जगदलपुर: राम वन गमन के तहत मंदिर निर्माण के लिए प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों से लिए गए मिट्टी पर राजनीति गरमाई हुई है. राम वन गमन पर्यटन रथ यात्रा और बस्तर संभाग के क्षेत्र से मिट्टी लेने के बाद कांकेर में प्रशासन और आदिवासियों के बीच हुए विवाद के बाद 60 लोगों पर एफआईआर दर्ज किया गया था. इसके विरोध में अब आदिवासी समाज सड़कों पर उतर आया है.
इसी विरोध के तहत बुधवार को किए गए जेल भरो आंदोलन में बस्तर जिले में भी सर्व आदिवासी समाज के सैकड़ों लोगों ने अपने पारंपरिक हथियार लेकर शहर में विशाल रैली निकाली. साथ ही प्रदेश के मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा और अपनी गिरफ्तारी भी दी.
राम वन गमन पथ: बस्तर संभाग में आदिवासियों का जेल भरो आंदोलन
बिना अनुमति लिए चोरी की गई मिट्टी
सर्व आदिवासी समाज के अध्यक्ष प्रकाश ठाकुर ने सराकर पर आरोप लगाया है कि प्रदेश सरकार ने राम वन गमन के लिए मिट्टी गलत तरीके सी ली थी. सरकार के किसी प्रतिनिधी की ओर से आदिवासी समाज के प्रमुखों और गांव के पुजारियों से मिट्टी ले जाने की अनुमति नहीं मांगी गई. ग्रामीणों का कहना है कि ये सरकार आदिवासी समाज का भला नहीं चाहती.
FIR को शून्य घोषित करने की मांग
कांकेर में इसका विरोध किए जाने पर समाज के 60 लोगों के खिलाफ शासन ने दादागिरी करते हुए एफआईआर दर्ज किया है. ग्रामीणों ने इस एफआईआर को शून्य घोषित करने की मांग की है. साथ ही मिट्टी चोरी करने में संलिप्त अधिकारियों पर भी एफआईआर की मांग को लेकर समाज के लोगों ने जेल भरो आंदोलन के तहत अपनी गिरफ्तारी दी है.
मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी
प्रकाश ठाकुर ने बताया कि बुधवार को शहर में रैली निकालकर मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया है. वहीं समाज के लोगों ने 15 दिन के भीतर मांगों को सरकार से संज्ञान में लेने की बात कही है. साथ ही मांगे पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है.