पटना: देश में लॉकडाउन 4.0 लागू हो गया है यानी इसे 14 दिन के लिए बढ़ा दिया गया है. ऐसे में बिहार सरकार लॉकडाउन 4.0 को लेकर में ज्यादा छूट देने के पक्ष में नहीं दिख रही. हालांकि छूट को लेकर आज राज्य सरकार की ओर से मंथन किया जाना है.
इस बीच, पुलिस मुख्यालय ने लॉकडाउन का उल्लंघन करने वाले पूरे बिहार का आंकड़ा जारी करते हुए बताया कि 24 मार्च से सोमवार तक कुल 2090 लोगों पर एफआईआर दर्ज की गई है. 2217 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. 73,009 वाहन जप्त किए गए हैं और 16 करोड़ 98 लाख 84 हजार 536 रुपए का फाइन काटा गया है. सिर्फ सोमवार को ही लॉकडाउन का उल्लंघन करने के मामले में पूरे बिहार में 10 एफआईआर और 4 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
सैकड़ों किलोमीटर पैदल चलकर मजदूर पहुंच रहे हैं अपने घर
लॉकडाउन- 4 में भी प्रवासी मजदूरों का दूसरे राज्यों से पैदल आने का सिलसिला जारी है. सोमवार को पटना के जीरो माइल फोर लेन पर दूसरे राज्यों से कई प्रवासी मजदूर पैदल या साइकिल से पहुंचे. वहीं, जिला प्रशासन की तरफ से इन प्रवासी मजदूरों के खाने पीने की व्यवस्था कराई गई है.
दैनिक मजदूरों को नहीं मिल रहा काम
कोरोना को लेकर लगाए गए लॉकडाउन में सबसे ज्यादा दैनिक मजदूरों की परेशानी बढ़ गई है. राज्य सरकार ने दैनिक मजदूरों को सोशल डिस्टेंसिंग और चेहरे पर मास्क के साथ काम करने की अनुमति दे दी थी. लेकिन अब लोग अपने घर मजदूरों को काम पर नहीं बुला रहे हैं. जिससे उनके पास रोजी रोटी की समस्या आ गई है.
पटना में रेस्टोरेंट मालिकों ने किया प्रदर्शन
राजधानी में रेस्टोरेंट खोलने की अनुमति को लेकर रेस्टोरेंट संचालकों ने सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ाई. अनुमंडल पदाधिकारी कार्यालय गेट के समक्ष दर्जनों की संख्या में रेस्टोरेंट संचालकों ने उनके रेस्टोरेंट खोले जाने की अनुमति नहीं मिलने के खिलाफ प्रदर्शन किया. रेस्टोरेंट संचालकों ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार छोटे उद्यमियों का शोषण कर रही है.
गया: क्वारंटीन सेंटर में कुव्यवस्था के खिलाफ प्रदर्शन
गया जिले में बनाए गए एक क्वारंटीन सेंटर पर मजदूरों और ग्रामीणों के बीच हिंसक झड़प हो गई. मामला कोंच प्रखड के अहियापुर में बनाये गए सेंटर का है. जानकारी के मुताबिक वहां रह रहे मजदूर सेंटर में फैली बदहाली को लेकर सड़क जाम कर हंगामा कर रहे थे. तभी, ग्रामीणों ने इनका विरोध करते हुए मारपीट और पत्थरबाजी शुरू कर दी. देखते-देखते इलाके में अफरा-तफरी का माहौल हो गया.
लॉकडाउन की वजह से छपरा में फंसे हंगरी के विक्टर
कोरोना को लेकर लगाए गए लॉकडाउन में विदेश से घूमने आए कई सैलानी विभिन्न जिलों में फंस गए हैं. इसी क्रम में हंगरी से आए युवक विक्टर जिचो बिहार के छपरा में फंसे हैं. हंगरी के रहने वाले विक्टर जिचो साइकिल से दुनिया घूमने निकले थे. उत्तर प्रदेश से जब वे छपरा पहुंचे तभी प्रथम चरण का लॉकडाउन लग गया. जिसके बाद गांव के लोगों ने कोरोना जांच के लिए उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया, जहां उनकी रिपोर्ट निगेटिव पायी गयी. तब से विक्टर छपरा सदर अस्पताल के आइसोलेशन वॉर्ड में रह रहे हैं.
श्रमिक स्पेशल ट्रेन में महिला ने बच्चे को दिया जन्म
देश के कई हिस्सों से प्रवासी मजदूर सरकार की ओर से चलाई जा रही श्रमिक स्पेशल ट्रेनों से वापस घर लौट रहे हैं. वहीं, सोमवार को श्रमिक स्पेशल ट्रेन 05623 में एक प्रवासी महिला ने नवजात को जन्म दिया. त्रिपुरा से खगड़िया जा रही ट्रेन में कटिहार स्टेशन पर एक नवजात का जन्म हुआ है. जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ हैं.
'गरीबी की गठरी' सिर पर लिए नंगे पैर नाप रहे हैं सड़क
कोरोना वायरस के खौफ ने पूरी दुनिया को दहलीज के अंदर कैद कर दिया है. बाजारों में सन्नाटा और सड़कें सुनसान पड़ी हुई हैं. हर जगह वीरान रास्तों पर बड़े-बड़े काले बैगों को सिर और पीठ पर ढोते लोग आसानी से आपको दिख जायेंगे. लॉकडाउन में दिहाड़ी मजदूरों का बुरा हाल है. ऐसी विकट परिस्थिति में भूख-प्यास से व्याकुल प्रवासी मजदूर अपने घरों की ओर निकल पड़े हैं. लॉकडाउन का दंश झेल रहे मजदूरों का कहना है कि अब कभी वो परदेस नहीं जाएंगे.
बेगूसराय: लॉकडाउन में साईं की रसोई
बेगूसराय जिले में साईं की रसोई के नाम से संचालित एक संस्था के युवकों ने कोरोना वायरस के दौरान जारी लॉकडाउन में लगातार लोगों को मदद पहुंचा कर मिसाल पेश की है. इनकी टीम मदद के लिए लगातार ऐसे लोगों को चुनती है जो वाकई जरूरतमंद हैं. इसी कड़ी में शनिवार-रविवार को संस्था के लोगों ने बछवाड़ा के टोल प्लाजा के पास स्टॉल लगाकर बाहर से आ रहे सैकड़ों मजदूरों को भोजन कराया.