पटना: बुधवार को राजधानी पटना के कदमकुंआ स्थित राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय के पीजी छात्रों ने अपने प्रोत्साहन राशि की मांग को लेकर कॉलेज परिसर में सामूहिक धरना प्रदर्शन किया. आयुर्वेद कॉलेज के पीजी चिकित्सकों की मांग है कि सरकार की तरफ से जो उन्हें प्रोत्साहन राशि देने की बात कही गई है, वह अब तक उन्हें नहीं मिला है. जबकि कॉलेज के सभी सीनियर डॉक्टर और अस्पताल के सभी कर्मचारियों को एक महीने का प्रोत्साहन राशि मिल चुका है. ऐसे में उन्हें भेदभाव के तहत प्रोत्साहन राशि से वंचित रखा गया है.
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स्वास्थ्य विभाग की तरफ से निर्देश था कि कोरोना काल के दौरान जो भी चिकित्सा कर्मी ड्यूटी पर रहे, उन्हें 1 महीने की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी. अन्य संस्थानों में सभी पीजी चिकित्सकों और अन्य स्वास्थ्य कर्मियों को प्रोत्साहन राशि मिल चुकी है. इसके अलावा आयुर्वेद कॉलेज में भी सीनियर चिकित्सकों और अस्पताल के अन्य कर्मचारियों को एक महीने की प्रोत्साहन राशि मिल चुकी है. लेकिन कॉलेज के जूनियर डॉक्टर अभी तक इस प्रोत्साहन राशि से वंचित है. इस मसले पर वह कई बार कॉलेज के प्राचार्य को मिलकर अपना ज्ञापन सौंप चुके हैं. लेकिन वहां से कोई रिस्पांस अब तक नहीं मिला है- डॉ. प्रमोद कुमार, महासचिव, आयुर्वेद जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन
कॉलेज में कोरोना काल के दौरान कार्यरत सभी अधिकारी और कर्मचारियों को एक महीने की प्रोत्साहन राशि मिल चुकी है. वहीं संस्थान में कार्यरत जूनियर डॉक्टरों को प्रोत्साहन राशि नहीं देते हुए उन्हें उपेक्षित और वंचित कर दिया गया है. जूनियर डॉक्टर इस कारण खुद को उपेक्षित महसूस कर रहे हैं और इससे उनकी कार्यक्षमता प्रभावित हो रही है. कॉलेज प्रबंधन की तरफ से कहा जा रहा है कि प्रोत्साहन राशि के लिए स्वास्थ्य विभाग से लेटर लिखवा कर लाएं तभी प्रोत्साहन राशि दी जाएगी- डॉ. धनंजय कुमार, अध्यक्ष, आयुर्वेद जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन
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"आयुर्वेद महाविद्यालय अस्पताल के सभी अधिकारी अपने एक महीने की प्रोत्साहन राशि की निकासी कर चुके हैं. जब जूनियर डॉक्टर को प्रोत्साहन राशि देने की बात आई है. तब लेटर बाजी कर रहे हैं. कोरोना काल के दौरान कार्य करते हुए कई पीजी चिकित्सक कोरोना से संक्रमित हो गए. इसके बाद भी उन्हें प्रोत्साहन राशि नहीं दी जा रही है और जब अपनी मांगों को लेकर कॉलेज प्रबंधन के पास वह जाती हैं, तो पॉजिटिव रिस्पांस नहीं मिलता है. इस मसले पर रेलवे जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन का प्रतिनिधिमंडल स्वास्थ्य मंत्री से लेकर प्रधान सचिव से मुलाकात कर चुका है और वहां से जवाब मिला है कि प्रोत्साहन राशि के लिए फंड कॉलेज को दिया जा चुका है. जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होती है, वह हड़ताल पर बने रहेंगी और अगर जरूरत पड़ती है तो वह सब यहीं पर भूख हड़ताल भी करेंगे"- डॉ अर्चना राय, कोषाध्यक्ष, आयुर्वेद जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन