पटना: एलजेपीआर प्रमुख चिराग पासवान छपरा ने जहरीली शराबकांड (Chapra Hooch Tragedy) में राष्ट्रीय मानवधिकार आयोग (National Human Rights Commission) की टीम की जांच करने को सही बताया है. चिराग पासवान ने कहा कि मैं स्वयं घटना स्थल पर गया था. सारण जिला के मशरक में जहरीली शराब पिलाकर सैकड़ों लोगों की हत्या कराई गई. उससे सम्पूर्ण मानवता शर्मसार हुई है. जहरीली शराब थाना में जब्त स्प्रिट गायब कर बनाई गई थी. बिहार में पूर्ण शराबबंदी (Liquor Ban In Bihar) है फिर भी सरकारी संरक्षण में शराब माफिया, शराब का धंधा कर रहे हैं.
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'घर-घर शराब की होम डिलीवरी हो रही है. ये बात पूरा बिहार जानता है. सारण में तो हद हो गई, कि जहरीली शराब से मरने वाले लोगों को प्रशासन ने भय और दबाव डाल कर बिना पोस्टमार्टम कराये दाहसंस्कार करा दिया. ऐसा घटना पर पर्दा डालने के लिए किया गया. सैकड़ों लोगों की हत्या शराब पिलाकर की गई है. इन सबों के हजारों परिवार के सदस्यों के सामने जीवन-यापन की समस्या उत्पन्न हो गई है. सभी अति गरीब परिवार के हैं. मानवता की हत्या हुई है.' - चिराग पासवान, राष्ट्रीय अध्यक्ष, LJPR
चिराग पासवान ने JDU पर साधा निशाना : जमुई सासंद चिराग पासवान (Jamui MP Chirag Paswan) ने बिहार सरकार पर निशाना साधते हुए (Chirag Paswan Target Bihar Government) कहा कि राज्य सरकार मृतकों की संख्या छिपा रही है. ऐसी स्थिति में मानवाधिकार आयोग जो सवैधानिक संस्था है, उसे पूरा अधिकार प्रदत्त है, ऐसे मामलों पर आयोग संज्ञान लें और कार्रवाई करे. जहरीली शराब काण्ड सरकार के संरक्षण में चल रहा है. शराब का धंधा का सत्य उजागर होने के भय से जनता दल यूनाइटेड सहित सरकार समर्पित कुछ दल मानवाधिकार आयोग का विरोध कर रहे हैं. यह राज्य और जनता के हितों के विरुद्ध है.
छपरा में जहरीली शराबकांड को लेकर सियासत : गौरतलब है कि छपरा जहरीली शराबकांड में मारे गए लोगों की जांच के लिए राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग (NHRC) की टीम बिहार में है. लेकिन एनएचआरसी की टीम को लेकर बिहार की सियासत में बवाल मच गया है. नीतीश सरकार (CM Nitish Kumar) को ये जांच पसंद नहीं आ रही है. ने कहा है कि बीजेपी शासित राज्यों में जो शराब से मौतें हो रही हैं, वहां राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की टीम जांच करने क्यों नहीं जा रही है?. उन्होंने कहा कि एनचआरसी की टीम छपरा में क्या देखने और पता लगाने आयी है (Nitish Kumar Raised The Question On NHRC Visit), यह सरकार की समझ से परे है.
छपरा में जहरीली शराब पीने से कई लोगों की मौत : बता दें कि बिहार में शराबबंदी के बावजूद छपरा में जहरीली शराब पीने से अब तक 73 लोगों की जान जा चुकी है. सरकारी आंकड़ों में 38 लोगों की मौत बताई गई है. वहीं, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इसी बात पर अड़े हुए हैं कि जो पिएगा, वो मरेगा. दूसरी तरफ एनएचआरसी की टीम बिहार दौरे पर है, जो छपरा जहरीली शराब कांड (Bihar Hooch Tragedy) की जांच करेगी.