रोहतास : आखिरकार लंबी लड़ाई और संघर्षों के बाद बिहार में प्राइमरी लेवल (1 से 5वीं तक) की परीक्षा बीपीएससी द्वारा संपन्न हो गई. इस दौरान कुछ ऐसे भी परीक्षार्थी आए थे, जो इस उम्मीद में थे, कि पास हुए तो नौकरी जरूर मिलेगी, साथ ही सिर पर सेहरा भी सजेगा. लेकिन जिस तरह से सरकार बीच-बीच में नियमों की बरसात कर रही थी, उससे कई अभ्यर्थियों के सिर पर सजा-सजाया सेहरा भी उतर गया. बहरहाल, देर आए दुरुस्त आए, बिहार सरकार ने 1 से 5 वीं तक की परीक्षा कंप्लीट करवा लिया है. इससे कईयों के मन में शादी का लड्डू फूटने लगा है.
'कुंआरे ही रह जाएंगे' : एक अभ्यर्थी तो यहां तक बोला कि अगर शिक्षक बन गए तो शादी भी हो जाएगी, नहीं तो यूं ही कुंआरे ही रह जाएंगे. भला कोई अपनी बेटी किसी बेरोजगार को क्यों देगा? एक शिक्षक अभ्यर्थी प्रकाश ने अपना दर्द सुनाते हुए कहा कि ''भर्ती के इंतजार में बाल भी सफेद हो गये. ऊपर से रोज रोज बदलते सरकारी नियम किसी तूफान से कम नहीं थे. बीएड पास किया तो STET वाला नियम लेकर आए. एसटेट पास किए तो CTET ही मान्य होगा ये कहा जाने लगा. जब इसको भी क्वालीफाई कर लिया तो BPSC का बैरियर ले आए. हर बार मेरी शादी का दिन फिक्स होता, लेकिन बीपीएससी के जरिए पास होने पर शिक्षक नियुक्ति के नाम पर अगुआ ही भाग गया. अब हमारी शादी कैसे होगी?''
हर बार नियम बदलने से भाग गया अगुआ : दअरसल, शिक्षक अभ्यर्थी का कहना है कि हम लोग पहले Bed की परीक्षा पास किये, फिर एसटेट तथा सीटेट की परीक्षा पास की. Bed की परीक्षा पास करते समय ही उम्मीद जब की थी कि सरकार हम लोगों को नौकरी देगी. इसी उम्मीद में अगुआ भी घर लड़की वालों का रिश्ता ले आया, लेकिन बाद में बीएड तथा सीटेट की परीक्षा आ गई. उसे भी हम पास कर गए. फिर भी जब शिक्षक बनने का सपना अधूरा ही रह गया. इसी बीच अब सरकार बीपीएससी से परीक्षा लेने लगी. इससे कई शिक्षक अभ्यर्थियों की शादी पर संकट के बादल उमड़ने लगे हैं.
नौकरी मिली तो शादी भी पक्की : एक सीटेट पास शिक्षक अभ्यर्थी अनीश कुमार ने बताया कि जब उसने CTET क्लीयर किया तो शादी फिक्स हो गई. लेकिन अचानक से जब सरकार ने बीपीएससी का एक नया पैटर्न लागू कर दिया, तो कई शादियां टूट गईं. शादी के लिये अगुआ भड़क गए. यहां तक की उन लोगों की उम्र भी हो गयी. कई अभ्यर्थी के बाल भी सफेद हो गए. अब उम्मीद है कि इस बार बीपीएससी वाली परीक्षा पास कर लेंगे और कोई अड़चन न आए तो शिक्षक भी बनेंगे. फिर शादी भी हो जाएगी.
अभ्यर्थियों की सरकार से मांग : अभ्यर्थियों ने चिंता जताते हुए कहा कि भविष्य में बीएड को प्राइमरी से बाहर किया जा रहा है. इसको सरकार को प्राइमरी में रखना चाहिए. हमारी अगुवा इस बार बिहार सरकार है. अगर पास हो गए तो शादी होगी. नहीं तो फिर भगवान ही मालिक है. सुप्रीम कोर्ट का निर्णय राजस्थान के परिप्रेक्ष्य में आ चुका है. दिक्कत सामने दिखाई दे रही है.