कवर्धा: जिले के सारंगपुर खुर्द का शासकीय प्राथमिक शाला भवन पूरी तरह जर्जर हो चुका है. छत का प्लास्टर बच्चों और शिक्षकों पर गिरता है. जर्जर स्कूल भवन में कक्षा संचालित करना संभव नहीं है. कभी भी बड़ी दुर्घटना होने का खतरा बना रहता है. कई बार शाला विकास समिति और शिक्षकों के साथ ही ग्रामीणों ने शासन-प्रशासन को इसकी जानकारी दी लेकिन किसी भी अधिकारी और जनप्रतिनिधि ने ध्यान नहीं दिया. आखिरकार ग्रामीणों ने स्कूल कंपाउंड में स्थित सांस्कृतिक मंच में चंदा इकट्ठा कर तिरपाल लगा दिया. इस तिरपाल के नीचे बच्चों को पढ़ाई कराई जा रही थी. तिरपाल में कक्षा पहली से तीसरी तक के बच्चे मंच पर और चौथी-पांचवी के बच्चे जमीन पर बैठ कर शिक्षा हासिल कर रहे थे. (Kawardha Collector Janmejay Mahobe Notice to Education Officer)
कवर्धा में ईटीवी भारत की खबर का असर: ईटीवी भारत की टीम को इसकी जानकारी मिली. ईटीवी भारत की टीम सारंगपुर स्कूल पहुंची और तिरपाल में शिक्षा की खबर को प्रमुखता से दिखाया. इसके बाद जिला प्रशासन हरकत में आया. नवपदस्थ कलेक्टर जन्मेजय महोबे (Kawardha Collector Janmejay Mahobe) ने इस मामले को गंभीरता से लिया. उन्होंने तत्काल जिला शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिए. कलेक्टर ने कक्षा लगाने के लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने और जर्जर भवन की मरम्मत कराने के निर्देश दिए हैं. (Class under tarpaulin in Kabirdham)
कवर्धा में तिरपाल के सहारे शिक्षा व्यवस्था !
मरम्मत के लिए 60 हजार की मदद: जिला शिक्षा अधिकारी राकेश पांडेय निरीक्षण करने पहुंचे. उन्होंने तात्कालिक व्यवस्था के लिए कक्षा को किचन रुम और प्रधान पाठक रुम में संचालित करने के निर्देश दिए. ग्रामीणों ने भी 60 हजार रुपये की मदद दिया है ताकि जर्जर स्कूल भवन की तुरंत मरम्मत की जा सके. नए भवन के लिए डीपीआई को प्रस्ताव बनाकर भेजा गया है. जल्द ही स्कूल में नए भवन का निर्माण किया जाएगा. कलेक्टर ने जिले के दूसरे जर्जर स्कूल भवन की भी जानकारी मंगाई है.