पटना: तमिलनाडु में कथित रूप से हिंदी भाषियों पर हो रहे हमले का वीडियो वायरल मामले में बिहार पुलिस ने अमन कुमार नामक युवक को जमुई से गिरफ्तार किया (arrest in Tamil Nadu violence video viral) है. उससे पूछताछ की जा रही है. यह जानकारी बिहार पुलिस मुख्यालय के एडीजी जितेंद्र सिंह गंगवार ने दी. उन्होंने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए आर्थिक अपराध इकाई द्वारा प्राथमिकी दर्ज की गयी है. 4 लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया है.
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पुराने वीडियो को वायरल कियाः एडीजी ने बताया कि आर्थिक अपराध इकाई ने 30 ऐसे वीडियो को चिह्नित किया है, जिसे सोशल मीडिया पर वायरल कर समाज में भ्रामकता फैलाने की कोशिश की गयी. उन्होंने बताया कि आर्थिक अपराध इकाई के पुलिस अधीक्षक के नेतृत्व में 10 सदस्यीय टीम का गठन किया गया है. पुलिस मुख्यालय के अनुसार जमुई के अमन कुमार ने सोशल मीडिया पर जो वीडियो पोस्ट किया था वह पूर्ण रूप से भ्रामक है. समाज में दंगा फसाद कराने के जैसा पाया गया है. पुराने वीडियो को मौजूदा मामले से जोड़कर दिखलाया गया है.
वीडियो और पोस्ट की हो रही जांचः अमन कुमार के पास मिले मोबाइल में कई तरह के भ्रामक पोस्ट मिला है, जिससे पता चला है कि उसके द्वारा ही कई लोगों को विभिन्न प्लेटफार्म के माध्यम से भ्रामक खबर फैलाई गई है. पुलिस मुख्यालय के अनुसार 26 और वीडियो लिंक की जांच पड़ताल आर्थिक अपराध इकाई के द्वारा की जा रही है. जो भी दोषी होंगे उन पर कार्रवाई की जाएगी. एडीजी ने बताया कि आरा के एक और अभियुक्त का पता चला है, जिसके द्वारा भी कई तरह के भ्रामक खबरों को फैलाया गया था. मुबारकपुर वाले घटना में भी उसकी संलिप्तता पाई गई है. यह पूर्व के एक मामले में फरार चल रहा है. इसकी गिरफ्तारी अभी नहीं हो पाई है. इसकी गिरफ्तारी को लेकर छापेमारी की जा रही है.
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आपसी विवाद में मारपीटः तमिलनाडु की एक पूर्व की घटना का वीडियो है. जिसमें एक व्यक्ति के द्वारा सुसाइड किया गया था. उस वीडियो को ऐसे पेश किया गया कि बिहारी को मारकर लटकाया गया है. वहीं दूसरे वीडियो में दिखाया जा रहा है कि तमिलनाडु के लोगों के द्वारा बिहारियों को मारा जा रहा है, यह बिल्कुल गलत है. दरअसल इस वीडियो में झारखंड और बिहार के मजदूरों के बीच आपस में किसी की पत्नी पर कमेंट करने को लेकर मारपीट की घटना हुई थी. इस घटना से तमिलनाडु में भेदभाव से कोई लेना देना नहीं है.
भड़काऊ पोस्ट प्रिजर्व किया गयाः पुलिस मुख्यालय ने बताया कि फेसबुक पर कुल 9 पोस्ट, ट्विटर पर 15, यूट्यूब पर 15 और जीमेल पर 3 वीडियो लिंक पाया गया है. जिसमें यह पता चला है कि इस भ्रामक खबर को फैलाने की कोशिश की गई है. जिसके बाद आर्थिक अपराध इकाई के द्वारा इन सभी कंपनियों को निर्देश दिया गया है कि वैसे लोग जो इस तरह का भड़काऊ पोस्ट डाले हैं उसको प्रिजर्व रखा जाए, ताकि किसी के द्वारा डिलीट कर देने पर भी उसकी सत्यता की छानबीन की जा सके.
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जांच रिपोर्ट का इंतजार: पुलिस मुख्यालय के एडीजी जितेंद्र सिंह गंगवार ने बताया कि तमिलनाडु घटना को लेकर राज्य सरकार के निर्देश पर 4 वरिष्ठ अधिकारियों की जांच टीम तमिलनाडु गई है. शुरुआती जानकारी के अनुसार वहां के अधिकारियों के साथ साथ वहां काम कर रहे मजदूर और उनके अथॉरिटी से मिलकर पूरे जानकारी इकट्ठा की जा रही है. जांच रिपोर्ट पूरा होने के बाद ही कुछ कहा जा सकता है. पुलिस मुख्यालय के द्वारा वहां के अधिकारियों से बातचीत कर जो भी मजदूर होली पर अपने घर आना चाहते हैं उन्हें बिहार वापस लाने की पूरी प्रक्रिया की जा रही है.
"आर्थिक अपराध इकाई ने 30 ऐसे वीडियो को चिह्नित किया है, जिसे सोशल मीडिया पर वायरल कर समाज में भ्रामकता फैलाने की कोशिश की गयी. जमुई के अमन कुमार ने सोशल मीडिया पर जो वीडियो पोस्ट किया था वह पूर्ण रूप से भ्रामक है. समाज में दंगा फसाद कराने के जैसा पाया गया है"- जितेंद्र सिंह गंगवार, एडीजी