कांकेर: कोरोना संक्रमण के कारण लाइवलीहुड कॉलेज में कौशल विकास प्रशिक्षण कार्यक्रम पर ब्रेक लगा हुआ था. लंबे समय बाद अब फिर से लाइवलीहुड कॉलेज में कौशल प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू होने जा रहा है. शासन की गाइडलाइन के अनुसार पुराने वीटीपी का पंजीयन निरस्त कर दिया गया है. पुन: पंजीयन कराए जाने की प्रकिया के चलते इस बार कॉलेज में शुरुआती दिनों में सिर्फ पांच प्रकार के ट्रेड में ही प्रशिक्षण शुरू हो सकेगा.
कोरोना संक्रमण के चलते मार्च के बाद आजीविका महाविद्यालय कांकेर में कौशल प्रशिक्षण का काम बंद पड़ा हुआ था. कोरोना संक्रमण का खतरा कम होने और जनजीवन के पटरी पर लौटने के बाद अब दोबारा प्रशिक्षण शुरू होने जा रहा है. संभावना जताई जा रही है कि मार्च से प्रशिक्षण शुरू हो जाएगा.
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अब नए नियम के अनुसार पंजीकृत वीटीपी की संख्या कम हो गई. बताया जा रहा है पहले ही 100 से ज्यादा शासकीय और निजी वीटीपी थे. जिनके माध्यम से कौशल विकास का प्रशिक्षण दिया जाता था. वर्तमान में नए नियम के अनुसार जिले में 10 वीटीपी ही पंजीकृत है. जिसमें 8 शासकीय और 2 निजी वीटीपी है. हालांकि, पंजीयन की प्रक्रिया जारी होने के बाद नए ट्रेडों के शुरू होने का अनुमान है.
आजीविका कॉलेज में पांच ट्रेड
वीटीपी वह पंजीकृत संस्था होती है, जो कौशल विकास का प्रशिक्षण प्रदान करती है. आजीविका महाविद्यालय भी एक प्रकार की वीटीपी है. जहां विभिन्न ट्रेडों में युवाओं को कौशल विकास का प्रशिक्षण दिया जाता है. उन्हें स्वरोजगार और रोजगार से जोड़ा जाता है. वर्तमान में आजीविका कॉलेज में असिस्टेंट इलेक्ट्रिशियन, डाटा एंट्री ऑपरेटर, सिलाई, प्लंबर, रिटेल ट्रेड में युवाओं को प्रशिक्षण देने की तैयारी है.
1700 लोगों ने प्राप्त किया प्रशिक्षण
जिला मुख्यालय में साल 2013 में आजीविका महाविद्यालय शुरू हुआ. जिसके बाद से ही जिले के युवाओं को कौशल विकास का प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है. जिले में अब 1695 युवाओं को विभिन्न ट्रेड में कौशल विकास का प्रशिक्षण दिया जा चुका है. जिसमें 837 का रोजगार और स्वरोजगार प्लेसमेंट भी किया गया है. प्रशिक्षण के बाद 650 युवाओं ने निजी और शासकीय क्षेत्र में रोजगार प्राप्त किया. 187 युवाओं ने स्वरोजगार प्राप्त किया.