नई दिल्ली: विशेष राज्य के दर्जे पर एनडीए में घमासान मचा है. जहां एक तरफ बीजेपी, जेडीयू की मांग को सिरे से खारिज कर रही है. वहीं जेडीयू सांसद दिनेश चंद्र यादव ने इसे अपनी पुरानी मांग कर कह कर केंद्र सरकार से इसे पूरा करने की बात कही है.
जेडीयू के वरिष्ठ नेता और मधेपुरा सांसद दिनेश चंद्र यादव का कहना है कि केंद्र सरकार को बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देना चाहिए. सीएम नीतीश कुमार इस मांग को पहले भी केंद्र सरकार के समक्ष उठा चुके हैं. जेडीयू सांसद का कहना है कि उत्तर बिहार हर साल बाढ़ का दंश झेलता है. वहीं दक्षिण बिहार में सुखाड़ की स्थिति कायम रहती है. दक्षिण बिहार के कई जिले नक्सल प्रभावित हैं जहां कई तरह की समस्याएं हैं.
विशेष राज्य का दर्जा का मांग है पुराना
जेडीयू सांसद ने कहा कि बंटवारे के बाद सभी खनिज संपदा से झारखंड में चली गई है. वहीं, राज्य की प्रति व्यक्ति आय अन्य विकसित राज्य और राष्ट्रीय औसत की तुलना में कम है. विभिन्न मानकों से तुलना करने पर भी बिहार पीछे है. ऐसे में बिहार के पिछड़ेपन को दूर करने के लिए विशेष राज्य का दर्जा मिलना चाहिए. विशेष राज्य का दर्जा मिलने से बिहार में बेरोजगारी को दूर भगाया जा सकता है.
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दिनेश यादव ने बताया कि जेडीयू एनडीए के बाहर रहने पर भी इस मांग को उठाती रही है और अब एनडीए में रह कर भी इस मांग को दोहरा रही है. बिहार के साथ केंद्र में भी एनडीए की सरकार है. इसलिए उम्मीद है कि केंद्र सरकार बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देगी.
विपक्ष भी इस मांग कर चुका है समर्थन
वहीं, विपक्ष का कहना है कि अगले साल बिहार में विधानसभा चुनाव है. जिसे देखते हुए जेडीयू विशेष राज्य का मुद्दा फिर से उठा रही है. दोबारा एनडीए में शामिल होने के बाद नीतीश कुमार विशेष राज्य के मुद्दे पर चुप्पी साधे हुए थे. वहीं, कहा जा रहा है कि एनडीए के कुछ सहयोगी दल बीजेपी से नाराज चल रहे हैं. इसलिए जेडीयू विशेष राज्य का मुद्दा उठाकर बीजेपी पर प्रेशर बना रही है. हालांकि दिनेश चंद्र यादव ने सफाई देते हुए कहा कि ऐसा कुछ नहीं है और ना ही चुनाव को देखते हुए विशेष राज्य के दर्जा का मांग उठाया जा रहा है. इस मांग का समर्थन विपक्षी नेता भी कर चुके हैं.