अंबिकापुर: साल 2020 में आए कोरोना और देश में लगे लॉकडाउन ने लोगों की कमर तोड़ कर रख दी. सबसे ज्यादा परेशानी हर रोज कमाकर खाने वालों को हुई. रोड साइड सामान बेचने वालों के पास भी घर बैठने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा. इससे लोगों को को उबारने के लिए सरकार ने कई स्कीम शुरू की. स्ट्रीट वेंडर्स, ठेले और गुमटियों में व्यवसाय करने वालों के लिए प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना शुरू की गई. जिसके तहत उन्हें 10 हजार रुपये का लोन दिया गया. 10 हजार रुपये की ये राशि छोटे व्यवसायियों के लिए काफी राहत देने वाली रही. इस योजना के जरिए केंद्र सकरार ब्याज में सब्सिडी के साथ स्ट्रीट वेंडर्स को लोन दे रही है जिसका लाभ दिखने लगा है.
दरअसल बैंक के नियमों में स्ट्रीट वेंडर्स फिट नहीं बैठते हैं. बैंकों की माने तो स्ट्रीट वेंडर्स के स्थायी नहीं होने के कारण बैंक उन्हें लोन नहीं दे सकती है लेकिन प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना शुरू करने से ऐसे स्ट्रीट वेंडर्स और छोटे व्यवसायियों को 10 हजार रुपये का लोन दिया जा रहा है, जिससे एक बार फिर वे अपना व्यवसाय शुरू कर पा रहे हैं.
कैश बैक के साथ सब्सिडी भी
इस योजना में 10 हजार रुपये का लोन 7 प्रतिशत की ब्याज दर से दिया जाता है, लेकिन नियमित किस्त चुकाने पर बैंक 7 प्रतिशत की जगह 3 प्रतिशत ही ब्याज ले रहा है. 10 हजार के लोन को एक साल में हर महीने किस्त के माध्यम से अगर ऑनलाइन चुकाया गया तो इसमें हर महीने 100 रुपये का कैशबैक और हर महीने 58 रुपये की सब्सिडी केंद्र सरकार दे रही है. शहरी आजीविका मिशन के कर्मचारी इस काम में स्ट्रीट वेंडर्स की मदद करते हैं और उन्हें स्कीम का लाभ दिलाते हैं. इस तरह से एक व्यक्ति जो 10 हजार का लोन लेता है, उसे सालभर में कुल 10 हजार 200 रुपये ही देने होते हैं, मतलब 10 हजार लेकर सिर्फ 200 रुपये ही अतिरिक्त देना होता है.
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सर्वे से अधिक पंजीयन
अंबिकापुर नगर निगम में बीते वर्षों में हुए स्ट्रीट वेंडर सर्वे में 924 स्ट्रीट वेंडर थे.राज्य सरकार ने पिछले साल एक थर्ड पार्टी सर्वे में इनकी संख्या 400 के करीब बताई. लेकिन वर्तमान में पीएम स्वनिधि योजना के लिये शहरी आजीविका मिशन के तहत 1 हजार 76 स्ट्रीट वेंडर्स लोन के लिए पंजीकृत कर लिये गये हैं. जिनमे से 607 लोगों का लोन प्रस्तावित भी हो चुका है.इनमें से 557 स्ट्रीट वेंडर्स के खाते में लोन की रकम जा चुकी है. अब तक शहर में विभिन्न बैंकों के माध्यम से 54 लाख 70 हजार रुपए का लोन स्ट्रीट वेंडर को पीएम स्वनिधि योजना के तहत दिया जा चुका है.
आत्मनिर्भरता की अच्छी पहल
लॉकडाउन में व्यवस्था बिगड़ने में बाद लोगों को अनुदान ना देकर ना के बराबर ब्याज पर कर्ज दिलाने की स्कीम आत्म निर्भर भारत की दिशा में बढ़ते कदम हैं. बैंकों से मिलने वाले लोन से लोग व्यवसाय करेंगे और खुद की कमाई से अपना घर चलाएंगे और बैंक की किस्त भी अदा करेंगे.