एमसीबी: मनेंद्रगढ़ रेलवे स्टेशन पर चिरमिरी-अनूपपुर-चिरिमिरी पैसेंजर ट्रेन का स्टाॅपेज न होने से आम लोगों के साथ ही व्यापारी वर्ग परेशान हैं. जिले की सबसे बड़ी व्यापारिक संस्था छत्तीसगढ़ चेंबर ऑफ कॉमर्स ने भी रेलवे अधिकारियों के साथ ही जनप्रतिनिधियों को कई बार पत्र लिखकर इस ओर ध्यान दिला चुका है. बावजूद इसके रेलवे के अधिकारियों ने अब तक इस पर कोई निर्णय नहीं लिया. रेलवे अधिकारियों के रवैये से परेशान होकर अब मनेन्द्रगढ़ नगर के व्यवसायी भागवत केशरवानी, आनंद अग्रवाल समेत 4 लोगों ने उच्च न्यायालय बिलासपुर में जनहित याचिका दायर की है.
रेलवे से 27 मार्च तक कोर्ट ने मांगा है जवाब: हाई कोर्ट ने जनहित याचिका स्वीकार कर ली है. कोर्ट ने रेलवे से 27 मार्च 2023 को इसके संबंध में जवाब प्रस्तुत करने को कहा है. आमजन के साथ ही यहां के सभी व्यापारी संगठनों की यह मांग है कि पब्लिक जनहित का ध्यान रखते हुए इस ट्रेन का स्टॉपेज मनेंद्रगढ़ तत्काल किया जाए. मनेन्द्रगढ़ रेलवे स्टेशन इस पूरे क्षेत्र के रेलवे कनेक्टिविटी के लिए अहम रेलवे स्टेशन है. यहां पैसेंजर ट्रेन का स्टॉपेज न करने से व्यापार पर बुरा असर पड़ेगा.
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स्टेशन मास्टर ने नहीं दिया सार्थक जवाब: याचिकाकर्ता भागवत केसरवानी ने बताया कि "जब से ट्रेन चालू हुआ है, मनेंद्रगढ़ में स्टापेज ही नहीं दिया गया. हम लोगों ने जाकर स्टेशन मास्टर से भी बात की. उनकी लोगों ने कोई सार्थक कोई जवाब नहीं दिया. बस यही कहा कि हम कर रहे हैं. करने वाले हैं. इसके बाद हम लोगों ने पीआईएल लगाया, जिसे न्यायाधीश ने स्वीकार भी किया. रेलवे ने 27 तारीख तक के लिए समय मांगा है."
जनसेवा की भावना के खिलाफ है रेलवे का काम: याचिकाकर्ता आनंद अग्रवाल ने बताया कि "मनेंद्रगढ़ रेलवे स्टेशन पुराने समय से भी महत्वपूर्ण रहा है, लेकिन ऐसी जन सुविधा से इस ट्रेन को वंचित किया जाना रेलवे की जो जनसेवा की भावना है उसके विपरीत कार्य किया गया. इसी को लेकर हम लोगों ने हाईकोर्ट में माननीय न्यायाधीश के सामने बात को रखा है. इसको माननीय न्यायालय ने पीआईएल स्वीकार कर लिया है. हम उम्मीद करते हैं कि हमारे क्षेत्रवासियों को 27 मार्च को इसका जवाब मिलेगा."