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कांकेर में प्रधानमंत्री आवास योजना के हितग्राहियों को पहली किस्त देकर भूली सरकार, हितग्राही लाचार

कांकेर के कन्हारपुरी में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 26 हितग्राहियों को अब तक दूसरी किस्त का भुगतान नहीं हुआ है. जिसकी वजह से लोगों के मकान का निर्माण अटका है. बारिश के महीने में लोग आधे-अधूरे मकान में रहने को मजबूर हैं.

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Published : Jul 27, 2021, 8:42 PM IST

Updated : Jul 28, 2021, 12:04 AM IST

incomplete houses
आधे-अधूरे आशियाने

कांकेर: नरहरपुर विकासखंड के ग्राम पंचायत कन्हारपुरी में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पैसों का भुगतान अटका पड़ा है. जिससे हितग्राहियों को आशियाने के लिए दर दर भटकना पड़ रहा है. यहां प्रधानमंत्री आवास योजना (Prime Minister of Housing Scheme) के तहत 26 हितग्राहियों को मकान बनाने के लिए अब तक केवल 25 हजार रूपए मिल पाए हैं. हितग्राही (beneficiary) जागेश्वर नेताम ने बताया कि प्रशासन पहली किस्त देकर उन्हें भूल गई है. इसके बाद वह अपने सगे संबंधियों की मदद से आवास बनाने को मजबूर हैं. जैसे तैसे उन्होंने घर को बनाया. अब आगे मकान के निर्माण में वह सक्षम नहीं है. ऐसे में वह बांस और पैरा का छांव बनाकर अधूरे घर में ही रहने को मजबूर हैं.

आधे-अधूरे आशियाने

कन्हारपुरी में 26 हितग्राहियों का नाम 2019-20 में प्रधानमंत्री आवास योजना (Prime Minister of Housing Scheme) के तहत मकान बनाने के लिए शॉर्टलिस्ट हुआ था. लेकिन इस दौरान प्रशासन ने हितग्राहियों के खाते में केवल 25 हजार रूपए ही डाले हैं. जिसके कारण हितग्राही अधूरे मकान में रहने को मजबूर हैं. कई ऐसे हितग्राही हैं जो लोन के नीचे दब गए हैं.

दूसरी किस्त और अधूरा मकान

ग्राम पंचायत कन्हारपुरी (Gram Panchayat Kanharpuri) की हितग्राही अंजना प्रयाग ने बताया कि उन्हें भी केवल पहली ही किस्त मिल पाई है. जब उनके पास रहने के लिए जगह नहीं थी. तब उन्होंने लोन लेकर मकान बनाना शुरू किया, लेकिन मकान बनाते- बनाते वह कर्ज के नीचे दब गई. एक और हितग्राही सहदेव नेताम ने बताया कि उन्हें पहली किस्त मिलने के बाद दूसरी किस्त अभी तक नहीं मिली है. जिसकी वजह से उनका घर अधूरा ही रह गया है और अब तो यह नौबत आ गई है कि, वह अधूरे मकान को पूरा नहीं कर पा रहे हैं. ऐसे में उनका पूरा परिवार एक कमरे के बराबर वाली जगह में रहने को मजबूर है.

आशियाने का सपना कब होगा पूरा: RDA की लेट लतीफी से हितग्राहियों को 2 साल बाद भी नहीं मिला मकान

इन्हीं हितग्राहियों में से एक जुम्मन सिंह ने बताया कि, उन्हें प्रशासन द्वारा केवल एक ही किस्त मिली है. जिसमें सिर्फ 25 हजार रुपये का भुगतान हुआ है. उनके मुताबिक यह रकम मकान बनाने के लिए बहुत छोटी है. मकान के काम को पूरा करने के लिए उन्हें और पैसों की जरूरत है लेकिन दूसरी किस्त उन्हें कब मिलेगी? इसके बारे में ना तो उन्हें पता है और ना ही संबधित अधिकारी उन्हें दूसरी किस्त के बारे में कोई जानकारी दे रहे हैं.

