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पटना के राजीव नगर में 'ऑपरेशन बुलडोजर' पर HC ने जतायी गहरी नाराजगी, 14 जुलाई तक जारी रहेगी रोक

पटना हाईकोर्ट (Patna High Court ) ने राजीव नगर में ऑपरेशन बुलडोजर पर यथास्थिति बहाल रखने का निर्देश दिया है. साथ ही कोर्ट ने अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई पर गहरी नाराजगी जतायी है.अब मामले की अगली सुनवाई 14 जुलाई को होगी.

Patna High Court On Rajiv Nagar Encroachment
Patna High Court On Rajiv Nagar Encroachment
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Published : Jul 6, 2022, 4:22 PM IST

पटना: पटना हाईकोर्ट ने पटना के राजीव नगर क्षेत्र में अतिक्रमण (Patna High Court On Rajiv Nagar Encroachment) हटाने की कार्रवाई पर यथास्थिति बहाल रखने का निर्देश दिया है. जस्टिस संदीप कुमार ने इस मामले में दायर याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए ये आदेश दिया है. साथ ही कोर्ट ने वहां रह रहे नागरिकों (Campaign To Remove Encroachment In Rajiv Nagar) को बिजली और पेय जल की सुविधाएं बहाल करने का निर्देश राज्य सरकार को दिया है.

पढ़ें- पटना के राजीव नगर में 'ऑपरेशन बुलडोजर' पर हाईकोर्ट की रोक

पटना हाईकोर्ट ने जतायी नाराजगी: कोर्ट ने इस बात पर कड़ी नाराजगी जाहिर की कि बिना व्यक्तिगत नोटिस दिए हुए जिला प्रशासन ने कार्रवाई की. कोर्ट ने हाउसिंग बोर्ड के क्रियाकलापों पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उनके अधिकारियों और पुलिस के नाक के नीचे ये अतिक्रमण हुआ तो उस समय क्यों कार्रवाई नहीं की गई? कोर्ट ने प्रशासन से जाना कि अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई रविवार को क्यों की गयी. कोर्ट ने जानना चाहा कि क्या प्रशासन रविवार को काम करता है.

14 जुलाई को होगी अगली सुनवाई: कोर्ट ने डीएम, पटना,सीओ सदर, हाउसिंग बोर्ड के एमडी व एस्टेट ऑफिसर को अगली सुनवाई में उपस्थित रहने को कहा है. इस मामले पर अगली सुनवाई 14 जुलाई 2022 को होगी. इससे पहले हाईकोर्ट ने 4 जुलाई को मामले की सुनवाई करते हुए अवैध निर्माण के खिलाफ प्रशासन की कार्रवाई पर रोक लगा दी थी.

आमने-सामने स्थानीय और प्रशासन: आपको बताएं कि पिछले दिनों राजीवनगर के लोगों ने बुलडोजर पर रोक लगाने की मांग को लेकर बिहार के उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद (Deputy CM Tarkishore Prasad) के पटना स्थित आवास के बाहर प्रदर्शन भी किया था. इन प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं. इनका कहना है कि पटना प्रशासन ने राजीव नगर के नेपाली नगर में 3 दर्जन से ज्यादा मकान को तोड़ने का आदेश जारी किया है. यहां लगभग 20 एकड़ भूमि को अधिग्रहित कर पटना उच्च न्यायालय के जजों के लिए आवास बनाया जाना है. सदर अंचलाधिकारी की ओर से 70 लोगों को नोटिस भेजा गया है. यह इलाका राजीव नगर थाने और कर्पूरी भवन के पीछे वाला इलाका है. इससे पहले नेपाली नगर के घुड़दौड़ रोड में सीआईएसएफ के कैंप कार्यालय, सीबीएसई के लिए भूमि अधिग्रहित की गई थी. इस दौरान इस इलाके में स्थानीय लोगों और पुलिस प्रशासन के बीच हंगामा हुआ था.


3 जुलाई रविवार को चलाया गया था अभियान: रविवार से पटना के आशियाना रोड पर यह अभियान चल रहा था. इस दौरान कल स्थिति बेकाबू हो गयी थी. पुलिस और स्थानीय लोग आमने-सामने थे. पुलिस पर पथराव किया जा रहा था जिसके बाद जवाब में पुलिस ने लाठीचार्ज किया था और आंसू गैस के गोले भी छोड़े गए थे. इस झड़प में कई पुलिसकर्मी व स्थानीय लोग भी घायल हुए थे. 20 एकड़ जमीन पर कब्जा करने के लिए पुलिस और प्रशासन को दिनभर फजीहत झेलनी पड़ी थी. राजीव नगर में कल 22 बुलडोजर के साथ से 40 मजिस्ट्रेट और 50 पुलिस अफसरों के साथ हजारों पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था जिसमें 3 पुलिसकर्मी और तीन स्थानीय लोग घायल हुए थे.


