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बिलासपुर डीआरएम दफ्तर के बाहर धरना प्रदर्शन, निजीकरण का कर्मचारी कर रहे विरोध - साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे

रेलवे में निजीकरण और नियमितीकरण रोकने की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन हुआ. आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर बुधवार को साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे के श्रमिक यूनियन ने बिलासपुर डीआरएम कार्यालय के सामने एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया. कर्मचारी आंदोलन कर रेलवे कर्मचारियों के पुरानी पेंशन लागू करने के साथ ही अपनी 10 सूत्रीय मांगों को लेकर हल्ला बोल प्रदर्शन किया.bilaspur latest news

बिलासपुर डीआरएम दफ्तर के बाहर धरना प्रदर्शन
बिलासपुर डीआरएम दफ्तर के बाहर धरना प्रदर्शन
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Published : Oct 12, 2022, 4:59 PM IST

Updated : Oct 12, 2022, 7:07 PM IST

बिलासपुर : कर्मचारी नेताओं ने केंद्र सरकार और रेल मंत्रालय पर आरोप लगाते हुए कहा कि '' कर्मचारी विरोधी नीति चलाई जा रही है. जिसकी वजह से कर्मचारियों को आने वाले भविष्य में कई तरह का नुकसान होगा. कर्मचारियों के साथ ही इससे जनता को भी तकलीफ के साथ ही आर्थिक नुकसान का सामना करना (Demonstration in front of Bilaspur DRM office ) पड़ेगा."

बिलासपुर में ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर बुधवार को साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे के श्रमिक यूनियन ने डीआरएम कार्यालय के सामने एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया. डीआरएम ऑफिस के सामने प्रदर्शनकारी श्रमिक धरने पर बैठे. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने रेलवे की कर्मचारी व श्रमिक विरोधी नीतियों के खिलाफ जमकर हल्ला बोला. प्रदर्शनकारियों ने बताया कि, फेडरेशन की 10 सूत्रीय मांग है. जिसमें रेलवे का निजीकरण और नियमितीकरण तत्काल रोकने, पुरानी पेंशन स्कीम लागू करने, रनिंग कर्मचारियों और अन्य सुरक्षा कोटे के कर्मचारियों की समस्याओं का समय अवधि में निराकरण और भारतीय रेलवे में रिक्त पदों पर शीघ्र नियुक्ति करने जैसी की प्रमुख मांग शामिल है.

फेडरेशन का कहना है कि ''रेलवे स्टेशन, ट्रेनों को निजी हाथों में दिया जा रहा है. जो कर्मचारियों और यात्रियों के हितों के खिलाफ है. गौरतलब है कि रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर राष्ट्रव्यापी भूख हड़ताल और धरना आंदोलन किया जा रहा है. साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे जोन के तीनों डिवीजन बिलासपुर, रायपुर और नागपुर में भी श्रमिक यूनियन ने इसे अपना समर्थन दिया है. कर्मचारी नेताओ ने मांग पूरी नहीं होने पर आंदोलन जारी रखने की बात कही है.''

श्रमिक यूनियन के महामंत्री मनोज बेहरा ने बताया कि '' बिलासपुर जोन के तीनों मंडलों रायपुर, नागपुर एवं बिलासपुर मंडल में मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय के सामने धरना प्रदर्शन किया गया, जिसमे बतौर प्रमुख मांगे भारतीय रेल के निजीकरण एवं नियमितीकरण से बचाना है. नई पेंशन नीति को रद्द कर पुरानी पेंशन स्कीम बहाली कराना है, रनिंग कर्मचारियों एवं अन्य संरक्षा कोटे कर्मचारियों की समस्याओं का समय अवधि में निराकरण करना, भारतीय रेल में रिक्त पदों पर नियुक्ति शीघ्र करने, सुपरवाइजर कर्मचारियों को ग्रेड पे 4800 से 5400 में पदोन्नति लागू हो, ग्रेड पर 1800 से 1900 ग्रेप में 30% पद अपग्रेड करना होगा संरक्षा कोटे सभी कर्मचारियों को रिक्स अलाउंस देना होगा. रेलवे मकान एवं सड़क के निर्माण एवं मरम्मत के लिए पर्याप्त निधि देना होगा. 8वें वेतनमान का गठन शीघ्र करने की मांग प्रमुख रूप से की गई.''

