पटना: बिहार में बढ़ते कोरोना संक्रमण के मामले को लेकर नीतीश कुमार ने 15 मई तक लॉकडाउन लगाने की घोषणा कर दी है. नीतीश सरकार के लिए गए फैसले को लेकर विपक्ष ने स्वागत किया है. विपक्षी नेताओं का कहना है देर आए लेकिन दुरुस्त आए. सरकार ने जो फैसला लिया है, वह स्वागत योग्य है. विपक्ष हमेशा सरकार के फैसले के साथ खड़ा रहेगा.
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"पिछले दिनों जिस तरह से लगातार संक्रमण के मामले बढ़ रहे थे, सरकार को यह फैसला पहले ही ले लेना चाहिए था. लेकिन वह नहीं ले पाए. सरकार ने अब फैसला लिया है देर आए, लेकिन दुरुस्त आए. सरकार के फैसले का हम लोग स्वागत करते हैं. बढ़ते संक्रमण के मामले को लेकर सरकार ने जो फैसला लिया है. वो बिहार की जनता के हित में है. क्योंकि लगातार जिस तरह से संक्रमण फैल रहा था, उससे जनता त्रस्त थी. चेन को तोड़ने के लिए सरकार ने जो फैसला लिया है, वह सही है"- राकेश रोशन, विधायक, आरजेडी
गरीबों की करें मदद
राकेश रोशन ने कहा कि सरकार को अब इस पर भी विचार करना होगा कि लॉकडाउन की अवधि तक जो गरीब जनता है, जो दिन भर कमाते हैं और परिवार का भरण पोषण करते हैं, वैसे जनता को सरकार राशन जितना जल्द हो सके, वह पहुंचाएं. ताकि गरीब जनता भूख से ना मरे. वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने भी सरकार के फैसले का स्वागत किया है.
"आखिरकार कोर्ट की फटकार के बाद सरकार ने जो निर्णय लिया है, यही निर्णय यदि वह समय से पहले ले लिए होते तो, शायद आज बिहार में संक्रमित मरीजों की संख्या नहीं बढ़ती. सरकार ने अब जब लॉकडाउन की घोषणा की है तो, उनके पास बहुत बड़ी चुनौती होगी कि बिहार की गरीब जनता का पेट कैसे भरा जाए. जो लोग बीमार हैं, वो 95% घर में ही इलाज करवा रहे हैं. अब सरकार को यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके लिए सरकार उनके घर दवा पहुंचाएं. ताकि उनकी बीमारी ज्यादा न बढ़ सके"- राजेश राठौर, प्रवक्ता कांग्रेस
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15 मई तक लॉकडाउन
बता दें कि बिहार में बढ़ते संक्रमण के मामले को लेकर हाईकोर्ट की टिप्पणी के बाद आज सरकार ने लॉकडाउन लगाने का फैसला ले लिया है. यह लॉकडाउन 15 मई तक रहेगा. लॉकडाउन की अवधि में कुछ गाइडलाइंस के साथ सरकार ने एसेंशियल चीजों पर छूट दी है.