समस्तीपुर: देश के सैन्य इतिहास में किसी भी भारतीय मिशन में विदेश में तैनात होने वाली पहली महिला सैन्य राजनयिक बनी विंग कमांडर अंजलि सिंह बिहार के समस्तीपुर की रहने वाली हैं. उन्होंने देश के साथ-साथ प्रदेश का भी मान बढ़ाया है. इस खबर के बाद अंजली के गांव मकसूदपुर में एक अलग ही उत्साह है.
जिले के वारिसनगर प्रखंड के मकसूदपुर गांव की पहचान आज अंतराष्ट्रीय स्तर पर हो रही है. हो भी क्यों न, इस गांव की बेटी ने इतिहास जो रचा है. मॉस्को में 'डिप्टी एयर अताशे' के रूप में भारतीय दूतावास में पदभार संभाला. मकसूदपुर की इस बेटी के अंतराष्ट्रीय फलक में बने इस इतिहास पर उनके गांव में सभी को गर्व है. सामान्य परिवार के बीच बढ़ी अंजली के चाचा और चचेरे भतीजा, भतीजी समेत आस-पड़ोस के लोगों में काफी उत्साह है.
![अंजलि का पैतृक आवास](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/bh-sam-01-jile-ke-beti-ne-desh-ka-badhaya-maan-pkg-7205026_20092019182322_2009f_1568984002_171.jpg)
'वो हमारी बेटी नहीं- बेटे से बढ़कर है'
घर में डिंपल के नाम से जाने जाने वाली अंजली की इस उड़ान पर सभी को गर्व है. यही नहीं, आज अंजलि यहां के युवाओं के लिए मिसाल बन गईं हैं. चाचा जनार्दन सिंह कहते हैं, वो हमारी बेटी नहीं, बेटे से भी बढ़कर है. वो रात भर जाग-जागकर पढ़ाई करती थी. ईटीवी भारत से बात करते हुए सभी ने अंजलि की इस सफलता पर खुशी जाहिर की है.
पारिवारिक हैं अंजलि...
छोटे चाचा ने बताया कि अंजलि पारिवारिक भी हैं. वो घर के सभी आयोजनों में शामिल होती रही हैं. यहीं नहीं उनकी भतीजी और भतीजे कहते हैं कि हम सभी बहुत उत्साहित हैं. हम गौरान्वित हो गए हैं.
![अंजलि का परिवार](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/bh-sam-01-jile-ke-beti-ne-desh-ka-badhaya-maan-pkg-7205026_20092019182322_2009f_1568984002_102.jpg)
पिता से मिली प्रेरणा...
अंजली सिंह के पिता मदन प्रसाद सिंह फ्लाइट लेफ्टिनेंट से रिटार्यड हुए हैं. अंजलि अपने पिता को आदर्श मानती हैं. इसके चलते उन्होंने सेना में जाने का फैसला किया. वहीं, उनकी पढ़ाई जालंधर और पूना में हुई है. अंजली सिंह की दो बहन और एक भाई है. एक डॉक्टर और एक इंजीनियर है.