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बिहार के सभी थानों में बनेगा महिला डेस्क

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Published : Jan 25, 2021, 12:02 PM IST

बिहार पुलिस ने महिलाओं के प्रति अपराध रोकने के उद्देश्य से प्रदेश के सभी थानों में महिला हेल्प डेस्क बनाने का निर्णय लिया है. इसके लिए पुलिस मुख्यालय की तरफ से सभी जिले में पत्र भेजा गया है.

एडीजी जितेंद्र कुमार
एडीजी जितेंद्र कुमार

पटना: बिहार के सभी जिलों में महिला थाना होने के बावजूद भी राज्य के सभी जिलों के थानों में महिला हेल्प डेस्क बनाया जाएगा. पुलिस मुख्यालय ने यह निर्णय लिया है. दरअसल, राज्य के थानों में महिलाओं को खुद से जुड़ी समस्याओं को थानों में पुरुष थानेदार या अन्य पुलिसकर्मी के समक्ष बताने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है, जिस वजह से यह निर्णय लिया गया है. महिला डेस्क थाना में आने वाली महिलाओं की मदद करेगा.

प्रदेश में 1064 थाने और 225 आउटपोस्ट हैं

यह डेस्क प्राथमिकी दर्ज कराने संबंधित कानून के बारे में जानकारी देने के अलावा अन्य संभावित मदद करेगा. बिहार में कुल 1064 थाना और 225 से आउटपोस्ट कार्यरत है. इन सभी जगहों पर महिला हेल्प डेस्क स्थापित होगा.

एडीजी जितेंद्र कुमार

एडीजी ने भेजा पत्र

पुलिस मुख्यालय की ओर से एडीजी जितेंद्र कुमार ने सभी जिले को पत्र भेजकर सभी थाना में इसकी तैयारी करने का निर्देश दिया है. थाना स्तर पर महिलाओं की मदद के लिए बनने वाला हेल्प डेस्क पर महिला पुलिसकर्मी की तैनाती होगी. जो महिलाएं फरियाद के लिए थाना पहुंचती हैं उनसे बात करेंगी. यदि जरूरत पड़ी तो उन्हें थाना प्रभारी के पास ले जाएंगी.

महिला हेल्प डेस्क बनाने का काम शुरू

पुलिस मुख्यालय से मिल रही जानकारी के अनुसार बिहार के सभी थानों में महिला हेल्प डेस्क बनाने का काम शुरू कर दिया गया है. पुलिस मुख्यालय के एडीजी जितेंद्र कुमार की मानें तो महिला या नाबालिग बच्चियां आसानी से अपनी परेशानियों के बारे में पुरुष की तुलना में महिला को बता सकती हैं.

पुलिस मुख्यालय
पुलिस मुख्यालय

ये भी पढ़ें- DGP ने सभी जिलों के SP को लिखी चिट्ठी- वांछित अपराधियों को जल्द करें गिरफ्तार

आसानी से महिलाएं बता पाएंगी परेशानी

साथ ही उनका कहना है कि हर जिले में महिला थाना होने के बावजूद भी हर थाने में महिला डेस्क बनाने का मकसद है कि हर जिले में एक ही महिला थाना है. जहां महिलाओं को जाने-आने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है. वह आसानी से अपने नजदीकी किसी भी थाने में जाकर अपने महिला अधिकारी या सिपाही से अपनी समस्याओं को अवगत करवा सकती हैं.

महिला सिपाही को दिया जाएगा प्रशिक्षण

फिलहाल जिला अधीक्षकों को पुलिस मुख्यालय की ओर से दिशा-निर्देश दिया गया है कि जिले में उपलब्ध बल के अनुसार सभी थानों में इसके लिए एक-एक महिला जवान के तैनाती की जाए. उस महिला सिपाही का प्रशिक्षण भी करवाया जाएगा. कानून के बारे में उन्हें जानकारी दी जाएगी. ताकि आने वाले पीड़ित महिलाओं की मदद की जा सके.

पटना: बिहार के सभी जिलों में महिला थाना होने के बावजूद भी राज्य के सभी जिलों के थानों में महिला हेल्प डेस्क बनाया जाएगा. पुलिस मुख्यालय ने यह निर्णय लिया है. दरअसल, राज्य के थानों में महिलाओं को खुद से जुड़ी समस्याओं को थानों में पुरुष थानेदार या अन्य पुलिसकर्मी के समक्ष बताने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है, जिस वजह से यह निर्णय लिया गया है. महिला डेस्क थाना में आने वाली महिलाओं की मदद करेगा.

प्रदेश में 1064 थाने और 225 आउटपोस्ट हैं

यह डेस्क प्राथमिकी दर्ज कराने संबंधित कानून के बारे में जानकारी देने के अलावा अन्य संभावित मदद करेगा. बिहार में कुल 1064 थाना और 225 से आउटपोस्ट कार्यरत है. इन सभी जगहों पर महिला हेल्प डेस्क स्थापित होगा.

एडीजी जितेंद्र कुमार

एडीजी ने भेजा पत्र

पुलिस मुख्यालय की ओर से एडीजी जितेंद्र कुमार ने सभी जिले को पत्र भेजकर सभी थाना में इसकी तैयारी करने का निर्देश दिया है. थाना स्तर पर महिलाओं की मदद के लिए बनने वाला हेल्प डेस्क पर महिला पुलिसकर्मी की तैनाती होगी. जो महिलाएं फरियाद के लिए थाना पहुंचती हैं उनसे बात करेंगी. यदि जरूरत पड़ी तो उन्हें थाना प्रभारी के पास ले जाएंगी.

महिला हेल्प डेस्क बनाने का काम शुरू

पुलिस मुख्यालय से मिल रही जानकारी के अनुसार बिहार के सभी थानों में महिला हेल्प डेस्क बनाने का काम शुरू कर दिया गया है. पुलिस मुख्यालय के एडीजी जितेंद्र कुमार की मानें तो महिला या नाबालिग बच्चियां आसानी से अपनी परेशानियों के बारे में पुरुष की तुलना में महिला को बता सकती हैं.

पुलिस मुख्यालय
पुलिस मुख्यालय

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आसानी से महिलाएं बता पाएंगी परेशानी

साथ ही उनका कहना है कि हर जिले में महिला थाना होने के बावजूद भी हर थाने में महिला डेस्क बनाने का मकसद है कि हर जिले में एक ही महिला थाना है. जहां महिलाओं को जाने-आने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है. वह आसानी से अपने नजदीकी किसी भी थाने में जाकर अपने महिला अधिकारी या सिपाही से अपनी समस्याओं को अवगत करवा सकती हैं.

महिला सिपाही को दिया जाएगा प्रशिक्षण

फिलहाल जिला अधीक्षकों को पुलिस मुख्यालय की ओर से दिशा-निर्देश दिया गया है कि जिले में उपलब्ध बल के अनुसार सभी थानों में इसके लिए एक-एक महिला जवान के तैनाती की जाए. उस महिला सिपाही का प्रशिक्षण भी करवाया जाएगा. कानून के बारे में उन्हें जानकारी दी जाएगी. ताकि आने वाले पीड़ित महिलाओं की मदद की जा सके.

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