बिलासपुर : कर्मचारी नेताओं ने केंद्र सरकार और रेल मंत्रालय पर आरोप लगाते हुए कहा कि '' कर्मचारी विरोधी नीति चलाई जा रही है. जिसकी वजह से कर्मचारियों को आने वाले भविष्य में कई तरह का नुकसान होगा. कर्मचारियों के साथ ही इससे जनता को भी तकलीफ के साथ ही आर्थिक नुकसान का सामना करना (Demonstration in front of Bilaspur DRM office ) पड़ेगा."

बिलासपुर में ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर बुधवार को साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे के श्रमिक यूनियन ने डीआरएम कार्यालय के सामने एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया. डीआरएम ऑफिस के सामने प्रदर्शनकारी श्रमिक धरने पर बैठे. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने रेलवे की कर्मचारी व श्रमिक विरोधी नीतियों के खिलाफ जमकर हल्ला बोला. प्रदर्शनकारियों ने बताया कि, फेडरेशन की 10 सूत्रीय मांग है. जिसमें रेलवे का निजीकरण और नियमितीकरण तत्काल रोकने, पुरानी पेंशन स्कीम लागू करने, रनिंग कर्मचारियों और अन्य सुरक्षा कोटे के कर्मचारियों की समस्याओं का समय अवधि में निराकरण और भारतीय रेलवे में रिक्त पदों पर शीघ्र नियुक्ति करने जैसी की प्रमुख मांग शामिल है.

फेडरेशन का कहना है कि ''रेलवे स्टेशन, ट्रेनों को निजी हाथों में दिया जा रहा है. जो कर्मचारियों और यात्रियों के हितों के खिलाफ है. गौरतलब है कि रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर राष्ट्रव्यापी भूख हड़ताल और धरना आंदोलन किया जा रहा है. साउथ ईस्ट सेंट्रल रेलवे जोन के तीनों डिवीजन बिलासपुर, रायपुर और नागपुर में भी श्रमिक यूनियन ने इसे अपना समर्थन दिया है. कर्मचारी नेताओ ने मांग पूरी नहीं होने पर आंदोलन जारी रखने की बात कही है.''

श्रमिक यूनियन के महामंत्री मनोज बेहरा ने बताया कि '' बिलासपुर जोन के तीनों मंडलों रायपुर, नागपुर एवं बिलासपुर मंडल में मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय के सामने धरना प्रदर्शन किया गया, जिसमे बतौर प्रमुख मांगे भारतीय रेल के निजीकरण एवं नियमितीकरण से बचाना है. नई पेंशन नीति को रद्द कर पुरानी पेंशन स्कीम बहाली कराना है, रनिंग कर्मचारियों एवं अन्य संरक्षा कोटे कर्मचारियों की समस्याओं का समय अवधि में निराकरण करना, भारतीय रेल में रिक्त पदों पर नियुक्ति शीघ्र करने, सुपरवाइजर कर्मचारियों को ग्रेड पे 4800 से 5400 में पदोन्नति लागू हो, ग्रेड पर 1800 से 1900 ग्रेप में 30% पद अपग्रेड करना होगा संरक्षा कोटे सभी कर्मचारियों को रिक्स अलाउंस देना होगा. रेलवे मकान एवं सड़क के निर्माण एवं मरम्मत के लिए पर्याप्त निधि देना होगा. 8वें वेतनमान का गठन शीघ्र करने की मांग प्रमुख रूप से की गई.''

Last Updated : Oct 12, 2022, 7:07 PM IST
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