पटना: बिहार में चुनाव के दौरान हेलीकॉप्टर की खूब डिमांड रहता है. हेलीकॉप्टर से आने वाले नेताओं को देखने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ती है. चुनावी रैली के लिए जाने वाले नेताओं को भी हेलीकॉप्टर खूब भाता है. लेकिन इस कोरोना महामारी के कारण बदली परिस्थितियों में राजनीतिक पार्टी हेलीकॉप्टर से परहेज कर रही है. नेता वर्चुअल रैली करने में मशगूल हैं.
इस बार विधानसभा चुनाव कई मायनों में अलग तरीके से होगा. इस चुनाव में लेटेस्ट टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाएगा. चुनाव को लेकर आसामानों में हेलीकॉप्टर नहीं मंडराएंगे. हालांकि राजनीतिक पार्टियों का कहना है कि चुनाव में तो हेलीकॉप्टर का उपयोग होगा ही. लेकिन सिमित संख्या में इसका इस्तेमाल होगा.
हेलीकॉप्टर बुकिंग को लेकर कोई सुगबुगाहट नहीं
बता दें कि पिछले चुनाव में बीजेपी ने 6 हेलीकॉप्टर हायर किए थे. आरजेडी ने दो और कांग्रेस पार्टी की ओर से भी दो हेलीकॉप्टर बुक कराए गए थे, लेकिन इस बार हेलीकॉप्टर बुकिंग को लेकर राजनीतिक दलों में कोई सुगबुगाहट नहीं दिख रही है. कोरोना संक्रमण को देखते हुए नेता फिलहाल हेलीकॉप्टर से परहेज कर रहे हैं.
40 प्रतिशत तक की छूट
इससे अलग कोरोना संकट को देखते हुए हेलीकॉप्टर कंपनी भी राजनीतिक दलों को लुभाने के लिए 40 प्रतिशत तक की छूट दे रही है. पिछले चुनाव में जहां हेलीकॉप्टर बुक कराने पर 1 घंटे के लिए 4 से 5 लाख रुपये देने पड़ते थे. अब यह रकम 2 से 2.5 लाख रुपये तक सिमट कर आ गए हैं.
नेताओं को लुभाने के लिए कंपनियां दे रही है छूट
बीजेपी नेता और विधान पार्षद संजय पासवान ने कहा कि इस बार विधानसभा चुनाव का स्वरूप अलग होगा. वर्चुअल तरीके से कैंपेन होंगे और लोगों की भीड़ नहीं जुटेगी. इसके बावजूद हमारी पार्टी 6 के जगह 3 हेलिकॉप्टर का इस्तेमाल करेगी. वहीं, हम पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता दानिश रिजवान का कहना है कि हेलीकॉप्टर कंपनियां लगातार हम लोगों को प्रस्ताव दे रही है. लेकिन इस बार वर्चुअल तरीके से चुनाव होंगे, इसलिए पार्टियों की दिलचस्पी हेलीकॉप्टर को लेकर नहीं है. लेकिन इस कोरोना महामारी के कारण कंपनियों को काफी नुकसान उठाना पड़ेगा.