जगदलपुर: छत्तीसगढ़ सरकार ने बोधघाट परियोजना के लिए तैयारी शुरू कर दी है. लेकिन ग्रामीण इस परियोजना का लगातार विरोध कर रहे हैं. अभी सर्वे का काम शुरू नहीं हो सका है. इससे पहले इस इलाके में नक्सलियों की भी सक्रियता बढ़ गई है. कुछ दिन पहले ही नक्सलियों ने इलाके में सड़क निर्माण में लगे 8 वाहनों को आग के हवाले कर दिया था. पर्चे भी फेंके गए थे. पर्चे में साफ तौर पर नक्सलियों ने इस बोधघाट प्रोजेक्ट का विरोध किया है. बस्तर पुलिस ने उस इलाके में जल्द ही सुरक्षा बढ़ाने की बात कही है.
बस्तर आईजी सुंदरराज पी ने इनपुट के आधार पर बताया कि, बोधघाट परियोजना का नक्सली विरोध कर रहे हैं. केवल बोधघाट परियोजना का ही नहीं बल्कि नक्सली हमेशा से ही बस्तर में नए प्रोजेक्ट का विरोध करते आ रहे हैं. हाल ही में बोधघाट परियोजना से प्रभावित होने वाले ग्रामीणों ने इसके विरोध में आंदोलन भी किया था. आईजी का कहना है कि इस प्रोजेक्ट के लिए अब आगे रेकी और सर्वे का काम शासन-प्रशासन शुरू करने जा रहा है. इसके लिए बस्तर पुलिस इलाके में पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था करेगी.
बोधघाट परियोजना को लेकर सीएम बघेल कर रहे तानाशाही- मनीष कुंजाम
आईजी का कहना है कि हमेशा से ही नक्सली ग्रामीणों को सामने कर इस तरह के प्रोजेक्ट का विरोध करते आ रहे हैं, लेकिन उनकी यह चाल अब ज्यादा समय तक नहीं चलने वाली है. पुलिस जल्द ही इस इलाके में ऑपरेशन तेज कर प्रोजेक्ट का विरोध कर रहे नक्सलियों को मुंहतोड़ जवाब देगी. प्रोजेक्ट के लिए अब पर्याप्त सुरक्षा बल भी इस इलाके में तैनात किए जाएंगे.
प्रोजेक्ट से 4 जिले के ग्रामीण होंगे प्रवाभित
बोधघाट परियोजना से बस्तर संभाग के 4 जिले दंतेवाड़ा, बीजापुर, बस्तर और नारायणपुर जिले के ग्रामीण प्रभावित हो रहे हैं. यह इलाका माड़ क्षेत्र होने की वजह से यहां नक्सलियों की मौजूदगी भी समय-समय पर देखने को मिली है. हाल ही में सड़क निर्माण में लगे वाहनों को आग के हवाले करने के बाद एक बार फिर इस इलाके में नक्सलियों ने अपनी मौजूदगी दर्ज कराई है.