पटना: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मोदी 2.0 का दूसरा बजट पेश किया. इस बजट में करदाताओं को बड़ी राहत दी गई है. इसके अलावा कई अलग- अलग योजनाओं में सरकार ने बदलाव किए हैं. ऐसे में बिहार चैंबर ऑफ कॉमर्स के सदस्यों ने ईटीवी भारत से बातचीत की. व्यवसायियों ने केंद्रीय बजट को निराशाजनक बताया. उन्होंने कहा कि चुनावी साल में बिहार से अनदेखी हुई है.
इस दौरान उन्होंने कहा कि बजट में टैक्सेसन पर काफी अच्छा प्रपोजल सरकार ने दिया है. अब आम नागरिक नए और पूराने दोनों तरीकों से टैक्स पे कर सकते है. वहीं, रोजगार पर सदस्यों ने कहा कि सरकार ने बजट में नौजवानों के लिए बेहतर प्लान पेश किया है. जितने भी युवक है वो जिला स्तर पर अपना उद्योग शुरू कर सकते हैं और खुद का रोजगार उत्पन्न कर सकते हैं.
इनकम टैक्स रिटर्न में होगी बढ़ोतरी
बिहार चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज के सदस्य रमेश प्रसाद सिंह ने कहा कि बजट 2020 के आने के बाद इनकम टैक्स भरने वालों की संख्या बढ़ेगी. लेकिन एक चीज है कि जो 15 प्रतिशत यानी 15 लाख या उससे ऊपर वाले में जो 30 प्रतिशत रखा है. इसे 25 प्रतिशत होना चाहिए था. पहले लोग इनकम टैक्स न भर कर सेविंग में डालते थे. लेकिन अब लोग ऐसा न कर टैक्स पे करेंगे. इंडस्ट्रीज के लिए अच्छा काम किया गया है. 25 करोड़ तक टैक्स फ्री है. इसलिए इस बजट से फायदा होगा.
'इंफ्रास्ट्रक्चर का प्रोजेक्ट बाधित होगा'
बिहार चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज के उपाध्यक्ष एनपी सिंह ने कहा कि हम लोगों ने प्री बजट मीटिंग में पूरे भारत वर्ष के लिए 1 लाख करोड़ ऑन गोइंग प्रोजक्ट के लिए डिमांड की थी. लेकिन उसमें सिर्फ 22 हजार करोड़ का प्रोविजन किया गया है. इसके चलते हम लोगों को लगता है कि फंड की कमी के कारण इससे इंफ्रास्ट्रक्चर का प्रोजेक्ट बाधित होगा. बिल्डरों को नुकसान होगा. पीएम से काफी उम्मीदें थी. बिल्डरों को राहत मिलती नहीं दिख रही है.
वहीं, उन्होंने कहा कि बिहार के लिए या पूर्वोत्तर राज्यों के लिए खास कुछ तो नहीं दिख रहा है. हां पूरा बजट आने के बाद अध्ययन कर चीजें साफ हो सकती हैं.
'बिहार वासियों के लिए दुखद'
वहीं, बिहार चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज के महासचिव अमित मुखर्जी ने कहा कि पांच आईकोनिक साइट्स में बिहार का कोई नाम नहीं है. ये दुखद है. बिहार की एक साइट्स को फीचर करना चाहिए था. बिहार वासियों के लिए भी ये दुखद है. इंडस्ट्रीज के लिए भी ये एक एवरेज बजट है. ऑप्शन इनकम टैक्स को बिना कैलकुलेट कर नहीं बोलना चाहिए. अभी कोई नए सिस्टम में नहीं गया है.
वहीं, अन्य सदस्यों ने कहा कि ये एक एवरेज बजट है. हालांकि, सरकार ने एग्रीकल्चर को बूस्ट करने के लिए ज्यादा जोर दिया है. सरकार ने रोजगार और व्यवसाय पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया है. बिहार के लिए देखा जाए तो बिहार को आज भी निराशा ही हाथ लगी है. स्पेशल पैकेज मिलना चाहिए था.
बजट में बड़ा ऐलान:
- बजट में पेश किया किसानों के लिए 16 सूत्रीय फॉर्मूला
- अब विमान से जाएगा किसानों का सामान
- मनरेगा में जुड़ेगा चारागाह,
- स्वास्थ्य योजनाओं को 70 हजार करोड़
- हर जिले में मेडिकल कॉलेज
- मैन्युफेक्चरिंग हब बनेगा देश, हर जिले तक पहुंचेगी सरकार
- जल्द दौड़ेगी बुलेट ट्रेन
- देश में बनाए जाएंगे 100 हवाई अड्डे
- बदल सकती है मातृत्व की उम्र!
- लद्दाख के लिए किया 5958 करोड़ रुपये का ऐलान
- बैक में जमा राशि की गांरटी 1 लाख से बढ़कर 5 लाख
रेलवे के लिए क्या है खास:
- 550 रेलवे स्टेशनों पर वाईफाई शुरू किए गए.
- रेलवे की खाली पड़ी जमीन पर सौर ऊर्जा प्लांट लगाए जाएंगे.