पटना: पटना हाईकोर्ट ने पटना के राजीव नगर क्षेत्र में अतिक्रमण (Patna High Court On Rajiv Nagar Encroachment) हटाने की कार्रवाई पर यथास्थिति बहाल रखने का निर्देश दिया है. जस्टिस संदीप कुमार ने इस मामले में दायर याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए ये आदेश दिया है. साथ ही कोर्ट ने वहां रह रहे नागरिकों (Campaign To Remove Encroachment In Rajiv Nagar) को बिजली और पेय जल की सुविधाएं बहाल करने का निर्देश राज्य सरकार को दिया है.

पढ़ें- पटना के राजीव नगर में 'ऑपरेशन बुलडोजर' पर हाईकोर्ट की रोक

पटना हाईकोर्ट ने जतायी नाराजगी: कोर्ट ने इस बात पर कड़ी नाराजगी जाहिर की कि बिना व्यक्तिगत नोटिस दिए हुए जिला प्रशासन ने कार्रवाई की. कोर्ट ने हाउसिंग बोर्ड के क्रियाकलापों पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उनके अधिकारियों और पुलिस के नाक के नीचे ये अतिक्रमण हुआ तो उस समय क्यों कार्रवाई नहीं की गई? कोर्ट ने प्रशासन से जाना कि अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई रविवार को क्यों की गयी. कोर्ट ने जानना चाहा कि क्या प्रशासन रविवार को काम करता है.

14 जुलाई को होगी अगली सुनवाई: कोर्ट ने डीएम, पटना,सीओ सदर, हाउसिंग बोर्ड के एमडी व एस्टेट ऑफिसर को अगली सुनवाई में उपस्थित रहने को कहा है. इस मामले पर अगली सुनवाई 14 जुलाई 2022 को होगी. इससे पहले हाईकोर्ट ने 4 जुलाई को मामले की सुनवाई करते हुए अवैध निर्माण के खिलाफ प्रशासन की कार्रवाई पर रोक लगा दी थी.

आमने-सामने स्थानीय और प्रशासन: आपको बताएं कि पिछले दिनों राजीवनगर के लोगों ने बुलडोजर पर रोक लगाने की मांग को लेकर बिहार के उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद (Deputy CM Tarkishore Prasad) के पटना स्थित आवास के बाहर प्रदर्शन भी किया था. इन प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं. इनका कहना है कि पटना प्रशासन ने राजीव नगर के नेपाली नगर में 3 दर्जन से ज्यादा मकान को तोड़ने का आदेश जारी किया है. यहां लगभग 20 एकड़ भूमि को अधिग्रहित कर पटना उच्च न्यायालय के जजों के लिए आवास बनाया जाना है. सदर अंचलाधिकारी की ओर से 70 लोगों को नोटिस भेजा गया है. यह इलाका राजीव नगर थाने और कर्पूरी भवन के पीछे वाला इलाका है. इससे पहले नेपाली नगर के घुड़दौड़ रोड में सीआईएसएफ के कैंप कार्यालय, सीबीएसई के लिए भूमि अधिग्रहित की गई थी. इस दौरान इस इलाके में स्थानीय लोगों और पुलिस प्रशासन के बीच हंगामा हुआ था.


3 जुलाई रविवार को चलाया गया था अभियान: रविवार से पटना के आशियाना रोड पर यह अभियान चल रहा था. इस दौरान कल स्थिति बेकाबू हो गयी थी. पुलिस और स्थानीय लोग आमने-सामने थे. पुलिस पर पथराव किया जा रहा था जिसके बाद जवाब में पुलिस ने लाठीचार्ज किया था और आंसू गैस के गोले भी छोड़े गए थे. इस झड़प में कई पुलिसकर्मी व स्थानीय लोग भी घायल हुए थे. 20 एकड़ जमीन पर कब्जा करने के लिए पुलिस और प्रशासन को दिनभर फजीहत झेलनी पड़ी थी. राजीव नगर में कल 22 बुलडोजर के साथ से 40 मजिस्ट्रेट और 50 पुलिस अफसरों के साथ हजारों पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था जिसमें 3 पुलिसकर्मी और तीन स्थानीय लोग घायल हुए थे.


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