दुर्ग: जिले में पुलिस विभाग को डिजिटलाइजेशन करने की दिशा में बड़ा कदम उठाया गया है. साल 1950 से जारी रजिस्टर में लिखा जाने वाला रोजनामचा (लेखा जोखा) अब कंप्यूटर में ऑनलाइन दर्ज किया जा रहा है. करीब 70 साल पुरानी व्यवस्था पुलिस विभाग ने बदली है. दुर्ग सिटी कोतवाली थाना की ओर से इसकी शुरुआत की गई है.
बता दें कि, रोजनामचा पुलिस विभाग का अहम दस्तावेज होता है. इसमें थाने में होने वाली हर महत्वपूर्ण घटना को दर्ज किया जाता है. FIR, शिकायत की तहरीर,दबिश, नान काग्निजेबल अपराध (जिसमें पुलिस बिना कोर्ट की अनुमति के कार्रवाई नहीं कर सकती है) गिरफ्तारी पुलिस की आमद और रवानगी आदि रोजनामचा में दर्ज की जाती है.
थाने की कार्रवाइयों पर अधिकारियों की सीधी नजर
कोतवाली थाना में कंप्यूटर पर रोजनामचा की इंट्री शुरू कर दी गई है. इस तरह रोजनामचा को ऑनलाइन करने से पुलिस विभाग की सभी कार्रवाई में और भी पारदर्शिता आएगी. ऑनलाइन होने से छेड़खानी की कोई भी आशंका नहीं होगी. FIR ऑनलाइन होने के बाद थानों में दर्ज होने वाले मामलों पर वरिष्ट पुलिस अधीक्षक ,एएसपी और सीएसपी रैंक के अधिकारी सीधे नजर रख सकेंगे.
रोजनामचा को ऑनलाइन करने की कवायद शुरू
पुलिस अधीक्षक अजय यादव ने बताया कि पुलिस विभाग के अधिकारियों के मुताबिक रोजनामचा को ऑनलाइन करने का आदेश बहुत पहले से आया हुआ है, लेकिन इसे ऑनलाइन करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था. रोजनामचा में दर्ज होने वाली प्रत्येक गतिविधि टाइम के साथ नोट की जाती है. उन्होंने बताया कि कई दफा रोजनामचा में दर्ज समय और पुलिस की कार्रवाई के समय में अंतर की वजह से विवाद सामने आते रहे हैं. ऐसे में ऑनलाइन प्रकिया विभागीय कार्रवाई में पुलिस कर्मियों के लिए कवच का काम करेगी. रोजनामचा ऑनलाइन होने के बाद गड़बड़ी नहीं होगी. उन्होंने ने बताया कि रोजनामचा को ऑनलाइन करने की कवायद शुरू हो गई है. इसके तहत शहर के थानों में ट्रायल शुरू कर दिया गया. इसे ऑपरेट करने के लिए कर्मियों को सीसीटीएनएस के ट्रेनिंग दी गई है.