पटना: राजधानी के अधिवेशन भवन में संयुक्त राष्ट्र बाल अधिकार समझौता की 30वीं वर्षगांठ के अवसर पर राज्य स्तरीय किशोर एवं किशोरी शिखर सम्मेलन का आयोजन किया गया. यूनिसेफ और महिला विकास निगम की ओर से इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया. मुख्य अतिथि के रूप में डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी और अनुसूचित जाति एवं जनजाति मंत्री रमेश ऋषि भी मौजूद रहे. इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से बच्चों के अधिकारों और कर्तव्यों पर चर्चा की गई.
इस अवसर पर डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र संघ बच्चों के अधिकारों को लेकर चर्चा करती है. लेकिन कर्तव्य को लेकर भी चर्चा करनी चाहिए. क्योंकि भारत में पारिवारिक माहौल कुछ और है. उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम में बच्चों ने अपने अधिकारों को लेकर जो सुझाव दिए हैं. निश्चित तौर पर उसे आगे बढ़ाएंगे. डिप्टी सीएम ने कहा कि सबसे अच्छा सुझाव हमें यह लगा कि राज्य के सभी स्कूल में एक सुझाव पुस्तिका होनी चाहिए, जिस पर बच्चे अपनी शिकायत या सुझाव लिखें.
अलग से दिया गया है बजट- डिप्टी सीएम
डिप्टी सीएम सह वित्त मंत्री ने कहा कि सभी सुझावों को लेकर हम सरकार से बात करेंगे. निश्चित तौर पर बच्चों को अगर किसी स्कूल में किसी भी तरह की शिकायत है या कोई सुझाव देना चाहता है, तो शिकायत दर्ज करे. इस शिकायत पेटिका को महीने में एक बार प्रशासनिक अधिकारी के पास खोला जाएगा. जिससे यह पता चल जाएगा कि विद्यालय में किस तरह की शिकायत हैं. हमारी सरकार ने बच्चों के लिए एक बाल बजट अलग से दे रखा है. विभिन्न विभाग बच्चे के विकास के लिए काम करते हैं.