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किसानों के मुद्दे पर सरकार पर बरसे तेजस्वी, कहा- आधुनिक खेती है वक्त की जरूरत

नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने कहा कि किसानों के लिए हमारे पास अनेक महत्वाकांक्षी योजनाएं हैं. जिन्हें सरकार में आने पर हम हर हाल में लागू कर पूरा करेंगे. किसान समृद्ध होगा तभी बिहार समृद्ध होगा.

नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव
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Published : Jun 16, 2020, 12:15 PM IST

पटना: बिहार में कुछ ही महीने में विधानसभा का चुनाव होने की संभावना है. ऐसे में चुनावी हलचल तेज हो गई है. सभी पार्टियां कोई न कोई तर्क देकर एक-दूसरे को घेरने की कोशिश कर रही हैं. ऐसे में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने किसानों के मुद्दे को लेकर नीतीश कुमार पर निशाना साधा है. उन्होंने आरोप लगाया है कि देश में बड़े-बड़े लोगों पर अरबों-खरबों रुपये सरकार के कर्ज के रूप में बकाया है. उन्हें वसूल करने के लिए कोई कार्रवाई नहीं की जाती, बल्कि उनके लाखों-करोड़ के लोन माफ कर दिए जाते हैं. लेकिन अगर किसान खेती के लिए छोटा कर्ज लेता है और यदि उसे समय पर नहीं चुका पाता है तो उसे जेल में डाल दिया जाता है.

किसान की खुशहाली से प्रदेश में आएगी समृद्धि
तेजस्वी यादव ने कहा कि जब तक किसान खुशहाल नहीं होगा प्रदेश में समृद्धि नहीं आ सकती है. विकास तब तक अधूरा है जब तक किसान समृद्ध नहीं है. देश में आज भी सर्वाधिक रोजगार कृषि क्षेत्र से ही मिलता है. इसलिए इस क्षेत्र को और प्रोत्साहन देने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि कृषि की समृद्धि के लिए हमें आधुनिक खेती अपनानी होगी. किसानों के सामने कई तरह की परेशानियां हैं. किसान बेचारा इतनी मेहनत करता है, लेकिन वह खेती से अपनी मजदूरी भी नहीं निकाल पाता है. किसान जो खेत में पैदा करता है उसे उसका उचित मूल्य नहीं मिल पाता है. सारी कमाई बिचौलिये खा जाते हैं. इस पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. इसके लिए हर जगह, हर प्रखंड स्तर पर आवश्यकता के अनुसार कोल्ड स्टोरेज बनाने की आवश्यकता है.

patna
किसानों से बात करते तेजस्वी यादव

'बिहार के मिलों के विसार पर ध्यान देना चाहिए'
तेजस्वी ने कहा कि जिस क्षेत्र में जिस फसल की पैदावार अधिक है वहां उससे संबंधित फूड प्रोसेसिंग यूनिट्स लगायी जानी चाहिए. चावल और गन्ने के पैदावार वाले क्षेत्रों में चीनी मिल और राइस मिल लगानी जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि बिहार में मखाना, मक्कई, केला, आम, लिची इत्यादि से संबंधित अनेक खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों की असीम संभावनाएं हैं. खाद्य प्रसंस्करण उद्योग लगाने से किसानों की आय में अप्रत्याशित बढ़ोतरी होगी. लेकिन नीतीश सरकार ने 15 साल इस ओर कभी कोई ध्यान नहीं दिया. किसानों के साथ सरकार की ओर से ऐसा पक्षपातपूर्ण व्यवहार किया जाना ठीक नहीं है.

विशेष आर्थिक मदद देकर करना चाहिए प्रोत्साहित
किसानों की जरूरत की जो चीजें हैं जैसे खाद, कीट-नाशक दवाएं, खेती का सामान औजार आदि महंगे होते जा रहे हैं. किसानों को बिजली, डीजल और मिट्टी का तेल महंगे दाम पर खरीदना पड़ता है. तेजस्वी ने कहा कि ये सब उन्हें कम कीमत पर मिलनी चाहिए. किसान को उसकी उपज का उचित मूल्य मिलना तो दूर रहा उसे अपना सामान कभी-कभी फेंकना पड़ता है. इसलिए किसानों की ओर से उत्पादित हर माल का समर्थन मूल्य किसानों से राय-मशविरा करने के बाद ही सरकार को तय करना चाहिए. किसानों को खेती के साथ-साथ पशुपालन के लिए भी विशेष आर्थिक मदद देकर प्रोत्साहित करना चाहिए ताकि वह और अधिक आत्मनिर्भर बन सके.

