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रायगढ़: प्रदूषित हो रही केलो नदी, अधर में लटका सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट का काम

रायगढ़ शहर का गंदा पानी केलो नदी को प्रदूषित कर रहा है. इसके लिए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाने की योजना बनी थी, लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के कारण योजना अधर पर लटकी हुई है.

Sewerage treatment plant
केलो नदी के अस्तित्व पर संकट
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Published : Aug 11, 2020, 9:09 PM IST

रायगढ़: शहर के 48 वार्डों का गंदा पानी सीधे केलो नदी में छोड़ दिया जाता है. इससे नदी पूरी तरह से प्रदूषित हो चुकी है. नदी के पानी को स्वच्छ बनाने और गंदगी उसमें न जाए इसके लिए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाने की योजना बनी थी. लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के कारण योजना अधर पर लटकी हुई है. योजना के तहत शहर में दो ट्रीटमेंट प्लांट लगने थे, लेकिन अभी एक ही प्लांट पर काम चल रहा है. जबकि दूसरा प्लांट बरसात के बाद लगाया जाएगा.

अधर में लटका सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट का काम

शहर में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाने को लेकर महापौर जानकीबाई काटजू का कहना है कि टलेटलतीफी हुई है लेकिन अब काम तेजी से होगा. बरसात के बाद एक प्लांट लगेगा जबकि दूसरा वार्ड नंबर 25 में चल रहा है. जो जल्दी पूरा हो जाएगा'.

सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के लगने से शहर का गंदा पानी सीधे नदी में जाता है उसका ट्रीटमेंट किया जाएगा और उपचार के बाद गंदगी निकाल कर के साफ पानी को नदी में छोड़ा जाएगा.

पढ़ें-रायगढ़ : तालाबों के संरक्षण का काम शुरू, अवैध कब्जाधारियों पर होगी कार्रवाई

तालाबों के अस्तित्व पर भी संकट

बता दें, रायगढ़ में बरसों से पानी के निस्तारण के लिए तालाबों का उपयोग किया जा रहा है, लेकिन समय के बीतने के साथ ही तालाबों के अस्तित्व पर संकट गहराता जा रहा है. रायगढ़ नगर निगम क्षेत्र में 12 से ज्यादा ऐसे तालाब बचे हैं जहां पानी रूकता है. अब निगम प्रशासन उन तालाबों को संरक्षित करने का प्रयास कर रहा है. तालाबों के संरक्षण के लिए अवैध कब्जा और गंदगी फैलाने वालों के खिलाफ कार्रवाई की भी तैयारी की जा रही है. निगम प्रशासन ने अब शहर के तालाबों को चिन्हित करके उनके सरंक्षण की दिशा में कदम आगे बढ़ाया है.

रायगढ़: शहर के 48 वार्डों का गंदा पानी सीधे केलो नदी में छोड़ दिया जाता है. इससे नदी पूरी तरह से प्रदूषित हो चुकी है. नदी के पानी को स्वच्छ बनाने और गंदगी उसमें न जाए इसके लिए सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाने की योजना बनी थी. लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के कारण योजना अधर पर लटकी हुई है. योजना के तहत शहर में दो ट्रीटमेंट प्लांट लगने थे, लेकिन अभी एक ही प्लांट पर काम चल रहा है. जबकि दूसरा प्लांट बरसात के बाद लगाया जाएगा.

अधर में लटका सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट का काम

शहर में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाने को लेकर महापौर जानकीबाई काटजू का कहना है कि टलेटलतीफी हुई है लेकिन अब काम तेजी से होगा. बरसात के बाद एक प्लांट लगेगा जबकि दूसरा वार्ड नंबर 25 में चल रहा है. जो जल्दी पूरा हो जाएगा'.

सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के लगने से शहर का गंदा पानी सीधे नदी में जाता है उसका ट्रीटमेंट किया जाएगा और उपचार के बाद गंदगी निकाल कर के साफ पानी को नदी में छोड़ा जाएगा.

पढ़ें-रायगढ़ : तालाबों के संरक्षण का काम शुरू, अवैध कब्जाधारियों पर होगी कार्रवाई

तालाबों के अस्तित्व पर भी संकट

बता दें, रायगढ़ में बरसों से पानी के निस्तारण के लिए तालाबों का उपयोग किया जा रहा है, लेकिन समय के बीतने के साथ ही तालाबों के अस्तित्व पर संकट गहराता जा रहा है. रायगढ़ नगर निगम क्षेत्र में 12 से ज्यादा ऐसे तालाब बचे हैं जहां पानी रूकता है. अब निगम प्रशासन उन तालाबों को संरक्षित करने का प्रयास कर रहा है. तालाबों के संरक्षण के लिए अवैध कब्जा और गंदगी फैलाने वालों के खिलाफ कार्रवाई की भी तैयारी की जा रही है. निगम प्रशासन ने अब शहर के तालाबों को चिन्हित करके उनके सरंक्षण की दिशा में कदम आगे बढ़ाया है.

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