पश्चिम चम्पारण: चनपटिया प्रखंड अंतर्गत जैंतिया पंचायत के तुलाराम घाट पर सिकरहना नदी के लगातार कटाव से ग्रामीण परेशान हैं. इसको लेकर ग्रामीणों ने मुखिया पति कुदरुश कुरैशी के साथ स्थानीय बीडीओ और सीओ के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया.
गांव के लोग चिंतित
प्रदर्शन करने वाले लोगों का कहना था कि बरसात में इस क्षेत्र की नदी का जलस्रोत बढ़ने से हो रहे कटाव के कारण तटीय गांव के लोग चिंतित हैं. नदी किनारे कटाव को रोकने के लिए किसी तरह की वैकल्पिक व्यवस्था अब तक नहीं की गयी है. ऐसे में गांव नदी में कब समाहित हो जायेंगे, इसको लेकर लोगों में खौफ बना हुआ है.
कटाव रोकने की नहीं है व्यवस्था
बरसात के दिनों में ऊफनाई नदियों का तांडव अक्सर देखने को मिलता है. तब अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों की ओर से ढांढस दिलाया जाता है कि घबराइए नहीं नदी का जलस्तर घटते ही कटाव रोकने के लिए कोई ना कोई उपाय किया जायेगा. ऐसे में कटाव रोकने की व्यवस्था नहीं होते देख यही अंदाजा लगाया जा सकता है कि नदी का जलस्तर घटने के बाद इन गांव के बीते हालातों को और आश्वासन को लोग भूल जाते हैं.
कई गांव के लोग प्रभावित
बता दें भले ही शासन-प्रशासन नदियों से होने वाले गांव के कटाव को रोकने की कवायद की बात करती हो, लेकिन यहां सिकरहना नदी किनारे स्थित तुलाराम घाट के वार्ड संख्या 1 से 4 तक के गांव के प्रभावित लोगों को देखा जा सकता है. यहां के लोग बारिश के दिनों में नदी के जलस्तर बढ़ने से पिछले कई वर्षों से कटाव का दंश झेलते हुए परेशान हैं. लेकिन अब तक स्थानीय प्रशासन या जिला प्रशासन ने इस ओर कोई कदम नहीं उठाया है.
सरकार के खिलाफ करेंगे अनशन
ग्रामीणों ने कहा कि यदि अविलम्ब बांध नहीं बनाया गया तो, हम सभी ग्रामीण सरकार के खिलाफ सड़कों पर अनशन करेंगे. इस मामले में पंचायत मुखिया पति कुदरुश कुरैशी ने बताया कि कई बार संबंधित अधिकारियों को इसकी सूचना दी गयी है. लेकिन परिणाम नहीं मिला है.
क्या कहते हैं अंचलाधिकारी
अंचलाधिकारी राजीव नयन पाण्डेय ने बताया कि पिछले साल भी वरीय अधिकारियों ने निरीक्षण किया था. इस बार भी निरीक्षण हुआ है और इस बारे में वरीय अधिकारियों से आश्वासन भी मिला है. जल्द ही इसका सामाधान करा लिया जाएगा.