पटना : जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने आज एक बार फिर से प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बीजेपी पर निशाना साधा है. प्रधानमंत्री रिलीफ फंड और प्रधानमंत्री केयर फंड की पारदर्शिता पर सवाल खड़ा किया है. साथ ही नीरज कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री रिलीफ फंड में NDA के समय जो राशि आई उसमें काफी कम राशि खर्च हुआ लेकिन यूपीए के समय प्रधानमंत्री राहत कोष में जो भी राशि आई अधिकांश खर्च की गई. नीरज ने कहा कि हम बीजेपी से जानना चाहते हैं कि कोविड-19 के बाद लोग बीमार नहीं पड़ रहे हैं.
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मोदी को घेरने की कोशिश: जेडीयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री राहत कोष में कहां से ये रकम आई इसकी कोई जानकारी नहीं है. वहीं, बिहार में मुख्यमंत्री राहत कोष में ₹100 भी कहीं से आता है तो उसकी जानकारी वेबसाइट पर उपलब्ध है. नीरज कुमार ने प्रधानमंत्री राहत कोष और प्रधानमंत्री केयर फंड को आंकड़ों के साथ बीजेपी को घेरने की कोशिश की है.
''पीएम केयर फंड में रुपया रखा हुआ तो लोग क्या सूद कमाने के लिए पैसा दिए हुए हैं. ये देश की गाढ़ी कमाई के रूप में जो लोग सहायता करते हैं, ये राशि क्यों आप अपने खाते के अंदर रखे हुए हैं. कहते हैं RTI के अंतर्गत नहीं आएगा. तो क्या अडाणी को इसी में से 20 हजार करोड़ रुपए शेयर दिए थे क्या''- नीरज कुमार, जेडीयू मुख्य प्रवक्ता
'कहां जा रही पीएम केयर फंड की राशि'?: नीरज ने कहा कि PM Care fund केन्द्र सरकार खर्च नहीं कर रही है. उन्होंने आंकड़ा गिनाते हुए कहा कि मार्च 2020 को PM Care fund की स्थापना की गई. पहले साल में 10,990 करोड़ रुपए जमा हुए थे. जिसमें से 3,976 करोड़ रुपए खर्च किया गया. इस तरह कुल 7,249 करोड़ रुपए राशि बची रह गयी. 21-22 में पीएम केयर फंड में 2120 करोड़ रुपए आया. बची हुई राशि को इसमें जोड़ें तो 9369 करोड़ रुपए हुआ. 31 मार्च तक 2022 तक कुल जमा राशि से मात्र 3953 करोड़ रुपए खर्च किए गए. इस राशि के खर्च किए जाने से 5416 करोड़ रुपए बचे.
JDU का मोदी सरकार पर तंज: 4 जेडीयू के राष्ट्रीय प्रवक्ता नीरज कुमार ने आरोप लगाया कि PM Care fund पब्लिक ऑथरिटि है, RTI के अंतर्गत नहीं आता. तो सवाल है कि क्या अडाणी को 20 हजार करोड़ देने की बात कही जा रही है? बिहार में प्रधानमंत्री राहत कोष से 4 अस्पताल सूची बद्ध हैं जिसमें रूबन अस्पताल, हर्ट हॉस्पिटल प्राइवेट लिमिटेड पटना, जीवक हर्ट हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर पटना और महावीर कैंसर संस्थान पटना है. नीरज ने कम राशि खर्च करने के कारण मोदी सरकार पर हमला किया और कहा कि सिर्फ बिहार में यही 4 अस्पताल हैं जहां हिन्दू इलाज करवाने आते हैं. उन्होंने इस दौरान तंज भी कसा.
'छूट का प्रवधान लेकिन राशि का आवंटन नहीं' : राष्ट्रीय आरोग्य निधि से 13 सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में गंभीर बीमारी के इलाज के लिए 50 फीसदी छूट का प्रावधान है. 2002-03 में अटल जी के समय में 310 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया जिसमें 420 करोड़ रुपए खर्च किए गए. 2003-04 में अटली जी की ही सरकार में 414 करोड़ रुपए खर्च हुआ जिसमें से 480 करोड़ रुपए खर्च हुए वहीं 2004-05 में यूपीए की सरकार ने 450 करोड़ दिए जिसमें 675 करोड़ रुपए खर्च किए गए.