ग्रामीणों ने बताया कि, दूसरी किस्त की आस में पंचायत के चक्कर काटते- काटते एक लंबा वक्त बीत चुका है. इसके बाद भी पंचायत सचिव और पदाधिकारी दूसरी किस्त की जानकारी देने में हिचचिका रहे हैं. अधिकारियों के पास एक ही रटा रटाया जबाव रहता है, कि उन्हें इसकी कोई जानकारी नहीं है. हितग्राहियों की शिकायत है कि वह इतने समय से कार्यालयों के चक्कर काट रहे हैं लेकिन अभी तक समस्या का समाधान नहीं हो पाया है.

फंड आते ही होगा भुगतान

इस मामले में जिला पंचायत सीईओ (Zilla Panchayat CEO) संजय कन्नौजे ने बताया कि, राज्य सरकार से इसका आवंटन नहीं आया है. इसके लिए पत्र भी लिखे जा चुके हैं लेकिन अभी तक कोई जबाव नहीं आया है. जनवरी महीने में जिन हितग्राहियों के मकान का निर्माण पूरा हो रहा था, उन हितग्राहियों के खाते में राशि डाली गई थी. जिला पंचायत सीईओ (Zilla Panchayat CEO) ने आश्वासन देते हुए कहा कि, जैसे ही हितग्राहियों की राशि आएगी वैसे ही बाकी हितग्राहियों के खातों में रकम डाल दी जाएगी.

तीन किस्तों में होता है राशि का भुगतान

प्रधानमंत्री आवास योजना (PM Awas yojna) के तहत तीन लाख से कम आय वाला कोई भी ऐसा व्यक्ति जिसके पास कोई भी आवास न हो. उसको इसका लाभ दिया जाता है. इसके लिए 2.50 लाख रुपये की सहायता दी जाती है. पैसे तीन किस्त में दिए जाते हैं. पहली किस्त 50 हजार रुपये की. दूसरी किस्त 1.50 लाख रुपये की. वहीं, तीसरी किस्त 50 हजार रुपये की दी जाती है. कुल 2.50 लाख रुपए में 1 लाख राज्य सरकार देती है. वहीं, 1.50 लाख का अनुदान केंद्र सरकार देती है.

कांकेर: नरहरपुर विकासखंड के ग्राम पंचायत कन्हारपुरी में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पैसों का भुगतान अटका पड़ा है. जिससे हितग्राहियों को आशियाने के लिए दर दर भटकना पड़ रहा है. यहां प्रधानमंत्री आवास योजना (Prime Minister of Housing Scheme) के तहत 26 हितग्राहियों को मकान बनाने के लिए अब तक केवल 25 हजार रूपए मिल पाए हैं. हितग्राही (beneficiary) जागेश्वर नेताम ने बताया कि प्रशासन पहली किस्त देकर उन्हें भूल गई है. इसके बाद वह अपने सगे संबंधियों की मदद से आवास बनाने को मजबूर हैं. जैसे तैसे उन्होंने घर को बनाया. अब आगे मकान के निर्माण में वह सक्षम नहीं है. ऐसे में वह बांस और पैरा का छांव बनाकर अधूरे घर में ही रहने को मजबूर हैं.

आधे-अधूरे आशियाने

कन्हारपुरी में 26 हितग्राहियों का नाम 2019-20 में प्रधानमंत्री आवास योजना (Prime Minister of Housing Scheme) के तहत मकान बनाने के लिए शॉर्टलिस्ट हुआ था. लेकिन इस दौरान प्रशासन ने हितग्राहियों के खाते में केवल 25 हजार रूपए ही डाले हैं. जिसके कारण हितग्राही अधूरे मकान में रहने को मजबूर हैं. कई ऐसे हितग्राही हैं जो लोन के नीचे दब गए हैं.