पटना: बिहार में कुछ ही महीने में विधानसभा का चुनाव होने की संभावना है. ऐसे में चुनावी हलचल तेज हो गई है. सभी पार्टियां कोई न कोई तर्क देकर एक-दूसरे को घेरने की कोशिश कर रही हैं. ऐसे में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने किसानों के मुद्दे को लेकर नीतीश कुमार पर निशाना साधा है. उन्होंने आरोप लगाया है कि देश में बड़े-बड़े लोगों पर अरबों-खरबों रुपये सरकार के कर्ज के रूप में बकाया है. उन्हें वसूल करने के लिए कोई कार्रवाई नहीं की जाती, बल्कि उनके लाखों-करोड़ के लोन माफ कर दिए जाते हैं. लेकिन अगर किसान खेती के लिए छोटा कर्ज लेता है और यदि उसे समय पर नहीं चुका पाता है तो उसे जेल में डाल दिया जाता है.

किसान की खुशहाली से प्रदेश में आएगी समृद्धि
तेजस्वी यादव ने कहा कि जब तक किसान खुशहाल नहीं होगा प्रदेश में समृद्धि नहीं आ सकती है. विकास तब तक अधूरा है जब तक किसान समृद्ध नहीं है. देश में आज भी सर्वाधिक रोजगार कृषि क्षेत्र से ही मिलता है. इसलिए इस क्षेत्र को और प्रोत्साहन देने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि कृषि की समृद्धि के लिए हमें आधुनिक खेती अपनानी होगी. किसानों के सामने कई तरह की परेशानियां हैं. किसान बेचारा इतनी मेहनत करता है, लेकिन वह खेती से अपनी मजदूरी भी नहीं निकाल पाता है. किसान जो खेत में पैदा करता है उसे उसका उचित मूल्य नहीं मिल पाता है. सारी कमाई बिचौलिये खा जाते हैं. इस पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. इसके लिए हर जगह, हर प्रखंड स्तर पर आवश्यकता के अनुसार कोल्ड स्टोरेज बनाने की आवश्यकता है.

patna
किसानों से बात करते तेजस्वी यादव

'बिहार के मिलों के विसार पर ध्यान देना चाहिए'
तेजस्वी ने कहा कि जिस क्षेत्र में जिस फसल की पैदावार अधिक है वहां उससे संबंधित फूड प्रोसेसिंग यूनिट्स लगायी जानी चाहिए. चावल और गन्ने के पैदावार वाले क्षेत्रों में चीनी मिल और राइस मिल लगानी जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि बिहार में मखाना, मक्कई, केला, आम, लिची इत्यादि से संबंधित अनेक खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों की असीम संभावनाएं हैं. खाद्य प्रसंस्करण उद्योग लगाने से किसानों की आय में अप्रत्याशित बढ़ोतरी होगी. लेकिन नीतीश सरकार ने 15 साल इस ओर कभी कोई ध्यान नहीं दिया. किसानों के साथ सरकार की ओर से ऐसा पक्षपातपूर्ण व्यवहार किया जाना ठीक नहीं है.

विशेष आर्थिक मदद देकर करना चाहिए प्रोत्साहित
किसानों की जरूरत की जो चीजें हैं जैसे खाद, कीट-नाशक दवाएं, खेती का सामान औजार आदि महंगे होते जा रहे हैं. किसानों को बिजली, डीजल और मिट्टी का तेल महंगे दाम पर खरीदना पड़ता है. तेजस्वी ने कहा कि ये सब उन्हें कम कीमत पर मिलनी चाहिए. किसान को उसकी उपज का उचित मूल्य मिलना तो दूर रहा उसे अपना सामान कभी-कभी फेंकना पड़ता है. इसलिए किसानों की ओर से उत्पादित हर माल का समर्थन मूल्य किसानों से राय-मशविरा करने के बाद ही सरकार को तय करना चाहिए. किसानों को खेती के साथ-साथ पशुपालन के लिए भी विशेष आर्थिक मदद देकर प्रोत्साहित करना चाहिए ताकि वह और अधिक आत्मनिर्भर बन सके.

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