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बिहार में ये हो क्या रहा है! 30-35 उम्र के लोगों को मिल रहा वृद्धापेंशन

पटना में फर्जी दस्तावेज के सहारे 30-35 वर्ष के लोगों को वृद्धा पेंशन योजना का लाभ दिया जा रहा है. तकरीबन 60-70 लोगों को इसका लाभ दिया जा रहा है. पढ़ें आखिर क्या है घोटाले की वजह...

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Published : Sep 21, 2021, 8:21 AM IST

पटना: बिहार की राजधानी पटना में वृद्धा पेंशन घोटाला (Old Age Pension Scam) का मामला सामने आया है. जिसे सुनकर आप भी आश्चर्यचकित हो जाएंगे. जी हां, यहां कम उम्र के लोगों को फर्जी दस्तावेज के सहारे वृद्धापेंशन दिया जा रहा है. जिनकी उम्र सिर्फ और सिर्फ तकरीबन 30-35 वर्ष ही है.

इसे भी पढ़ें: पटना: पेंशन के लिए जेपी सेनानी कर रहे हैं आंदोलन, CM का करेंगे घेराव

मामला धनरूआ प्रखंड के पथरहट गांव का है. जहां फर्जीवाड़ा कर 60-70 लोगों को (उम्र तकरीबन 30-35) वृद्धापेंशन का लाभ मिल रहा है. इसका खुलासा सोमवार को अनुमंडल कार्यालय में हुआ. कहा जा रहा है कि जनता से वोट के लालच में युवकों को वृद्धा पेंशन का लोभ दिया जा रहा है.

देखें रिपोर्ट.

ये भी पढ़ें: कोरोना अनुदान में गड़बड़ी: मृतकों की लिस्ट में जीवित का नाम, मंजू ने कहा- जिंदा हूं मैं

बता दें कि पथरहट गांव के वार्ड नं-7 की वार्ड सदस्य मंजू देवी इस वर्ष पंचायत चुनाव (Bihar Panchayat Election 2021) की उम्मीदवार हैं. आरोप है कि मुखिया मीना देवी और धनरूआ प्रखंड के रवि राज, कर्मचारी से मिलकर 30-35 उम्र के लोगों के आवेदनों को स्वीकृत करवा कर पेंशन का लाभ दिलवा रहे हैं. जिसके कारण बुजुर्गों का हक मारा जा रहा है. इस घोटाले को लेकर जिलाधिकारी और मसौढ़ी एसडीएम से जांच कर कार्रवाई की मांग की गई है.

हालांकि, इससे पहले भी जिलाधिकारी से जांच कर कार्रवाई की मांग की जा चुकी है. लेकिन कोई कार्रवाई न होने पर एक बार फिर पथरहट गांव के मिंटू कुमार ने आवेदन और सबूत के साथ सभी दस्तावेजों को संलग्न करते हुए कार्रवाई की मांग की है. मिंटू कुमार के माध्यम से दिए गए आवेदन में कहा गया है कि पत्थरहट गांव के 60 से अधिक लोगों को जिनकी उम्र सीमा बहुत ही कम है, उन्हें वृद्धा पेंशन का लाभ दिलाया जा रहा है.

'वृद्धापेंशन मामले को लेकर आवेदन प्राप्त हुआ है. पहले इसकी जांच की जाएगी. उसके बाद ही बयान देंगे. हमारे अनुमंडल में इस तरीके का पहला मामला सामने आया है. जिसकी गहनता से जांच होगी. इस मामले में जो भी दोषी होंगे, उन्हें बख्शा नहीं जायेगा.' -अनील कुमार सिन्हा, एसडीएम, मसौढ़ी

पटना: बिहार की राजधानी पटना में वृद्धा पेंशन घोटाला (Old Age Pension Scam) का मामला सामने आया है. जिसे सुनकर आप भी आश्चर्यचकित हो जाएंगे. जी हां, यहां कम उम्र के लोगों को फर्जी दस्तावेज के सहारे वृद्धापेंशन दिया जा रहा है. जिनकी उम्र सिर्फ और सिर्फ तकरीबन 30-35 वर्ष ही है.

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मामला धनरूआ प्रखंड के पथरहट गांव का है. जहां फर्जीवाड़ा कर 60-70 लोगों को (उम्र तकरीबन 30-35) वृद्धापेंशन का लाभ मिल रहा है. इसका खुलासा सोमवार को अनुमंडल कार्यालय में हुआ. कहा जा रहा है कि जनता से वोट के लालच में युवकों को वृद्धा पेंशन का लोभ दिया जा रहा है.

देखें रिपोर्ट.

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बता दें कि पथरहट गांव के वार्ड नं-7 की वार्ड सदस्य मंजू देवी इस वर्ष पंचायत चुनाव (Bihar Panchayat Election 2021) की उम्मीदवार हैं. आरोप है कि मुखिया मीना देवी और धनरूआ प्रखंड के रवि राज, कर्मचारी से मिलकर 30-35 उम्र के लोगों के आवेदनों को स्वीकृत करवा कर पेंशन का लाभ दिलवा रहे हैं. जिसके कारण बुजुर्गों का हक मारा जा रहा है. इस घोटाले को लेकर जिलाधिकारी और मसौढ़ी एसडीएम से जांच कर कार्रवाई की मांग की गई है.

हालांकि, इससे पहले भी जिलाधिकारी से जांच कर कार्रवाई की मांग की जा चुकी है. लेकिन कोई कार्रवाई न होने पर एक बार फिर पथरहट गांव के मिंटू कुमार ने आवेदन और सबूत के साथ सभी दस्तावेजों को संलग्न करते हुए कार्रवाई की मांग की है. मिंटू कुमार के माध्यम से दिए गए आवेदन में कहा गया है कि पत्थरहट गांव के 60 से अधिक लोगों को जिनकी उम्र सीमा बहुत ही कम है, उन्हें वृद्धा पेंशन का लाभ दिलाया जा रहा है.

'वृद्धापेंशन मामले को लेकर आवेदन प्राप्त हुआ है. पहले इसकी जांच की जाएगी. उसके बाद ही बयान देंगे. हमारे अनुमंडल में इस तरीके का पहला मामला सामने आया है. जिसकी गहनता से जांच होगी. इस मामले में जो भी दोषी होंगे, उन्हें बख्शा नहीं जायेगा.' -अनील कुमार सिन्हा, एसडीएम, मसौढ़ी

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