रोहतासः जिला मुख्यालय सासाराम में बरसात के दिनों में कई मोहल्ले में जलजमाव की स्थिति पैदा हो गई है. जिससे लोगों को अब इस बात का डर सता रहा है कि कहीं कोरोना वायरस के बाद अब डेंगू का भी खतरा ना बढ़ जाए.
जलजमाव की समस्या
एक तरफ जहां रोहतास में कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ता जा रहा है, तो वहीं दूसरी तरफ शहर के लोग नाली के गंदे पानी में जिंदगी गुजारने को मजबूर हो रहे हैं. ऐसे में जहां कोरोना वायरस से लोगों को भय है. उससे कहीं ज्यादा बरसात के मौसम में डेंगू जैसी घातक बीमारी फैलने का भी लोगों को डर सता रहा है. लेकिन डेंगू से निपटने के लिए नगर परिषद और सदर अस्पताल कितना तैयार है. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि शहर में अब तक नगर परिषद की ओर से डेंगू से बचाव के लिए डीडीटी का छिड़काव तक नहीं किया गया है.
सदर अस्पताल में नहीं है डेंगू वार्ड की व्यवस्था
वहीं दूसरी तरफ सदर अस्पताल में डेंगू वार्ड तक काम नहीं कर रहा है. इस बारे में जब सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ. केएन तिवारी से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि सदर अस्पताल में डेंगू वार्ड पहले बनाया गया था, लेकिन कोरोना वायरस को देखते हुए उसे आइसोलेशन वार्ड में तब्दील कर दिया गया है. फिलहाल डेंगू के एक भी मरीज सदर अस्पताल में नहीं पहुंचे हैं.
कई मोहल्लों में जलजमाव
सासाराम शहर के वार्ड नं. 8 और न्यू एरिया मोहल्ले में पिछले कई महीनों से जल जमाव की स्थिति बनी हुई है. जाहिर है जलजमाव के कारण लोगों को नाली के गंदे पानी में घुसकर अपनी जिंदगी गुजर बसर करनी पड़ रही है. इससे स्थानीय लोगों में इस बात का भी भय कायम हो गया है कि बरसात के दिनों में कहीं डेंगू का खतरा ना बढ़ जाए.
नाली के गंदे पानी में रहने को मजबूर
शहर के वार्ड नं. 8 की रहने वाली महिला मंजू मंजू देवी ने बताया कि पिछले कई सालों से नाली के गंदे पानी में रहने को स्थानीय लोग मजबूर हैं. बारिश होने के बाद लोगों के घरों में नाली का गंदा पानी घुस जाता है. लिहाजा इसकी शिकायत कई बार जिलाधिकारी और नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी से भी की गई, लेकिन उसके बावजूद जलजमाव की स्थिति खत्म नहीं हुई. ऐसे में यहां के रहने वाले बच्चे हमेशा बीमार पड़ रहे हैं.
क्या कहते हैं नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी
इस बारे में जब नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी से दवा के छिड़काव के बारे में सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि शहर में डेंगू से बचाव के लिए दवा का छिड़काव किया गया है, लेकिन स्थानीय लोगों ने बताया कि नगर परिषद की लापरवाही के कारण अब तक मोहल्ले में दवा का छिड़काव नहीं हुआ है.