पटना: नागरिकता संशोधन कानून को लेकर पटना के कारगिल चौक में हुई आगजनी और तोड़फोड़ के मामले पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 37 नामजद और 500 अज्ञात लोगों पर एफआईआर दर्ज की है. पुलिस ने 7 नामजद आरोपियों को गिरफ्तार किया है. अन्य की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है.
एसएसपी गरिमा मलिक ने जानकारी देते हुए बताया कि सभी नामजद आरोपियों की पहचान सीसीटीवी फुटेज के आधार पर की गई है. उन्होंने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है. वहीं, सिटी एसपी सेंट्रल विनय तिवारी मीडिया से मुखातिब हुए. उन्होंने रविवार शाम हुए इस विरोध प्रदर्शन को निंदनीय बताया है. उन्होंने जानकारी देते हुए कहा कि विरोध-प्रदर्शन में शामिल कुल 7 लोगों की गिरफ्तारी की बात बताई है.
नहीं फेल हुआ इंटेलिजेंस- सिटी एसपी
एसपी सिटी ने बताया कि सोमवार को जिला प्रशासन ने ऐलान करते हुए छात्र संगठनों के किसी भी प्रकार के जुलूस पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया है. एसपी ने मामले में इंटेलिजेंस और खुफिया विभाग की कोई गलती न देते हुए कहा कि पुलिस विभाग को विरोध प्रदर्शन को लेकर पूरा इनपुट मिला हुआ था. यहां पर एक सवाल पुलिस महकमे पर खड़ा होता है कि जब उनके पास इनपुट था, तो इतना बड़ा बवाल कैसे हो गया.
पटना में एक्ट का विरोध
बता दें कि पटना के कारगिल चौक पर के नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में उमड़े हजारों लोगों ने जमकर विरोध-प्रदर्शन किया. इस दौरान भीड़ में शामिल उपद्रवी तत्वों ने कारगिल चौक में मौजूद कई गाड़ियों और पुलिस चेक पोस्ट को आग के हवाले कर दिया. इस दौरान पत्थरबाजी भी की गई. पूरे मामले में पुलिस ने 7 लोगों को गिरफ्तार किया है. कईयों के खिलाफ एफआईआर दर्ज है. उनकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है.