पटना: बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल ने अपनी ही सरकार पर निशाना साधते हुए बिहार की शिक्षा नीति (Education Policy of Bihar) पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा था कि तीन साल में बच्चों के ग्रेजुएशन की डिग्री पूरी होनी चाहिए. लेकिन यहां 6 साल लग जाते हैं. सरकार सेशन की देरी पर ध्यान दें, हमें अग्निपथ पर पुनर्विचार की सलाह न दे. इस बयान के बाद बिहार में एक बार फिर से बयानबाजी का दौर चल पड़ा है. जदयू की ओर से बीजेपी पर निशाना साधा जा रहा है. वहीं बिहार के शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ( Bihar Graduation Session Late) ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी है.
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ग्रेजुएशन सेशन के देरी पर शिक्षा मंत्री का बयान: शिक्षा मंत्री ने कहा कि बिहार के अधिकांश यूनिवर्सिटी को विभाग ने निर्देश जारी किया है कि वह अपने सत्र को सही समय पर चलाएं और शिक्षा विभाग उसको लेकर प्रयास भी कर रहा है. बिहार में जितने भी विश्वविद्यालय हैं उनके सत्र समय से चले जिससे कि छात्रों को दिक्कत न हो.
"स्थिति स्पष्ट कर दी गई है. सरकार शिक्षा के लिए सजग है. हमारा प्रयास है कि विश्वविद्यालय के सत्र नियमित हो जाएं. हमारी प्राथमिकता है कि कक्षाएं और परीक्षाएं नियमित चले. विश्वविद्यालयों को सत्र और परीक्षाएं नियमित करने का निर्देश दिया गया है."- विजय चौधरी, शिक्षा मंत्री, बिहार
बीजेपी-जदयू में बयानबाजी: दरअसल अग्निपथ योजना (Agneepath Scheme) को लेकर बीजेपी को अपने सहयोगी जदयू के विरोध का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल ने राज्य सरकार की शिक्षा नीति (Education Policy of Bihar) को लेकर हमला किया है. संजय जायसवाल (Sanjay Jaiswal graduation statement) ने बिहार में ग्रेजुएशन की डिग्री 3 साल में नहीं मिलने की बात कही थी. इसपर जदयू ने भी पलटवार किया. जदयू संसदीय बोर्ड राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा (upendra kushwaha attack On Sanjay Jaiswal ) ने कहा कि जवाबदेही किसकी है और किससे जवाब मांगा जा रहा है. यूनिवर्सिटी में वाइस चांसलर की नियुक्ति का मामला सभी जानते हैं इसलिए कुछ भी सोच समझकर बोलना चाहिए.