पटना: राजधानी पटना में वायु प्रदूषण को कम करने के साथ ही उस पर नियंत्रण बनाए रखने के लिए कई जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं. पटना नगर निगम ने विभाग और कई एजेंसी के साथ बैठक कर विभिन्न दिशा निर्देश दिए हैं. निगम की ओर से लगातार निरीक्षण कर ऐसे भवनों और निर्माण स्थलों को चिन्हित किया जा रहा है, जो ग्रीन पट्टी का इस्तेमाल नहीं करते हैं.
नगर निगम ने लिया एक्शन: बैठक के दौरान नगर आयुक्त ने सभी सरकारी और निजी एजेंसी को 48 घंटे का समय दिया है. इस दौरान सड़क पर से न सिर्फ कंस्ट्रक्शन की सामग्री हटा लेनी है, बल्कि ग्रीन पट्टी के साथ ही निर्माण कार्य को करना है. नगर आयुक्त ने कहा है कि समय अवधि के बाद नगर निगम की टीम निरीक्षण करेगी. जो दोषी पाए जाएंगे उन पर जुर्माना लगाया जाएगा और काम भी बंद करवा दिया जाएगा.
"वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए पटना नगर निगम के तरफ से लगातार दो बार वॉटर स्प्रिंकलर और एंटी स्मोक गण के द्वारा पानी का छिड़काव किया जा रहा है. अब इसे 2 बार से बढ़ा कर 3 शिफ्ट में किया जाएगा."-नगर आयुक्त
क्या करने पर होगी कार्रवाई: वायु प्रदूषण नियंत्रण के लिए बैठक में महत्वपूर्ण बिंदू साझा किए गए. जिसमें कंस्ट्रक्शन कंपनी या एजेंसी ग्रीन मेस अनिवार्य रूप से लगायें, निर्माण सामग्री रोड पर या रोड साइड में ना जमा करें. आमजनों द्वारा सड़क पर कूड़ा न फेंका जाए, धूल को नियंत्रित करने के लिए स्प्रिंकलर का उपयोग दिन में तीन बार किया जाए, आम जनों द्वारा कूड़े को न जलाया जाए. बिना ढ़के निर्माण सामग्री के गाड़ी का भी आवागमन न हो. बता दें कि सोमवार शाम हुई बैठक के दौरान बुडको, भवन निर्माण विभाग, पथ निर्माण विभाग, बिहार राज्य पुल निर्माण निगम, सहित कई विभाग और एजेंसियों के पदाधिकारी उपस्थित रहे.
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