सरगुजा: कोरोना संक्रमण से मरने वाले 237 लोगों में 119 व्यक्ति ऐसे हैं जिनमें तंबाकू की लत ज्यादा थी. तंबाकू पदार्थ गुटखा, जर्दा, सिगरेट का सेवन हमारे शरीर को अंदर से कमजोर कर देता है. जिससे पुरुषों में जनन क्षमता की कमी आती है. इनके निरंतर सेवन से हृदय रोग, लकवा, कैंसर जैसे रोग भी होते हैं. जिले में तंबाकू सेवन से कैंसर के 187 मरीजों की पहचान की गई है. जबकि ब्लड प्रेशर, हृदय रोग, लकवा की शिकायत 12 हजार 532 मरीजों में देखी गई है. तंबाकू का सेवन केवल दृढ़इच्छा शक्ति से ही छोड़ा जा सकता है.
क्यों मुश्किल है तंबाकू छोड़ना ?
तंबाकू का सेवन छोड़ने के बाद मरीज कुछ दिनों तक बेचैनी और घबराहट महसूस करता है. लेकिन तंबाकू छोड़ने पर इसके दुष्प्रभाव से हमेशा के लिये मुक्त होता है. राष्ट्रीय तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डॉ शैलेन्द्र गुप्ता ने बताया कि राष्ट्रीय तम्बाकू नियंत्रण कार्यक्रम सरगुजा के हर साल की तरह 2020-21 में तंबाकू के दुष्प्रभाव से जनमानस को जागरूक कराने अनेक-अनेक कार्यक्रम आयोजित कराए गए.
- कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य 18 वर्ष से कम आयु वर्ग को तंबाकू नशा से दूर रखना.
- तंबाकू के दुष्प्रभाव के प्रति जन-जागरूकता लाना.
- जो व्यक्ति स्वेच्छा से तम्बाकू छोडना चाहते हैं उनकी मदद करना.
एक साल में 753 लोगों ने अपनी इच्छा से तंबाकू छोड़ा है. उन्होंने बताया कि तंबाकू सेवन से होने वाले नुकसान को देखते हुए कलेक्टर सरगुजा संजीव कुमार झा ने सरगुजा जिले को 1 अप्रैल से तंबाकू मुक्त घोषित किया था. जिसके तहत सार्वजनिक स्थानों में धूम्रपान करना, अमानक तम्बाकू उत्पाद की बिक्री पर प्रतिबंध और कोटपा एक्ट का कड़ाई से पालन ना होने पर 1000 रुपए की जुर्माना की राशि का प्रावधान है.
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- नगर निगम महापौर डॉक्टर अजय तिर्की ने सामान्य सभा से मिले प्रस्ताव को मंजूर करते हुए नगर निगम क्षेत्र में स्कूल के 100 गज के दायरे में तंबाकू बेचने को प्रतिबंधित कर दिया और नगर निगम क्षेत्र में तंबाकू और गुटखा के विज्ञापन पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दिया. एसपी टीआर कोशिमा ने कोटपा एक्ट अधिनियम के उल्लंघन करने पर कार्रवाई के निर्देश दिए. जिसके तहत 73 लोगों के चालान काटे गए.
- जिला शिक्षा अधिकारी आईपी गुप्ता ने सरगुजा के 2400 शिक्षण संस्थानों को तंबाकू मुक्त घोषित कर इस संबंध में शासन के दिए गए प्रारूप अनुसार तंबाकू मुक्त शिक्षण संस्थान और धूम्रपान निषेध संबंधी बोर्ड लगवाने का उल्लेखनीय कार्य किया है.
- मितानिन समन्वयक अर्चना कुशवाहा और ईमिल तिर्की के निर्देशन में जिले में 3600 मितानिनों ने तंबाकू के खिलाफ अलख जगाने गोबर के दिये जलाकर जागरूकता का संदेश दिया है. इसके साथ ही मितानिनों ने तंबाकू के बिक्री और सेवन न करने का संकल्प लिया. 37 मितानिनों ने अपने दुकान में तंबाकू की बिक्री आजीवन न करने का संकल्प पत्र राष्ट्रीय तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम को दिया है. सीएमएचओ डॉ पीएस सिसोदिया के अनुसार तम्बाकू मुक्त सरगुजा की शासन स्तर पर पहल से गैर संचारी रोगों की रोकथाम में मदद मिलेगी.