सारण : बिहार के सारण (Saran) जिले में छपरा-बलिया रेलखंड पर इनई गांव के समीप रेलवे ढाला 55सी को बंद कराने पहुंचे रेलकर्मियों का गुरुवार को स्थानीय लोगों ने विरोध कर दिया. विरोध के कारण जवानों व कर्मियों को वापस लौटना पड़ा. महिलाओं ने रेलवे ट्रैक पर ही बैठकर प्रदर्शन किया. वहीं निर्माणाधीन अंडरपास के समीप ग्रामीणों ने प्रदर्शन किया.
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बता दें कि छपरा बलिया रेल खंड पर स्थित सभी रेलवे फाटकों को परिवर्तित कर अंडर पास बनाया जा रहा है. इसी के अंतर्गत छपरा बलिया रेल खंड रेलवे फ़ाटक नंबर 55 c का भी निर्माण लगभग सालों से चल रहा था लेकिन रेलवे फाटक पर अंडर पास का निर्माण अब तक पूरा नहीं हो पाया है. वैकल्पिक सड़क बनाया गया था जिसे रेल प्रशासन की मौजूदगी में बंद किया जा रहा था. जिसको लेकर ग्रामीणों ने गुरुवार को हंगामा किया.
हंगामे के बाद आरपीएफ रेल पुलिस और स्थानीय थाना घटनास्थल पर पहुंचा, जहां ग्रामीणों ने अपनी समस्याओं को रखा. जिसके बाद प्रशासन के लोगों को अवगत कराया गया कि जब तक अंडरपास का निर्माण पुराना नहीं होता है तब तक वैकल्पिक सड़क को बंद नहीं किया जाएगा. प्रशासन के आश्नासन के बाद ग्रामीण शांत हुए और फिर से वैकल्पिक सड़क को खोला गया.
ग्रामीणों ने बताया कि जिस तरह सभी अंडरपास का निर्माण हुआ है. उसी तरह यहां भी बनवाया जाए ताकि आसानी से गाड़ी का आवागमन हो सके. ग्रामीणों ने यह भी बताया कि इस अंडरपास से कोई 102 एंबुलेंस या फायर ब्रिगेड गाड़ी या ट्रैक्टर के टोली पर सामान लाद कर आवागमन नहीं होता है. उन्होंने बताया कि मेरा गांव कृषि पर आधारित है. इस रास्ते से हम लोग काफी मवेशियों के लिए चारा लादकर ले जाते हैं. साथ ही गेहूं के कटनी के समय या धान के कटनी के समय बड़े मशीन को बुलाया जाता है. इस समस्या पर ध्यान रखते हुए इस अंडरपास सड़क का निर्माण कराया जाए ताकि कोई असुविधा ना हो.
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