पटना: बारिश बीत गई और नवरात्र भी संपन्न हो गया, लेकिन नहीं खत्म हुई तो जलजमाव की समस्या. पटना सिटी के कई इलाकों में अब भी घुटना भर पानी लगा हुआ है. लोगों ने हताश होकर अंत में ईटीवी भारत से खबर दिखाने की गुहार लगाई ताकि जिम्मेदार अधिकारियों के कानों पर जूं रेंग सके.
15 दिन बाद भी 5 फीट पानी
सरकार की तरफ से जल्द ही जलजमाव की समस्या से निपटने के दावे किए गए थे, लेकिन 15 दिन बीत जाने के बाद भी स्थिति जस की तस बनी हुई है. सभी स्कूल, कॉलेज और दफ्तर खुल गए हैं, लेकिन पटना सिटी के वार्ड नं 61 के लोग अब भी घर से बाहर निकलने में असमर्थ हैं. जलजमाव मेहंदी गंज थाना क्षेत्र स्थित साहू कॉलोनी वार्ड नम्बर 61 में है.
स्मार्ट नहीं 'नाला सिटी' है पटना!
स्मार्ट सिटी के सरकारी दावों और नारों को यहां के लोगों ने खोखला बताया. जलजमाव से पीड़ित लोगों का कहना है कि यह स्मार्ट सिटी नहीं नाला सिटी है. सभी जगह पानी निकल गया, लेकिन इस इलाके की कोई सुध नहीं ले रहा. वार्ड नं 61 के स्थानीय लोगों ने सरकार के खिलाफ कैमरे पर जमकर नारेबाजी की.
सरकार पर उपेक्षा का आरोप
इन्होंने कहा कि बारिश की चंद बूंदों ने हमारा जीना दुश्वार कर दिया. वाटरलॉगिंग को कंट्रोल करने में सरकार असफल रही. इनका आरोप है कि सरकार ने पटना के अन्य इलाकों पर ज्यादा ध्यान दिया और सभी तरह की सुविधाएं मुहैया कराई गईं. साथ ही वहां से पानी भी निकलवा दिया गया, लेकिन यहां कि स्थिति पर किसी का ध्यान नहीं है.
दाने को मोहताज स्मार्टसिटी के लोग !
इनका यह भी आरोप है कि यहां के लोग खाने, पीने और अन्य आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए मोहताज हैं. सरकार की तरफ से इनकी कोई मदद नहीं की जा रही है न ही कोई सुविधा मुहैया कराई जा रही है. न तो कोई सरकारी अधिकारी इनका हालचाल पूछने आया है और न ही उन्हें कोई राहत सामग्री उपलब्ध कराई जा रही है. लोगों का कहना है कि हमें ऐसी स्मार्ट सिटी नहीं चाहिए.
दीपावली और छठ पूजा नजदीक
लोगों की चिंता इसलिए भी बढ़ रही है क्योंकि दीपावली और छठ पूजा नजदीक है. ऐसे में नर्क में तब्दील हुए पूरे इलाके की साफ-सफाई एक चुनौती के समान है. कई दिनों से जमे बदबूदार पानी से अब बीमारी होने का खतरा है. इसलिए डीवाटरिंग की अधिक आवश्यकता है.