सहरसा (सत्तर कटैया): जिले के सत्तर कटैया प्रखंड स्थित आरण गांव में चीन सीमा पर शहीद हुए वीर शहीद कुंदन कुमार का शव पहुंचा. जिसके बाद इलके के हजारों महिला-पुरुष और बच्चे अपने माटी के लाल को अंतिम विदाई देने के लिए पहुंच गए. मौके पर शहीद के परिजनों के करूण क्रंदन से हरेक की आंखे नम हो गई.
'साल 2012 में हुए थे सेना में भर्ती'
चीन सीमा पर शहीद हुए वीर सैनिक कुंदन साल 2012 में 16 बिहार बटालियन में भर्ती हुए थे. उनकी तैनाती लद्दाख के गलवान घाटी पर हुई थी. बीते 15 जून को बॉर्डर पर चीनी सैनिकों से झड़प के दौरान कुंदन देश की सेवा करते-करते चिर निद्रा में सो गए थे. शहीद कुंदन अपने गांव के सबसे होनहार और सभी लोगों के चहेते थे. देश सेवा का जज्बा कुंदन में शुरू से ही था. उनकी शव यात्रा में हजारों की संख्या में लोग वीर कुंदन अमर रहे, भारत माता की जय और जब तक सूरज चांद रहेगा, कुंदन तेरा नाम रहेगा के नारे से गुंजायमान होते रहे. मौके पर मौजूद ग्रामीण महिला ललिता देवी ने बताया कि 'कुंदन देश के लिये शहीद हुआ है, उनको कुंदन पर गर्व है.'
'सैन्य सम्मान के साथ हुआ अंतिम संस्कार'
देश के लिए शहीद हुए कुंदन को अंतिम विदाई सैन्य सम्मान के साथ उनके बेटे ने मुखाग्नि देकर अंतिम संस्कार किया. इससे पहले कुंदन को भारतीय सेना के जवानों ने 'गार्ड ऑफ ऑनर' दिया गया फिर सेना के परम्परा के अनुरूप फायरिंग कर शहीद को सलामी दी गई.
अंतिम संस्कार के दौरान कोशी प्रक्षेत्र के डीआईजी, जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक के अलावे तमाम वरीय अधिकारी मौजूद रहे. सेना के साथ जिला प्रशासन के वरीय अधिकारियों ने शहीद कुंदन के शौर्य की प्रशंसा की. मौके पर डीएम ने कहा कि कुंदन की वीरता और देश के प्रति इनका योगदान को हमेशा याद किया जाएगा. शहीद के परिवार को सरकार के आदेशानुसार हर संभव मदद की जाएगी.
बिहार सरकार के 2 मंत्री हुए अंतिम संस्कार में शामिल
शहीद वीर सैनिक कुंदन यादव के अंतिम विदाई में शामिल होने बिहार सरकार के दो-दो मंत्रियों ने भाग लिया. इसके अलावे इलाके के सांसद, विधायक और कई पूर्व विधायक शामिल हुए. मौके पर मौजूद मंत्री रमेश ऋषिदेव ने कहा कि कुंदन ने देश के लिए शहीद होकर पूरे देश को गौरवान्वित किया है. भारत सरकार और बिहार सरकार इस दुख की घड़ी में इस शहीद के परिवार के साथ खड़ी है. शहीद के परिवार को हर तरह की मदद की जाएगी.