रोहतास: जिला मुख्यालय से तकरीबन 40 किलोमीटर दूर करगहर प्रखंड के टिकारी गांव में आजादी के बाद से अबतक गांव में पक्की सड़क नहीं बन सकी है. जिसके चलते ग्रामीणों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. बता दें कि ग्रामीणों ने बीते लोकसभा चुनाव का बहिष्कार भी किया था. ग्रामीणों का कहना है कि जब तक पक्की सड़की नहीं बनती. वे ऐसे ही चुनाव बहिष्कार करते रहेंगे.
'आजादी के बाद से नहीं नसीब हुई सड़क'
करगहर प्रखंड का टिकारी गांव जदयू विधायक वशिष्ठ सिंह के विधानसभा क्षेत्र में आता है. ग्रामीणों ने बताया कि यहां आजादी के बाद से अबतक पक्की सड़क नहीं बनी है. इलाके के लोग बताते हैं कई बार विधायक को मामले से अवगत करा चुके हैं. इसके बावजूद इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है. ग्रामीणों ने बताया कि बरसात के मौसम में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. उन्होंने बताया कि बरसाता का पानी भरने के बाद कच्चा रास्ता भी नदी में तब्दील हो जाता है.
'चारपाई पर लादकर ले जाते हैं मरीज'
ग्रामीणों ने बताया कि गांव में पक्की सड़क नहीं होने के कारण वाहन भी नहीं चलते हैं. किसी काम से बाहर जाने के लिए उन्हें कई किलोमीटर का सफर पैदल ही तय करना पड़ता है. ग्रामीणों ने बताया कि अगर गांव में कोई बिमार पड़ता है तो उसे चारपाई पर लादकर अस्पताल ले जाना पड़ता है. वहीं, इस मामले को लेकर सासाराम सदर एसडीओ राजकुमार गुप्ता से बात की गई तो उन्होंने कहा कि ईटीवी के माध्यम से हमें संज्ञान में आया है. इस पर प्रखंड के बीडीओ से बात करके समस्या का निस्तारण किया जाएगा.