दूसरी किस्त और अधूरा मकान

ग्राम पंचायत कन्हारपुरी (Gram Panchayat Kanharpuri) की हितग्राही अंजना प्रयाग ने बताया कि उन्हें भी केवल पहली ही किस्त मिल पाई है. जब उनके पास रहने के लिए जगह नहीं थी. तब उन्होंने लोन लेकर मकान बनाना शुरू किया, लेकिन मकान बनाते- बनाते वह कर्ज के नीचे दब गई. एक और हितग्राही सहदेव नेताम ने बताया कि उन्हें पहली किस्त मिलने के बाद दूसरी किस्त अभी तक नहीं मिली है. जिसकी वजह से उनका घर अधूरा ही रह गया है और अब तो यह नौबत आ गई है कि, वह अधूरे मकान को पूरा नहीं कर पा रहे हैं. ऐसे में उनका पूरा परिवार एक कमरे के बराबर वाली जगह में रहने को मजबूर है.

आशियाने का सपना कब होगा पूरा: RDA की लेट लतीफी से हितग्राहियों को 2 साल बाद भी नहीं मिला मकान

इन्हीं हितग्राहियों में से एक जुम्मन सिंह ने बताया कि, उन्हें प्रशासन द्वारा केवल एक ही किस्त मिली है. जिसमें सिर्फ 25 हजार रुपये का भुगतान हुआ है. उनके मुताबिक यह रकम मकान बनाने के लिए बहुत छोटी है. मकान के काम को पूरा करने के लिए उन्हें और पैसों की जरूरत है लेकिन दूसरी किस्त उन्हें कब मिलेगी? इसके बारे में ना तो उन्हें पता है और ना ही संबधित अधिकारी उन्हें दूसरी किस्त के बारे में कोई जानकारी दे रहे हैं.

ग्रामीणों ने बताया कि, दूसरी किस्त की आस में पंचायत के चक्कर काटते- काटते एक लंबा वक्त बीत चुका है. इसके बाद भी पंचायत सचिव और पदाधिकारी दूसरी किस्त की जानकारी देने में हिचचिका रहे हैं. अधिकारियों के पास एक ही रटा रटाया जबाव रहता है, कि उन्हें इसकी कोई जानकारी नहीं है. हितग्राहियों की शिकायत है कि वह इतने समय से कार्यालयों के चक्कर काट रहे हैं लेकिन अभी तक समस्या का समाधान नहीं हो पाया है.

फंड आते ही होगा भुगतान

इस मामले में जिला पंचायत सीईओ (Zilla Panchayat CEO) संजय कन्नौजे ने बताया कि, राज्य सरकार से इसका आवंटन नहीं आया है. इसके लिए पत्र भी लिखे जा चुके हैं लेकिन अभी तक कोई जबाव नहीं आया है. जनवरी महीने में जिन हितग्राहियों के मकान का निर्माण पूरा हो रहा था, उन हितग्राहियों के खाते में राशि डाली गई थी. जिला पंचायत सीईओ (Zilla Panchayat CEO) ने आश्वासन देते हुए कहा कि, जैसे ही हितग्राहियों की राशि आएगी वैसे ही बाकी हितग्राहियों के खातों में रकम डाल दी जाएगी.

तीन किस्तों में होता है राशि का भुगतान

प्रधानमंत्री आवास योजना (PM Awas yojna) के तहत तीन लाख से कम आय वाला कोई भी ऐसा व्यक्ति जिसके पास कोई भी आवास न हो. उसको इसका लाभ दिया जाता है. इसके लिए 2.50 लाख रुपये की सहायता दी जाती है. पैसे तीन किस्त में दिए जाते हैं. पहली किस्त 50 हजार रुपये की. दूसरी किस्त 1.50 लाख रुपये की. वहीं, तीसरी किस्त 50 हजार रुपये की दी जाती है. कुल 2.50 लाख रुपए में 1 लाख राज्य सरकार देती है. वहीं, 1.50 लाख का अनुदान केंद्र सरकार देती है.

Last Updated : Jul 28, 2021, 12:04 AM IST
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