अंबिकापुर: गरियाबंद जिले के तहसील कार्यालय में पदस्थ लिपिक द्वारा आत्महत्या करने का मामला अब तूल पकड़ता नजर आ रहा है. लिपिक की मौत का आरोप प्रभारी तहसीलदार पर लगा है. इसी कड़ी में सोमवार को प्रदेश के साथ ही जिले में भी प्रभारी तहसीलदार के खिलाफ लिपिक संघ ने मोर्चा खोल दिया.
लिपिक वर्गीय कर्मचारी संघ ने तहसीलदार के खिलाफ अपराध दर्ज कर गिरफ्तारी की मांग को लेकर जमकर नारेबाजी की और कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री और गृहमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.
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कर्मचारी कर ली थी आत्महत्या
दरअसल बीते दिनों गरियाबंद जिले के देवभोग तहसील कार्यालय में पदस्थ सहायक ग्रेड 3 के कर्मचारी शुभम पात्र ने आत्महत्या कर ली थी. शुभम ने आत्महत्या करने से पहले एक सुसाइट नोट छोड़ा था, जिसके आधार पर उसके परिजन ने तहसील कार्यालय में पदस्थ प्रभारी तहसीलदार पर प्रताड़ना का आरोप लगाया था और इसकी शिकायत पुलिस से की थी.
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4 दिन बाद भी कोई कार्रवाई नहीं
शिकायत के 4 दिन बाद भी मामले में कार्रवाई नहीं होने से प्रदेश के लिपिक वर्ग में आक्रोश का माहौल है और सोमवार को प्रदेश भर में लिपिक वर्गीय कर्मचारी संघ ने मामले में कार्रवाई की मांग को लेकर आंदोलन किया. सरगुजा में भी लिपिक वर्ग संघ के पदाधिकारी और सदस्यों ने रैली निकालकर नारेबाजी करते हुए कलेक्टर कार्यालय पहुंचे.
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उग्र आंदोलन की चेतावनी
आंदोलनरत लिपिकों को पुलिस ने कलेक्टर कार्यालय के मुख्य द्वार पर ही रोक दिया, जहां से संघ के एक प्रतिनिधिमंडल ने कलेक्टर संजीव झा से मुलाकात कर उन्हें मुख्यमंत्री और गृहमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा है. संघ का आरोप है कि इस पूरे मामले में पुलिस द्वारा लीपापोती की जा रही है. संघ ने इस मामले में एफआईआर दर्ज कर प्रभारी तहसीलदार की गिरफ्तारी के साथ ही न्यायिक जांच की मांग की है और मांग पूर्ण नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है.