पटना: बिहार की राजधानी पटना से 27 किलोमीटर दूर तरेत पाली मठ में बागेश्वर बाबा पंडित धीरेन्द्र शास्त्री का दरबार लग चुका है. लाखों की संख्या में उनके भक्त 'हनुमंत कथा' सुनने के लिए पहुंचे हैं. श्रद्धालुओं का हुजूम इतना है कि पंडाल भी छोटा पड़ रहा है. लोगों ने धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री का जोरदार स्वागत किया. हर कोई बाबा के पास अपनी अर्जी लगाने के लिए प्रार्थना कर रहा है.
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बागेश्वर बाबा का हुआ जोरदार स्वागत: पटना एयरपोर्ट से लेकर तरेत पाली मठ तक पहुंचने में बागेश्वर बाबा को काफी समय लगा. लोगों ने फूलों की वर्षा कर उनका जोरदार स्वागत किया. जिस तरीके से बिहार में बयानबाजी हो रही थी, उनको एयरपोर्ट के बाहर नहीं निकलने की चेतावनी दी जा रही थी ऐसा कुछ नहीं हुआ. बाबा का लोगों ने भक्तिभाव से स्वागत किया.
जब बागेश्वर बाबा बोले जय बिहार..! : बागेश्वर बाबा के साथ गाड़ियों का लंबा काफिला था, जो सीधे तरेत पाली मठ जाकर रूका. हनुमत कथा स्थल पर पहुंचते ही उन्होंने तरेत पाली मठ में दर्शन पूजन किया फिर मंच पर कथा के लिए बागेश्वर बाबा पहुंचे. बिहार में अपने चाहने वालों को देखकर बागेश्वर बाबा भी कहने लगे.. 'जय बिहार'.
बागेश्वर बाबा ने शुरू की हनुमत कथा: इसके बाद बागेश्वर धाम महाराज पंडित धीरेंद्र किसी शास्त्री ने कथा वाचन का कार्यक्रम शुरू कर दिया. संस्कृत में श्लोक के साथ कार्यक्रम की शुरुआत करते हुए धीरेंद्र शास्त्री ने ''लाल देह लाली लसे अरु धरि लाल लंगूर'' दोहा गया. इसके बाद 'सीता राम हनुमान' के जाप के साथ भजन शुरू हुआ. भजन शुरू होते लाखों की तादाद में मौजूद श्रद्धालु भक्ति भाव में डूबकर लीन हो गए.
'अच्छे काम में आती हैं रुकावटें' : पांडाल में ढाई लाख से ज्यादा की संख्या में श्रद्धालुओं का सैलाब था. लोग बाबा की एक झलक पाने को बेकरार थे. जैसे ही लोगों ने बाबा को मंच पर देखा सभी लोग श्रद्धाभाव से भर गए. उन्होंने बिहार को मां जानकी की धरती बताया और कहा कि जब भी कोई अच्छा काम करोगे तो उसमें व्यवधान भी आएगा. जैसे हनुमान जी लंका जा रहे थे तब सुरसा समेत तमाम व्यवधान आए. लेकिन हनुमानजी ने अपने बुद्धि और बल से सब पार कर लिया.
'कुत्ते' और 'हाथी' वाले बयान के मायने क्या? : बागेश्वर बाबा ने 'कुत्ते' और 'हाथी' का उदाहरण देकर समझाया कि ''जैसे लोग हाथी को देखकर कुछ लोग केला खिलाते हैं, कुछ लोग गणेश मानकर पूजते हैं. लेकिन, कुछ कुत्ते भोंकते हैं. अगर हाथी कुत्ते के पीछे पड़ जाएगा तो लोग हाथी को पागल कहेंगे. हाथी अपने मस्ती में चलता है, कुत्तों के भोंकने से रास्ता नहीं बदलता''
'मैं तो सिर्फ हिन्दू-हिन्दू करने आया हूं' : बाबा बागेश्वर ने मंच से गीत गुनगुनाते हुए कहा कि जिंदगी एक रेल है कभी पेसिंजर कभी मेल है. इससे पहले जब बागेश्वर बाबा से पूछा गया कि आपपर बिहार में सत्ता पक्ष के लोग हिन्दू-मुस्लिम करने का आरोप लगाते हैं तो उन्होंने कहा कि ''मैं तो सिर्फ हिन्दू-हिन्दू करने आया हूंं. मुस्लिम की तो बात ही नहीं करता हूं.'' ये बयान देकर बागेश्वर बाबा ने जता दिया कि उनके इरादे क्या हैं. वो अपने विरोधियों की चेतावनी से डरने वाले नहीं हैं.
बाबा के मंच पर बीजेपी नेताओं का जुटान: बता दें कि बागेश्वर धाम महाराज पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के 'श्री हनुमत कथा' कार्यक्रम में बीजेपी के प्रदेश के वरिष्ठ नेताओं का जुटान देखने को मिला. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी, नेता प्रतिपक्ष विजय सिन्हा, केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, अश्वनी चौबे, सांसद मनोज तिवारी, सांसद रविशंकर प्रसाद, राम कृपाल यादव समेत दर्जनों बीजेपी नेता मुख्य मंच के बाईं तरफ विशिष्ट मंच पर मौजूद रहे. खुद मनोज तिवारी बाबा की गाड़ी के सारथी बने.
151 गरीब कन्याओं का बागेश्वर धाम कराएगा विवाह: हनुमत कथा वाचन कार्यक्रम की शुरुआत बीजेपी के तमाम वरिष्ठ नेताओं ने हनुमान जी की आरती कर किया. आरती करने के बाद तमाम नेताओं ने पंडित धीरेंद्र शास्त्री के चरण स्पर्श कर उनसे आशीर्वाद प्राप्त किया. इस मौके पर बागेश्वर धाम मंडली की ओर से घोषणा की गई की इस वर्ष 151 गरीब कन्याओं का विवाह बागेश्वर धाम की ओर से कराई जाएगी.