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बड़ी लापरवाही: गर्भवती महिलाओं-कुपोषित बच्चों को बांटे गए कीड़े लगे अंडे

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Published : Jul 23, 2020, 4:45 PM IST

Updated : Jul 24, 2020, 11:53 AM IST

गर्भवती महिलाओं और कुपोषित बच्चों को पोषण पहुंचाने के लिए सरकार की ओर से किलकारी योजना के तहत पोषण आहार दिया जा रहा है लेकिन कांकेर में इस अभियान के तहत गर्भवती महिलाओं और कुपोषित बच्चों को योजना के नाम पर सड़े हुए अंडे बांटे गए.

rotten eggs
सड़े हुए अंडे

कांकेर: छत्तीसगढ़ में कुपोषण को दूर करने के लिए तरह-तरह के अभियान चलाए जा रहे हैं, लेकिन इन अभियानों के क्रियान्वयन को लेकर विभाग के अफसर कितने सजग है इसका अंदाजा इसी बात से बात से लगा लीजिए कि मोहपुर और पुसवाड़ा गांव में गर्भवती महिलाओं और कुपोषित बच्चों को जिन अंडों का वितरण किया गया था वो सड़ चुके थे.

गर्भवती महिलाओं-कुपोषित बच्चों को बांटे गए कीड़े लगे अंडे

वितरण के दौरान हितग्राहियों ने गुणवत्ताहीन अंडे लेने से साफ इनकार कर दिया, जिसके बाद वहां लोगों की भीड़ इकठ्ठी हो गई. इसी दौरान वहां से गुजर रहे जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम ने घटना की जानकारी ली. जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम ने तत्काल अंडों को वापस मंगाने का आदेश दिया, जिसके बाद हरकत में आए विभाग ने आनन-फानन में अंडों को वापस मंगवाया.

पढ़ें: लापरवाही: क्वॉरेंटाइन किए गए जनपद CEO ने किया मंत्री अग्रवाल का स्वागत, सकते में मंत्री

अंडों पर कीड़े लगने की शिकायत

मोहपुर के जिस आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने अपने हितग्राहियों को अंडों का वितरण किया था. उसने बताया कि कुछ अंडों पर कीड़े लगे हुए थे. आंगनबाड़ी केन्द्र की इस लापरवाही से यह साफ नजर आता है कि विभाग शासन की योजनाओं को लेकर कितना गंभीर है.

अधिकारी झाड़ रहे पल्ला

अगर इन सड़े गले अंडों का सेवन गर्भवती महिलाएं या कुपोषित बच्चे कर लेते तो उनके सेहत पर इसका कितना बुरा असर पड़ सकता है इसका अंदाजा लगाना भी मुश्किल है. वहीं इस पूरी घटना के बारे में जब ETV भारत ने महिला एवं बाल विकास अधिकारी सीएस मिश्रा से बात करनी चाही तो उन्होंने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया.

प्रशासन की बड़ी लापरवाही

इस घटना पर जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम का कहना है कि ये एक बड़ी लापरवाही है. इससे गर्भवती महिलाओं के गर्भ में पल रहे बच्चे की मौत भी हो सकती थी. उन्होंने कहा कि बिना जांच के इस तरह सड़े गले अंडों को सप्लाई करना बेहद लापरवाही का काम है. प्रशासन को इस ओर ध्यान देना चाहिए.

पढ़ें: बीजापुर: बर्तन में बैठ नदी पार कर प्रसूता पहुंची अस्पताल, प्रसव होने तक बच्ची की चली गई थी जान

बताया जा रहा है कि रायपुर से अंडों की सप्लाई होती है. जिसके बाद स्व सहायता समूहों की मदद से आंगनबाड़ी केन्द्रों तक अंडे पहुंचाए जाते हैं, लेकिन देरी से अंडों का वितरण किए जाने के कारण ऐसी स्थिति पैदा हुई है.

कांकेर: छत्तीसगढ़ में कुपोषण को दूर करने के लिए तरह-तरह के अभियान चलाए जा रहे हैं, लेकिन इन अभियानों के क्रियान्वयन को लेकर विभाग के अफसर कितने सजग है इसका अंदाजा इसी बात से बात से लगा लीजिए कि मोहपुर और पुसवाड़ा गांव में गर्भवती महिलाओं और कुपोषित बच्चों को जिन अंडों का वितरण किया गया था वो सड़ चुके थे.

गर्भवती महिलाओं-कुपोषित बच्चों को बांटे गए कीड़े लगे अंडे

वितरण के दौरान हितग्राहियों ने गुणवत्ताहीन अंडे लेने से साफ इनकार कर दिया, जिसके बाद वहां लोगों की भीड़ इकठ्ठी हो गई. इसी दौरान वहां से गुजर रहे जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम ने घटना की जानकारी ली. जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम ने तत्काल अंडों को वापस मंगाने का आदेश दिया, जिसके बाद हरकत में आए विभाग ने आनन-फानन में अंडों को वापस मंगवाया.

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अंडों पर कीड़े लगने की शिकायत

मोहपुर के जिस आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने अपने हितग्राहियों को अंडों का वितरण किया था. उसने बताया कि कुछ अंडों पर कीड़े लगे हुए थे. आंगनबाड़ी केन्द्र की इस लापरवाही से यह साफ नजर आता है कि विभाग शासन की योजनाओं को लेकर कितना गंभीर है.

अधिकारी झाड़ रहे पल्ला

अगर इन सड़े गले अंडों का सेवन गर्भवती महिलाएं या कुपोषित बच्चे कर लेते तो उनके सेहत पर इसका कितना बुरा असर पड़ सकता है इसका अंदाजा लगाना भी मुश्किल है. वहीं इस पूरी घटना के बारे में जब ETV भारत ने महिला एवं बाल विकास अधिकारी सीएस मिश्रा से बात करनी चाही तो उन्होंने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया.

प्रशासन की बड़ी लापरवाही

इस घटना पर जनपद अध्यक्ष रामचरण कोर्राम का कहना है कि ये एक बड़ी लापरवाही है. इससे गर्भवती महिलाओं के गर्भ में पल रहे बच्चे की मौत भी हो सकती थी. उन्होंने कहा कि बिना जांच के इस तरह सड़े गले अंडों को सप्लाई करना बेहद लापरवाही का काम है. प्रशासन को इस ओर ध्यान देना चाहिए.

पढ़ें: बीजापुर: बर्तन में बैठ नदी पार कर प्रसूता पहुंची अस्पताल, प्रसव होने तक बच्ची की चली गई थी जान

बताया जा रहा है कि रायपुर से अंडों की सप्लाई होती है. जिसके बाद स्व सहायता समूहों की मदद से आंगनबाड़ी केन्द्रों तक अंडे पहुंचाए जाते हैं, लेकिन देरी से अंडों का वितरण किए जाने के कारण ऐसी स्थिति पैदा हुई है.

Last Updated : Jul 24, 2020, 11:53 AM IST
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