पटना: बिहार में तीन हवाई अड्डों से उड़ान संचालित होती है, जिसमें पटना, गया और दरभंगा शामिल हैं. हालांकि बिहार के कई जिलों में हवाई अड्डा हैं, जो बिहार सरकार के अधीन है लेकिन उसकी स्थिति ठीक नहीं है. अतिक्रमण से लेकर सुरक्षा कारणों से भी उसका उपयोग नहीं हो पा रहा है. अब सरकार वहां हेलीपैड बनाकर उसके इस्तेमाल की तैयारी कर रही है. राज्य सरकार ने जिन हवाई अड्डों को सूरत बदलने के लिए भवन निर्माण विभाग को जिम्मेवारी दी है, उसमें भागलपुर, सुपौल, बेगूसराय, मुंगेर, पूर्णिया, सहरसा, नालंदा, आरा, बक्सर, मोतिहारी, कटिहार, मधुबनी, किशनगंज, रोहतास, सारण और बाल्मीकि नगर शामिल है. भवन निर्माण विभाग के अभियंताओं को एस्टीमेट बनाने का निर्देश दिया गया है.
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बिहार में 18 हवाई अड्डों की सूरत बदलने की तैयारी: बिहार सरकार इस साल पेश होने वाले बजट में इसके लिए राशि की व्यवस्था कर सकती है. हेलीपैड बनाने के साथ हवाई अड्डा की सुरक्षा व्यवस्था भी बेहतर हो इसकी कोशिश होगी. भवन निर्माण विभाग के अभियंता प्रमुख राकेश कुमार के अनुसार 20 भवन प्रमंडल के कार्यपालक अभियंताओं को हवाई अड्डों के विकास कार्य के लिए अभी एस्टीमेट बनाने का निर्देश दिया गया है. जल्द से जल्द उसकी रिपोर्ट सौंपने के लिए कहा गया है.
हेलीपैड बनने से रात में होगी सुविधा: एयरपोर्ट पर हेलीपैड बनने से न केवल आपदा के समय बल्कि वीआईपी मूवमेंट, पर्यटन और अन्य कार्यों में भी इन हवाई अड्डा का बेहतर इस्तेमाल हो सकेगा. हेलीपैड तैयार हो जाने से रात्रि में भी हेलीकॉप्टर के उतरने की सुविधा प्राप्त हो सकेगी. फिलहाल भवन निर्माण विभाग के अभियंता को हवाई अड्डों के विकास के लिए एस्टीमेट बनाने का निर्देश दिया गया है. उसके बाद एजेंसी के माध्यम से इसका निर्माण कराया जाएगा. बिहार में पटना एयरपोर्ट का विस्तार भी हो रहा है तो वहीं बिहटा में नए एयरपोर्ट का निर्माण होना है. इसमें भी जमीन का मामला फंसा हुआ है. साथ ही पूर्णिया एयरपोर्ट का भी निर्माण का मामला लटका हुआ है.