कवर्धा : छत्तीसगढ़ में किसान समस्याओं से जूझ रहे हैं. अपनी समस्याओं को लेकर किसानों ने कई बार शासन से गुहार लगाई है. लेकिन किसानों की परेशानी दूर नहीं हुई.एक बार फिर भारतीय किसान संघ ने अपनी 15 सूत्रीय मांगों को लेकर शासन के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा है.
घोषणा पत्र में किए वादों को किसानों ने करवाया याद : किसानों अपनी 15 सूत्रीय मांगों में कांग्रेस को पिछले विधानसभा चुनाव में किए गए वादों को याद दिलाया है. जिसमें ये कहा गया था कि, सरकार बनते ही बीजेपी शासन के दो साल का बोनस किसानों को दिया जाएगा.पूरे प्रदेश में शराबबंदी की जाएगी.लेकिन ना तो बोनस दिया गया और ना ही शराबबंदी हुई.
'' हमने शासन से मांग की है कि 60 वर्ष से अधिक के आयु वाले किसानों को किसान पेंशन योजना के तहत पेंशन दिया जाए. इसके साथ ही किसानी के लिए पंपों के इस्तेमाल को लेकर बिजली आधी की जाए..'' डोमन सिंह, किसान
''किसानों द्वारा विभिन्न मांग को लेकर ज्ञापन दिया गया है. कुछ मांग जिला स्तर की हैं. जिसे पूरा कर दिया जाएगा. वहीं कुछ शासन स्तर की हैं. उसे शासन को भेजा जाएगा. शासन अपने स्तर पर फैसला लेगी.'' जन्मेजय महोबे,कलेक्टर
आपको बता दें कि छत्तीसगढ़ में कांग्रेस किसानों का वादा पूरा करने के आश्वासन के बाद ही सत्ता में लौटी है.ऐसे में एक बार फिर किसानों ने पुराने वादों के साथ नई मांगों को सरकार के सामने रखा है.विधानसभा चुनाव के दौरान ये मांगें किसान संघ मनवाना चाहता है.वहीं शासन भी चाहता है कि किसानों को किसी भी बात की परेशानी ना हो.