- देश में मानव रहित क्रॉसिंग खत्म की गई.
- तेजस जैसी और ट्रेनें शुरू की जाएंगी.
- 27 हजार रेलवे ट्रैक का विद्युतीकरण किया जाएगा.
- तेजस ट्रेन से पर्यटन को बढ़ावा देने की कोशिश.
- पीपीपी मॉडल से रेलवे स्टेशनों का विकास होगा.
- 150 ट्रेन पीपीपी मोड में चलाने का फैसला.
- 148 किलोमीटर बेंगलुरु उपनगरीय ट्रेन सिस्टम बनेगा, केंद्र सरकार 25% पैसा देगी, इस पर 18 हजार 600 करोड़ रुपए खर्च होंगे.
- मुंबई-अहमदाबाद के बीच बुलेट ट्रेन के काम में तेजी लाई जाएगी.
इंफ्रास्ट्रक्चर में क्या कुछ:
- राष्ट्रीय अवसंरचना पाइपलाइन के तहत चिह्नित 6 हजार से अधिक परियोजनाओं की घोषणा की जाएगी.
- राष्ट्रीय रसद नीति भी जल्द ही जारी की जाएगी.
- नियंत्रित राजमार्गों की घोषणा की जाएगी.
- 9,000 किलोमीटर से अधिक आर्थिक गलियारा विकसित किया जाएगा.
- Udan योजना का समर्थन करने के लिए 2024 तक 100 हवाई अड्डे बनाए जाएंगे.
- 27,000 किलोमीटर की रेलवे लाइनों के विद्युतीकरण का लक्ष्य.
- 6,000 करोड़ रुपये का भरत नेट प्रोग्राम
- बजट में शिक्षा क्षेत्र को मिले 99,300 करोड़ रुपये
- नई शिक्षा नीति का एलान किया जाएगा.
- शिक्षा के क्षेत्र में एफडीआई लाया जाएगा.
- पीपीपी मॉडल पर मेडिकल कॉलेज बनाए जाएंगे.
- नेशनल फोरेंसिक यूनिवर्सिटी का प्रस्ताव.
- सरस्वती-सिंधू यूनिवर्सिटी बनाने का प्रस्ताव.
- जिला अस्पतालों में मेडिकल यूनिवर्सिटी का प्रस्ताव.
- शिक्षा क्षेत्र के लिए 99,300 करोड़ का प्रावधान
- पिछड़े छात्रों के लिए ग्रामीण स्तर पर ऑनलाइन डिग्री कार्यक्रम शुरू किया जाएगा.
- कौशल विकास के लिए 3000 करोड़ का प्रावधान.
स्वच्छ मिशन भारत की योजनाएं:
- स्वच्छ मिशन भारत के लिए 12,300 करोड़.
- पाइप से पानी पहुंचाने के लिए 3.6 लाख करोड़ का प्रावधान.
- नमक वाले पानी का ट्रीटमेंट किया जाएगा.
- देश के हर घर तक शुद्ध पानी पहुंचाने का लक्ष्य.
बजट में सबसे पहले ग्रामीण भारत की चर्चा:
- कृषि और सिंचाई के लिए 1.2 लाख करोड़ का फंड
- 2020-21 के लिए 15 लाख करोड़ कृषि ऋण का लक्ष्य.
- सागर मित्र योजना की शुरुआत होगी, जिससे मछली उत्पादन को बढ़ावा मिलेगा.
- 2022 तक मछली उत्पादन 200 टन का लक्ष्य.
- किसानों के कुसुम योजना लाई जाएगी.
- कुसुम योजना से 20 लाख किसानों सोलर पंप मिलेगा.
- दूध, मांस, मछली के किसान रेल योजना
- किसान रेल योजना से खाद्य पदार्थ खराब नहीं होंगे.
- एक प्रोडक्ट, एक जिले पर फोकस किया जाएगा.
- जल संकट से जूझ रहे 16 जिलों के लिए विशेष योजना.
- सही मात्रा में पानी के इस्तेमाल पर ध्यान.
- बंजर जमीनों पर सौर ऊर्जा को बढ़ावा.
- केमिकल की जगह आर्गेनिक खाद का इस्तेमाल किया जाएगा.
- किसानों के लिए वेयर हाउस बनाए जाएंगे.
- 2025 तक दुग्ध उत्पादन दोगुना करने का लक्ष्य.
- कृषि क्षेत्र के लिए 16 सूत्रीय एक्शन प्लान का एलान.
- बजट का फोकस गांव, गरीब और किसान पर है.
- कृषि क्षेत्र में मार्केटिंग और प्रोसेसिंग बढ़ाने पर ध्यान.
- किसानों की आय दोगुनी करना सरकार का लक्ष्य है.
- 2022 तक किसानों की आय दोगुनी होगी.
- 6.11 करोड़ किसानों के लिए बीमा योजना, किसानों को सीधा लाभ देने की कोशिश है.
- पशुपालन और मछली पालन पर ध्यान देने की आवश्यकता है.