बिलासपुर : कोल परिवहन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में सौम्या चौरसिया को ईडी ने गिरफ्तार किया था. सौम्या चौरसिया ने जमानत के लिए याचिका हाईकोर्ट में लगाई थी. बुधवार को छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में निलंबित आईएएस अधिकारी सौम्या चौरसिया की जमानत पर सुनवाई हुई. मामले की सुनवाई बुधवार को भी पूरी नही हो सकी है. कोर्ट ने केस की सुनवाई के लिई नई तारीख दे दी है. यह पूरा मामला कोयला लेवी स्कैम से जुड़ा हुआ.
क्या है मामला : ईडी ने राज्य के कोल माफिया और राज्य के कई प्रशासनिक अधिकारियों के घर, दफ्तर और उनके ठिकानों पर छापेमार कार्रवाई की थी. इस रेड में ईडी ने कई अधिकारियों की गिरफ्तारी की. जिसमें सौम्या चौरसिया को भी मनी लॉन्ड्रिंग के तहत गिरफ्तार किया गया. तब से सौम्या रायपुर सेंट्रल जेल में बंद है.
कहां-कहां सौम्या ने की अपील : गिरफ्तारी के बाद सौम्या चौरसिया ने रायपुर की अदालत में जमानत की अर्जी दाखिल की थी. सुनवाई के बाद रायपुर कोर्ट ने सौम्या के आवेदन को खारिज कर दिया था. रायपुर कोर्ट में आवेदन खारिज होने के बाद निलंबित अधिकारी सौम्या चौरसिया ने हाईकोर्ट में जमानत याचिका दायर की थी. जमानत याचिका दायर होने के बाद बिलासपुर हाईकोर्ट में याचिका की सुनवाई मंगलवार को हुई. जिसमें सौम्या चौरसिया के वकील सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ एडवोकेट कपिल सिब्बल ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अपना पक्ष रखा.
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सौम्या का आरोप : सौम्या चौरसिया के वकील ने बताया कि '' याचिका में सौम्या चौरसिया ने कोर्ट को बताया है कि उनके ठिकानों पर ईडी ने तीन बार छापे मार कार्रवाई की. बैंक लॉकर खोल कर देखा, बैंक खाता और अन्य स्थानों पर भी छापे मार कार्रवाई में ईडी को कुछ भी हासिल नहीं हुआ था. बिना कारण के ईडी ने उन्हें गिरफ्तार किया है.''