कोरबा: ऊर्जाधानी कोरबा के पश्चिम क्षेत्र को मुख्यालय से जोड़ने वाली सड़क जाम की चपेट में है. कुसमुंडा सहित हसदेव नदी के दूसरी तरफ की बड़ी आबादी कुसमुंडा से होकर सर्वमंगला मंदिर चौक से कोरबा शहर की ओर सफर करती है. बीते कुछ समय से यहां भारी वाहनों की लंबी कतार लगी रहती है. जिसके कारण आम लोग परेशान होते हैं, इस सड़क से एसईसीएल के कुसमुंडा कोयला खदान से भारी वाहन के जरिए कोयला परिवहन होता है. जिससे छोटे वाहनों को समस्या होती है. हालांकि पुलिस ने भी जाम खुलवाने के प्रयास की बात कही है. बेतरतीब पार्किंग करने वाले ट्रेलर चालकों पर कार्रवाई भी हुई है. लेकिन जाम की स्थिति जस की तस बनी हुई है.
यहां रहता है सबसे ज्यादा जाम: सर्वमंगला मंदिर के पीछे से कुसमुंडा खदान में घुसने के लिए चार नंबर बेरियर है. यहां रोजाना जाम लगा रहता है. इससे क्षेत्र के लोग परेशान हैं. कोरबा से नहर मार्ग के रास्ते कनकी होकर बिलासपुर या चन्द्रनगर जटराज पाली पड़निया, कनकी आदि की ओर जाने वाले लोगों को परेशानी हो रही है.इसके साथ ही कुसमुंडा की तरफ जाने वाली सड़क भी जाम के कारण कई बार वनवे में बदल दी जाती है. जिससे भी लोगों को काफी समस्या होती है.
वाहनों को माइंस के एरिया में ठहराव देने की मांग: स्थानीय लोगों का कहना है कि 4 नंबर बेरियर के रास्ते कुसमुंडा खदान में ट्रक और ट्रेलर को इंट्री दी जाती है. रोजाना सैकड़ों की संख्या में बैरियर पर इंट्री के लिए गाड़ियां खड़ी रहती हैं. गाड़ियों की संख्या इतनी अधिक रहती है कि मेनरोड तक जाम लग जाता है. बेरियर के आसपास स्थित गांव के लोगों ने प्रशासन से गाड़ियों को खदान के भीतर ठहराव देने की मांग की है. ताकि सडक़ पर लगने वाली जाम से छुटकारा मिल सके.ग्रामीणों का कहना है कि सड़क पर लगने वाली जाम से अक्सर दुर्घटनाएं हो रही हैं. लेकिन एसईसीएल प्रबंधन इसे गंभीरता से नहीं ले रहा है.
लापरवाह ड्राइवरों पर कर रहे हैं कार्रवाई: इस विषय में कुसमुंडा टीआई मनीष नागर का कहना है कि कुसमुंडा क्षेत्र में बीच सडक़ पर ट्रेलर खड़ी करने पर पुलिस ने तीन ड्राइवरों पर केस दर्ज किया है. उनके वाहनों को जब्त कर लिया है. करीब 6 से सात वाहनों पर कार्रवाई की गई है. बरमपुर, विकासनगर चौक और कुसमुंडा क्षेत्र में कार्रवाई की गई है. इस समस्या से निजात के लिए 200 वाहनों की क्षमता वाला पार्किंग सेंटर बनाया जा रहा है.