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जशपुर: आकाशीय बिजली गिरने से 2 युवकों की मौत, युवती को ग्रामीणों ने गोबर के गड्ढे में गाड़ा - जशपुर न्यूज

बागबहरा थाना क्षेत्र में आकाशीय बिजली की चपेट में आजाने से एक युवती सहित तीन लोग घायल हो गए, जिन्हें पहले ग्रामीणों ने आधे घंटे तक गोबर के गड्ढे में गाड़े रखा. फिर आनन फानन में अस्पताल ले जाया गया. जहां डॉक्टरों ने परीक्षण के बाद दो लोगों को मृत घोषित कर दिया.

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आकाशीय बिजली की चपेट में आई युवती
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Published : Jun 30, 2020, 4:30 AM IST

जशपुर: बागबहरा थाना क्षेत्र में आकाशीय बिजली की चपेट में आ जाने से एक युवती सहित तीन लोग घायल हो गए, जिन्हें आनन फानन में अस्पताल ले जाया गया. जहां इलाज के दौरान दो लोगों की मौत हो गई. जानकारी के मुताबिक घायलों को इलाज के लिए ग्रामीणों ने आधे घंटे तक गोबर के गड्ढे में गाड़े रखा. आधे घंटे बाद घायलों को गोबर के गढ़े से निकाल कर बागबहारा के अस्पताल लाया गया. जहां से प्राथमिक उपचार के बाद लैलूंगा अस्पताल रेफर कर दिया गया. जहां डॉक्टरों ने जांच के बाद दो युवकों को मृत घोषित कर दिया, जबकि युवती का इलाज जारी है.

आकाशीय बिजली गिरने से 2 युवकों की मौत
मिली जानकारी के मुताबिक घटना बागबहार थाना क्षेत्र के झारपारा गांव की है. जहां अचानक तेज बारिश के साथ बिजली गिरने से तीन लोग बुरी तरह झुलस गए, जिनमें से दो लोगों की मौत भी हो गई. घटना के बाद अंधविश्वास में डूबे ग्रामीणों ने आकाशीय बिजली से झुलसे तीनों लोगों को गोबर के गढ़े में गाड़े रखा, जिससे इलाज में देरी हो गई.

धमतरीः आकाशीय बिजली गिरने से पति-पत्नी समेत एक महिला की मौत

परीक्षण के बाद दो लोगों को मृत घोषित कर दिया

बताया जा रहा है कि 22 वर्षीय सुनील और 23 वर्षीय राजू तिर्की अपने घर के पास स्थित तलाब की ओर घूमने गए हुए थे. इसी दौरान अचानक बारिश शुरू हो जाने से वह पानी से बचने के लिए तालाब के किनारे स्थित एक बरगद पेड़ के नीचे खड़े हो गए. तभी अचानक आकाशीय बिजली गिरी, जिससे दोनों युवक बुरी तरह से झुलस गए. मौके पर पहुंचे ग्रामीणों ने बुरी तरह से झुलसे सुनील को उठाकर गोबर के गड्ढे में डाल दिया. घटना के बाद घायलों को बागबहार के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र लाया गया. जहां डॉक्टरों ने परीक्षण के बाद दो लोगों को मृत घोषित कर दिया.

पाकुड़ में आकाशीय बिजली गिरने से पांच लोगों की मौत

गोबर के गड्ढे में डालना एक अंधविश्वास है
वहीं मामले में जिला चिकित्सा अधिकारी पुरुषोत्तम सुथार का कहना है कि आकाशीय बिजली की चपेट में आने वाले व्यक्ति का शरीर झुलसने के साथ, उसके ह्दय की गति भी बढ़ जाती है. घायल की जान बचाने के लिए एक-एक पल कीमती होता है. ऐसे में गोबर के गड्ढे में डालना अंधविश्वास के अलावा कुछ नहीं है. इससे पेशेंट को तकलीफ ही होती है, वो ठीक नहीं होता है. उन्होंने कहा कि समय नष्ट करने की बजाए, उसे जल्द से जल्द नजदीकी अस्पताल में इलाज के लिए पहुंचाना चाहिए.

जशपुर: बागबहरा थाना क्षेत्र में आकाशीय बिजली की चपेट में आ जाने से एक युवती सहित तीन लोग घायल हो गए, जिन्हें आनन फानन में अस्पताल ले जाया गया. जहां इलाज के दौरान दो लोगों की मौत हो गई. जानकारी के मुताबिक घायलों को इलाज के लिए ग्रामीणों ने आधे घंटे तक गोबर के गड्ढे में गाड़े रखा. आधे घंटे बाद घायलों को गोबर के गढ़े से निकाल कर बागबहारा के अस्पताल लाया गया. जहां से प्राथमिक उपचार के बाद लैलूंगा अस्पताल रेफर कर दिया गया. जहां डॉक्टरों ने जांच के बाद दो युवकों को मृत घोषित कर दिया, जबकि युवती का इलाज जारी है.

आकाशीय बिजली गिरने से 2 युवकों की मौत
मिली जानकारी के मुताबिक घटना बागबहार थाना क्षेत्र के झारपारा गांव की है. जहां अचानक तेज बारिश के साथ बिजली गिरने से तीन लोग बुरी तरह झुलस गए, जिनमें से दो लोगों की मौत भी हो गई. घटना के बाद अंधविश्वास में डूबे ग्रामीणों ने आकाशीय बिजली से झुलसे तीनों लोगों को गोबर के गढ़े में गाड़े रखा, जिससे इलाज में देरी हो गई.

धमतरीः आकाशीय बिजली गिरने से पति-पत्नी समेत एक महिला की मौत

परीक्षण के बाद दो लोगों को मृत घोषित कर दिया

बताया जा रहा है कि 22 वर्षीय सुनील और 23 वर्षीय राजू तिर्की अपने घर के पास स्थित तलाब की ओर घूमने गए हुए थे. इसी दौरान अचानक बारिश शुरू हो जाने से वह पानी से बचने के लिए तालाब के किनारे स्थित एक बरगद पेड़ के नीचे खड़े हो गए. तभी अचानक आकाशीय बिजली गिरी, जिससे दोनों युवक बुरी तरह से झुलस गए. मौके पर पहुंचे ग्रामीणों ने बुरी तरह से झुलसे सुनील को उठाकर गोबर के गड्ढे में डाल दिया. घटना के बाद घायलों को बागबहार के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र लाया गया. जहां डॉक्टरों ने परीक्षण के बाद दो लोगों को मृत घोषित कर दिया.

पाकुड़ में आकाशीय बिजली गिरने से पांच लोगों की मौत

गोबर के गड्ढे में डालना एक अंधविश्वास है
वहीं मामले में जिला चिकित्सा अधिकारी पुरुषोत्तम सुथार का कहना है कि आकाशीय बिजली की चपेट में आने वाले व्यक्ति का शरीर झुलसने के साथ, उसके ह्दय की गति भी बढ़ जाती है. घायल की जान बचाने के लिए एक-एक पल कीमती होता है. ऐसे में गोबर के गड्ढे में डालना अंधविश्वास के अलावा कुछ नहीं है. इससे पेशेंट को तकलीफ ही होती है, वो ठीक नहीं होता है. उन्होंने कहा कि समय नष्ट करने की बजाए, उसे जल्द से जल्द नजदीकी अस्पताल में इलाज के लिए पहुंचाना चाहिए.

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