छपरा : बिहार के सारण में मरीजों के सही इलाज (Saran sadar hospital) के लिए ग्रामीणों ने सड़क जाम कर दिया है. लोगों का आरोप है कि जिले के सदर अस्पताल में कुछ मरीजों का इलाज न कर उन्हें कमरे में बंद कर दिया गया है. परिजनों का कहना है कि उन मरीजों को कोई इलाज, दवा, खाना, पीना नहीं दिया जा रहा है. उनलोग में से कोई न कोई व्यक्ति भूख, प्यास के कारण लगातार मर रहे हैं. बताया जाता है कि कुल 12 लोगों को अस्पताल के एक कमरे में बंद कर दिया गया है. जिससे आक्रोशित होकर ग्रामीणों ने छपरा-रेवा घाट सड़क को जाम कर आगजनी भी की है.
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मामला सारण अस्पताल का है, जहां मौजूद स्थानीय ग्रामीणों और परिजनों ने छपरा-रेवा घाट (Jam on chapra rewa Ghat Road) के पास सड़क जाम कर दिया है. वहीं जाम करने वाले लोगों का कहना है कि सभी मरीजों का इलाज ठीक से करने के बजाय सदर अस्पताल प्रबंधन और जिला प्रशासन ने मिलकर मरीजों को बंधक बनाकर रखा है. परिजनों ने यह भी कहा कि उन्हें एक ग्लास पानी और कुछ खाने का सामान तक नहीं दिया गया है. इसी कारण सभी लोगों के परिजन आक्रोशित होकर आज सड़क पर उतरे हैं.
11 लोगों की हुई मौत: अस्पताल में मरने वालों की संख्या धीरे-धीरे बढ़ रही है. मृतकों की कुल संख्या 11 हो गई है लेकिन अभी तक इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है. हालांकि कुछ ही देर में सारण के जिलाधिकारी और एसपी संयुक्त रूप से प्रेस वार्ता करके विस्तृत जानकारी देंगे.
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आक्रोशित लोगों ने किया सड़क जाम: परिजनों में इस बात को लेकर काफी असंतोष है. इसलिए ग्रामीणों ने सड़क पर जाम लगा लिया है.वहीं घटना के बाद पुलिस प्रशासन के बड़े अधिकारी घटनास्थल पर पहुंच चुके हैं और लोगों को समझाने बुझाने का प्रयास कर रहे हैं लेकिन स्थानीय लोग काफी उग्र हैं और किसी की भी बात नहीं मान रहे हैं.
'छपरा सदर अस्पताल प्रबंधन और जिला प्रशासन ने मिलकर उन्हें पूरी तरह से बंधक बनाकर रख दिया है जबकि उन्हें अभी तक एक गिलास पानी और कुछ खाने तक को नहीं दिया गया है'- बबन महतो, परिजन