पटना: राजधानी पटना के महावीर मंदिर (Mahavir Mandir) को लेकर बड़ा विवाद शुरू हो गया है. हनुमानगढ़ी अयोध्या (Hanumangarhi Ayodhya) ने महावीर मंदिर पर अपना दावा किया है. जिस पर आचार्य कुणाल किशोर (Acharya Kunal Kishore) ने इस दावे को बेबुनियाद बताया है.
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आचार्य कुणाल किशोर ने कहा कि हनुमानगढ़ी अयोध्या के महंत श्री प्रेमदास ने पुजारी के जरिए महावीर मंदिर पर अपना अधिकार जताने की कोशिश की है. महावीर मंदिर पटना एक न्यास समिति के द्वारा चलाया जाता है और किसी भी पुजारी को कभी भी मालिकाना हक नहीं दिया जाता.
उन्होंने कहा कि हाल ही में महावीर मंदिर प्रबंधन ने उमा शंकर दास पुजारी को मंदिर से निकाला था. जिसके बाद उन्हें सामने रखकर यह दावा किया जा रहा है. जो सरासर बेबुनियाद है.
आचार्य कुणाल किशोर ने बताया कि 15 अप्रैल 1948 को पटना हाई कोर्ट ने महावीर मंदिर को सार्वजनिक मंदिर पहले ही घोषित कर रखा है. इसके बाद से तमाम दस्तावेज बिहार धार्मिक न्याय पार्षद को दे दिया. ऐसे में जो भी कोई अगर महावीर मंदिर पर अपना दावा करता है. वह बिल्कुल गलत और बेबुनियाद है.
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