पटना: बिहार में राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण, विकास और मरम्मती की मॉनिटरिंग करते विभिन्न राजमार्गों के कार्य प्रगति को लेकर पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) में सुनवाई हुई. चीफ जस्टिस संजय करोल (Chief Justice Sanjay Karol) की डिवीजन बेंच ने इन मामलों पर सुनवाई की. हाईकोर्ट ने कोइलवर-भोजपुर और भोजपुर-बक्सर एनएच सेक्सन पर सुनवाई करते हुए भोजपुर के डीएम से मार्ग में आने वाले पांच धार्मिक स्थलों को स्थानांतरित करने का निर्देश दिया. कोर्ट ने इसे पूरा करने के लिए 28 फरवरी 2022 तक का समय दिया है.
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पटना हाईकोर्ट ने जिन पांच धार्मिक स्थलों को स्थानांतरित करने का निर्देश दिया है, उनमें दो मजार भी शामिल हैं. इन्हें स्थानांतरित करने का जिम्मा टीडीबीडी नामक एजेंसी को दिया गया है. अन्य अतिक्रमणों को हटाने के लिए कोर्ट ने भोजपुर जिला प्रशासन को दो सप्ताह का समय दिया है. कोर्ट को बताया गया कि कोइलवर के पास सोन नदी के ऊपर पुल बन कर तैयार है लेकिन अभी तक पहुंच पथ नहीं बनाए जाने के कारण पुल चालू नहीं हो सका है.
एनएचएआई ने कोर्ट को बताया कि पहुंच पथ का निर्माण जून, 2022 तक पूरा कर लिया जाएगा. कोर्ट ने इसके लिए इतनी मोहलत देने से इंकार करते हुए एनएचएआई को अप्रैल 2022 तक पहुंच पथ पूरा करने का निर्देश दिया है. यहां मुख्य सड़क बनाए जाने का मुद्दा भी उठा. कोर्ट ने एनएचएआई के अध्यक्ष को हलफनामा दायर कर बताने को कहा कि सड़कों के निर्माण में विलंब क्यों हो रहा है. एमिकस क्यूरी और वरीय अधिवक्ता पीके शाही ने कोर्ट को बताया कि बक्सर से 20 किलोमीटर की दूरी पर पूर्वांचल एक्सप्रेस वे हैं. इसे बलिया से जोड़े जाने की बात हो रही है. इस मामले पर एनएचएआई को दो दिनों में हलफनामा दायर कर जवाब देने का निर्देश दिया गया है.
वहीं, एक अन्य राष्ट्रीय राजमार्ग महेशखूंट-सहरसा-पूर्णिया सेक्शन पर 90 किलोमीटर सड़क दिसम्बर 2021 में पूरा होना था. इस निर्माण की समय सीमा एनएचएआई ने दो वर्ष बढ़ा कर दिसम्बर 2023 कर दिया है. जबकि मात्र बीस फीसदी ही सड़क निर्माण का काम पूरा किया गया है. कोर्ट ने इस मामले पर एनएचएआई से जवाब-तलब करते हुए हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया है. इस मामले पर राज्य के विकास आयुक्त को सभी सम्बंधित अधिकारियों की बैठक कर समस्या का समाधान करने को कहा है. साथ ही इस विलम्ब के लिए जिम्मेदार लोगों की पहचान कर उनके विरूद्ध कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. एक सप्ताह बाद सुनवाई होगी.
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