाजपाई क्षेत्रीय दल के लोगों से संपर्क साधा है. एक साझा रणनीति के तहत आगे काम किया जाएगा.

सवाल-10 दिनों के लिए आप विपश्यना में जा रहे हैं. मोबाइल और अन्य चीजों से कैसे दूर रहेंगे, कैसा रूटीन होने वाला है?

जवाब- मोबाइल के बिना रह लूंगा, लेकिन मेरी बचपन से आदत है किताबें पढ़ने की. ये जो 10 दिनों के कोर्स में बताया गया है कि किताबें भी नहीं लाना है. 10 दिन पूरा मौन धारण करके रखना है. मोबाइल से दूर रहने में मुझे दिक्कत नहीं है, लेकिन एक चिंता हो रही है कि किताबों से मैं कैसे दूर रहूंगा. अभी मैंने खुद विपश्यना के बारे में पढ़ा और सुना है, अभी इसे जिया नहीं है.

Last Updated : Sep 19, 2021, 12:47 PM IST
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