समस्तीपुर: जिले में देर से आए मानसून के कारण किसान खुश तो हैं लेकिन धान की फसल को लेकर किसान अभी भी परेशान नजर आ रहे हैं. धान की फसल को लेकर अब किसानों की उम्मीदें टूटने लगी हैं. वहीं, जिन किसानों ने धान का बिचड़ा लगाया था. वह पानी के आभाव में पीला होने लगा है. जिस कारण किसान काफी परेशान हैं.
अन्नदाता परेशान
गौरतलब है कि पीछले वर्ष धान की खेती को लेकर जिला लक्ष्य से काफी पीछे रह गया था. वहीं, इस साल भी धान के मौसम में जिले के काफी खेत खाली रह गए. दरअसल इस बार मानसून के देरी से आने के कारण बहुत से किसानों ने धान की आस छोड़ दी है. वहीं, जिन किसानों ने धान के बिचड़े खेतों में लगाये हैं. वह अब पीले पड़ने लगे है. जिले के ताजपुर, सरायरंजन, उजियारपुर, मोहद्दीनगर जैसे प्रखंडों में मानसून की कमी के कारण धान के बिचड़े को बचाना मुश्किल हो गया है. जिसको लेकर जिले के अन्नदाता नाखुश नजर आ रहे हैं.
भगवान के सहारे धान की फसल
किसानों का मानना है कि बरसात के मौसम में अब पटवन का ही सहारा है. अगर बारिश का यही हाल रहा तो धान की फसल भगवान के सहारे ही है. वहीं, धान की फसल को लेकर जिले के किसान सलाहकार चंदन कुमार का कहना है कि पानी के कारण जहां हजारों एकड़ की जमीन खाली रह गई. वहीं, बहुत से किसानों ने जानवरों का चारा बो दिया.